शिक्षा माफियाओं ने 12वीं अंग्रेजी का पर्चा किया वायरल, हो सकता है पेपर कैंसल
बागपत में शिक्षा माफियाओं ने एक बार फिर अपने मंसूबों को आसानी से अंजाम दे दिया। शिक्षा माफियाओं ने 12वीं कक्षा का अंग्रेजी का पर्चा आउट करा दिया। रात से ही पूरे बड़ौत में ये पर्चा सभी स्टूडेंट्स पर पहुंच गया था। फिर इसे वायरल भी कर दिया गया। शुरू में तो पुलिस-प्रशासन ने इसे किसी की शरारत माना, लेकिन जब बुधवार (19 अप्रैल) को दोपहर 2 बजे, जब अंग्रेजी परीक्षा शुरू हुई और वायरल हुए पर्चे से इसका मिलान कराया गया तो पर्चा हू-ब-हू निकला। इससे बागपत में हड़कंप मच गया।
बागपत: शिक्षा माफियाओं ने एक बार फिर अपने मंसूबों को आसानी से अंजाम दे दिया। शिक्षा माफियाओं ने 12वीं कक्षा का अंग्रेजी का पर्चा आउट करा दिया। रात से ही पूरे बड़ौत में ये पर्चा सभी स्टूडेंट्स पर पहुंच गया था। फिर इसे वायरल भी कर दिया गया। शुरू में तो पुलिस-प्रशासन ने इसे किसी की शरारत माना, लेकिन जब बुधवार (19 अप्रैल) को दोपहर 2 बजे, जब अंग्रेजी परीक्षा शुरू हुई और वायरल हुए पर्चे से इसका मिलान कराया गया तो पर्चा हू-ब-हू निकला। इससे बागपत में हड़कंप मच गया।
टीम की छापेमारी जारी
इस मामले में बागपत डीएम हृदय शंकर तिवारी ने एसडीएम बड़ौत, डायट प्राचार्य और डीआईओएस के नेतृत्व में टीम गठित की। टीम ने कई जगह छापे मारे। इस टीम ने जब शक के आधार पर सिनौली गांव के केएचआर इंटर कॉलेज पर छापा मारा तो कॉलेज का प्रिंसिपल टीम के पहुंचने से पहले ही गायब हो गया। इस पेपर के आउट होने की गूंज लखनऊ तक भी पहुंच गई है। डीएम के आदेश पर केएचआर इंटर कॉलेज सिनौली के प्रिंसिपल के खिलाफ मुकदमा भी दर्ज करा दिया गया। डीएम के नेतृत्व में गठित टीम की छापेमारी जारी हैं।
क्या कहना है प्रशासनिक अधिकारियों का?
प्रशासनिक अधिकारियों का कहना है कि पेपर आउट कराने वाले को बख्शा नहीं जाएगा। शिक्षा माफियाओं का जो भी नेटवर्क इसके पीछे काम कर रहा है उन सबको सलाखों के पीछे भेजा जाएगा। लेकिन सवाल यह उठ रहा है कि आखिर तमाम दावों के बीच पेपर आउट कराने में सेंध किसने लगाई। इस पर चर्चा चल रही है कि इस पेपर को कैंसिल भी किया जा सकता है। फिलहाल, अधिकारी जांच कर कार्रवाई की बात कर रहें हैं।
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