Jhansi News: नारायण बाग पर 23 करोड़ खर्च, टूटी छतरियां, बदहाल चिल्ड्रन पार्क, टंकी से गायब हैं टॉटियां
Jhansi News: नारायण बाग की सैर करने के लिए ई- साइकिलों की बात कही गई थी। साइकिलें रखने के लिए स्थान भी बनाया गया था, पर, ई-साइकिलें नदारद हैं।
Jhansi News: नगर की शान समझे जाने वाले राजकीय उद्यान नारायण बाग को मॉडल पार्क बनाने के लिए स्मार्ट सिटी लिमिटेड ने 23 करोड़ रुपए लगाकर इसका सुंदरीकरण किया था। लेकिन, यहां सुंदरता तो नहीं बदहाली जरूर नजर आती है। मजे की बात तो यह है कि इस बदहाली को देखने के लिए यहां 10 रुपए का टिकट लगा दिया गया। ऐसे में सुंदरीकरण कहां किया गया यह एक खोज का विषय है।
नारायण बाग में बनाई गईं छतरियां टूटी दिखाई पड़ रहीं हैं। पानी की टंकी बनाई गई है पर, उसमें से टोटियां गायब हैं। नारायण बाग की सैर करने के लिए ई- साइकिलों की बात कही गई थी। साइकिलें रखने के लिए स्थान भी बनाया गया था, पर, ई-साइकिलें नदारद हैं। ऐसे में ई-साइकिल चलाने का मंसूबा लेकर यहां आने वालों के हाथ मायूसी ही लगती है। नगर के बाहर स्थित राजकीय उद्यान नारायण बाग हमेशा से महानगरवासियों के आकर्षण का केंद्र रहा है। चूंकि लक्ष्मी ताल से सटे 106 एकड़ के विस्तृत क्षेत्र में फैले नारायण बाग की चारदीवारियों से सटें क्षेत्रों के लोग बिना रोकटोक के पार्क में आ जाते हैं। यह लोग अक्सर यहां पिकनिक मनाने या सैर करने आए लोगों के आनंद में खलल पैदा कर देते हैं। ऐसे में यहां सुरक्षा को लेकर अक्सर सवाल उठते रहे हैं। अब चूंकि इस उद्यान का वृहद स्तर पर सुंदरीकरण कराया गया है तो कड़ी सुरक्षा और पार्क की सुंदरता भी लाजिमी है। पूर्व में नारायण बाग की सुरक्षा राजकीय उद्यान के कर्मचारी जो कि माली ही होते थे, वही लोग करते थे। लेकिन, स्मार्ट सिटी द्वारा यहां सुंदरीकरण कराने के बाद नगरवासियों में नारायण बाग के प्रति रुझान जरूर बढ़ गया है, परंतु यहां पहुंचने के बाद स्मार्ट सिटी की उस सुंदरता को लोग खोजते हैं जिस पर करोड़ों रुपए खर्च किए गए हैं।
उद्यान विकास समिति कर रही संचालन
स्मार्ट सिटी लिमिटेड ने जब नारायण बाग का सुंदरणीकरण का कार्य पूर्ण कर लिया तो सवाल पैदा हुआ कि इसका संचालन कैसे किया जाए। इसके लिए कमिश्नर की अध्यक्षता में उद्यान विकास समिति गठित की गई। समिति में नारायण बाग अधीक्षक सहित अन्य लोगों को शामिल किया गया है।
रोजाना बमुश्किल बिक रहे सौ से डेढ़ सौ टिकट करोड़ों रुपए खर्च करने के बाद लोगों को उम्मीद थी कि यहां सैर सपाटे और मनोरंजन का पूरा पैकेज मिलेगा। पर ऐसा कुछ नहीं हआ। नारायण बाग में 10 रुपए प्रवेश टिकट कैरने के बौद से यहां घूमने आने वाले लोगों की संख्या में कमी आ गई है। रोजाना बमुश्किल सौ से डेढ़ सौ टिकट बिकते हैं। स्कूल के बच्चों के ग्रुप और बॉटनी के छात्रों के लिए यहां टिकट पर रियायत है।