Lucknow: डीजीपी और प्रमुख सचिव गृह से भाजपा नेताओं के साथ मिले ऋतिक के पिता, सुरक्षा की मांग
Lucknow News: पीड़ित पिता ने डीजीपी से मिलकर शस्त्र लाइसेंस के साथ ही सुरक्षा की मांग की है। डीजीपी प्रशांत कुमार ने तत्काल पुलिस कमिश्नर को परिवार की सुरक्षा के लिए आदेश जारी किए हैं।
Lucknow News: बंथरा में हुए ऋतिक हत्याकांड में पीड़ित पिता इंद्रकुमार उर्फ बब्बन पांडे ने उत्तर प्रदेश के डीजीपी प्रशांत कुमार के साथ ही प्रमुख सचिव गृह दीपक कुमार से मुलाकात कर सुरक्षा की मांग की। इस दौरान उनके साथ भाजपा एमएलसी प्रांशु दत्त द्विवेदी समेत भारतीय जनता युवा मोर्चा के अन्य नेता भी उपस्थित रहे। पीड़ित पिता ने डीजीपी से मिलकर शस्त्र लाइसेंस के साथ ही सुरक्षा की मांग की है। इसके बाद डीजीपी प्रशांत कुमार ने तत्काल पुलिस कमिश्नर को परिवार की सुरक्षा के लिए आदेश जारी किए हैं। साथ ही एसीएस होम दीपक कुमार ने भी परिवार को न्याय दिलाने का भरोसा दिया है।
यह था मामला
21 जुलाई की रात बंथरा के कुछ घरों में लाइट नहीं आ रही थी उसे ठीक करवाने के लिए आसपास के लोग ट्रांसफॉर्मर के पास पहुंचे थे। ट्रांसफॉर्मर के पास ही कुछ घरों में लाइट आ रही थी इस पर उक्त घरों के लोगों ने बिजली ठीक करने का विरोध किया। इस दौरान मृतक ऋतिक पांडेय भी वहां मौजूद था और उसकी आरोपियों से मामूली बहस हुई थी। बहस के बाद सब सामान्य हो गया था और सभी लोग वहाँ से अपने घर लौट गए। मृतक के पिता इंद्रकुमार ने पुलिस को दी गई तहरीर में बताया था कि रात करीब 10 :30 बजे अवनीश पुत्र शबोहन सिंह, हिमांशू सिंह, प्रियांशू, प्रत्यूष पुत्र कन्हैया सिंह, शनि पुत्र विनोद सिंह अपने कई साथियों को लेकर लाठी-डंडों व असलहों के साथ घर में घुस गए। आरोपियों ने नौकर मैकू रावत, बेटे अभिषेक उर्फ़ रमन और ऋतिक को बुरी तरह से पीटा। इसके बाद आरोपी मौके से फरार हो गए। अंदरूनी चोटें ज़्यादा गंभीर होने के कारण रात में अचानक ऋतिक की तबीयत बिगड़ गई। परिजन उसे लेकर अस्पताल जा रहे थे की इसी बीच ऋतिक की मौत हो गई। सोमवार को परिजनों ने अस्पताल में प्रदर्शन भी किया था। जिसके बाद साउथ जोन के अधिकारियों के निर्देश पर उक्त पांचों नामजद आरोपियों सहित 10 अज्ञात पर हत्या समेत अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज हुआ।
पांच नामजद और एक अज्ञात को हुई है जेल
बंथरा हत्याकांड में उपरोक्त नामजद आरोपियों के साथ ही एक अज्ञात प्रदीप सिंह को पुलिस गिरफ्तार कर जेल भेज चुकी है। इसके अलावा 9 अज्ञात आरोपी अब भी फरार चल रहे हैं। पुलिस उनकी तलाश में जुटी हुई है। हालांकि अभी तक 9 आरोपियों का पता नहीं चला है।
ब्राह्मण संगठन के आक्रोश और विपक्ष के बयानों से हरकत में आई थी पुलिस
बंथरा हत्याकांड में पुलिस शुरू से ही लापरवाह बनी रही। इस मामले में जब ब्राह्मण संगठनों ने आक्रोश जताया और विपक्ष भाजपा पर हमलावर हुआ तब पुलिस हरकत में आई। इसके बाद बंथरा थाने के इंस्पेक्टर हेमंत कुमार राघव, दो दरोगा व एक सिपाही को सस्पेंड किया गया। जबकि एक सीनियर सब इंस्पेक्टर को दूसरे थाने में ट्रांसफर किया गया। इसके बाद पुलिस ने इस मामले में तेजी दिखाई।
क्षत्रिय संगठन भी कर चुका बैठक, दहशत में पीड़ित
हत्या करने वाले आरोपियों के पक्ष में बंथरा के एक निजी लॉन में क्षत्रिय संगठनों ने बैठक की और पुलिस पर ज्यादती के आरोप लगाए। साथ ही उन्होंने उग्र होकर नारेबाजी करते हुए पैदल मार्च भी निकाला। इसके बाद से पीड़ित परिवार और दहशत में आ गया। फिलहाल डीजीपी के आदेश के बाद ही परिवार को पुलिस सुरक्षा मुहैया करा दी गई है। इसके अलावा गांव में पहले से ही पीएसी भी तैनात है।