Hardoi News: तीन फर्जी शिक्षकों की नियुक्ति, बेसिक शिक्षा विभाग ने FIR के आदेश दिए
Hardoi News: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के में बेसिक शिक्षा विभाग (Basic Shiksha Vibhag) में शिक्षकों (Teachers) की फर्जी भर्ती का मामला थमने का नाम नहीं ले रहा है। हरदोई के भरावन ,चिल्लौर औऱ बिलग्राम ब्लॉकों में फर्जी शिक्षकों की नियुक्ति का मामला सामने आया है। आज शनिवार को बेसिक शिक्षा विभाग ने इन ब्लॉकों के फर्जी नियुक्ति मामले से जुड़े तीन शिक्षकों को बर्खास्त कर दिया।
यह पूरा मामला उत्तर प्रदेश के हरदोई जिले के भरावन, चिल्लौर और बिलग्राम के प्राथमिक विद्यलायों का है। भरावन ब्लॉक के प्राथमिक विद्यालय दखिलौल की प्रधानाध्यापक मुन्नी देवी , बिलग्राम ब्लॉक प्राथमिक विद्यालय सांपखेड़ा के सहायक अध्यापिका अंकिता वर्मा और सांडी ब्लाक के उच्च प्राथमिक विद्यालय चिल्लौर के सहायक अध्यापक धर्मेंद्र कुमार की फर्जी नियुक्ति हुई थी।
शिक्षा विभाग ने तीनों शिक्षकों किया बर्खास्त
बेसिक शिक्षा विभाग ने आज शनिवार को तीनों शिक्षकों को बर्खास्त कर दिया है। शिक्षा विभाग ने बीईओ और बीएसए को आदेश दिया कि इन शिक्षकों के वेतना आदि की वसूली करके इनके खिलाफ एफआईआर की जाए।
विभाग ने फर्जी शिक्षकों के विरुध एफआईआर के आदेश
शिक्षा विभाग की जनपदीय जांच समिति की बैठक में इन तीनों शिक्षकों के शैक्षणिक दस्तावेज फर्जी पाये गए हैं। जिसके बाद बेसिक शिक्षा विभाग ने इन शिक्षकों की नियु्क्ति नियुक्ति तिथि से समाप्त कर दी। बेसिक शिक्षा विभाग ने बीईओ और बीएसए को आदेश दिया कि इन फर्जी शिक्षकों के विरूध एफआईआर की करायी जाए और भू-राजस्व के भांति वेतनआदि की वसूली की जाए।
नियुक्ति से पहले क्यों पकड़ में नहीं आये दस्तावेज
आपको बता दें कि अब सवाल यह है कि इन शिक्षकों की नियुक्ति के दौरान क्यों इनके शैक्षणिक दस्तावेज पकड़ में नहीं आये? और आखिर ये कुटरचित दस्तावेज तैयार कराने में किसकी भूमिका रही?। इससे यह स्पष्ठ होता है कि विभागीय मिलीभगत से हो ही हरदोई में इतने बड़े पैमाने पर फर्जी शिक्षकों की नियुक्तियां हुई हैं।