Lucknow Crime: पूर्व IAS के चेन लुटेरों को पकड़ने के लिए पुलिस ने लगाई 35 लोगों की टीम, फिर भी दो गिरफ्त से बाहर
27 सितंबर को विकासनगर थाना क्षेत्र के सेक्टर तीन में पूर्व आईएएस प्रेम नारायण द्विवेदी से चेन लूट के आरोपियों को पकड़ने के लिए पुलिस ने 35 लोगों की टीम लगाई थी।
Lucknow Crime: बीते 27 सितंबर को विकासनगर थानाक्षेत्र के सेक्टर 3 में पूर्व IAS प्रेम नारायण द्विवेदी से हुई चेन लूट के आरोपियों को पकड़ने के लिए पुलिस ने 35 लोगों की टीम लगाई। इसके बावजूद घटना में सिर्फ दो ही आरोपी अभी तक गिरफ्तार किए जा सके हैं। जबकि एक आरोपी और एक संदिग्ध युवक अब भी पुलिस गिरफ्त से बाहर है। इनकी धरपकड़ के लिए टीमों को लगाया गया है। मंगलवार को पुलिस आयुक्त के कैंप कार्यालय पर डीसीपी नॉर्थ आर एन सिंह ने मामले का खुलासा करते हुए प्रेस वार्ता की है।
पास के एक कॉम्प्लेक्स में रहता था आरोपी
डीसीपी नॉर्थ आर एन सिंह ने जानकारी देते हुए बताया कि घटना में शामिल एक आरोपी इंद्र कुमार उर्फ इंदल मूलरूप से अमेठी जनपद के शिवरतनगंज थाना क्षेत्र के मिरजानगर गांव का रहने वाला है। वह सेक्टर 3 में बादल कॉम्प्लेक्स में रहता था। इसी के सामने से पीड़ित रिटायर्ड IAS अधिकारी रोज टहलने जाते थे। आरोपी उन पर काफी दिनों से निगाह रखे था। इसके बाद उसने यह बात लखनऊ के गोसाईंगंज थानाक्षेत्र स्थित सुरियामऊ गांव निवासी साथी राज प्रताप सिंह उर्फ बब्बू उर्फ छपरी और कासिमपुर गांव निवासी सैब्य श्रीवास्तव उर्फ राहुल पुत्र प्रताप शंकर श्रीवास्तव को बताई। इसके बाद तीनों ने मिलकर वारदात को अंजाम देने का प्लान बनाया। पुलिस ने घटना में एक अन्य संदिग्ध युवक के शामिल होने की बात भी बताई है।
चिनहट में किया रुपये का बंटवारा
आरोपियों ने पहले IAS अधिकारी से चेन लूटी उसके बाद उनको धक्के से गिराकर तीनों मौके से फरार हो गए। आरोपियों ने अपने ही एक साथी से दाम तय कर उसे चेन दे दी और कुछ रकम ले ली। रकम लेनदेन का पूरा वाकया चिनहट इलाके में हुआ। बाकी रकम बाद में लेने की बात तय हुई थी। इसके पहले ही पुलिस ने आरोपी राजप्रताप सिंह उर्फ बब्बू और इंद्र कुमार उर्फ इंदल को विकासनगर के मिनी स्टेडियम से गिरफ्तार कर लिया। आरोपियों के पास से पुलिस को एक नाजायज तमंचा और 0.32 बोर की कारतूस के साथ ही चेन के बदले में मिले 7810 रुपये भी मिले हैं। वहीं फरार आरोपी सैब्य उर्फ राहुल एवं एक अन्य संदिग्ध की गिरफ्तारी के लिए टीम का गठन किया गया है।
बनी थी 35 लोगों की तीन टीमें
घटना के खुलासे हेतु अधिकारियों ने कुल 35 लोगों को लगाया था। इसके बावजूद अभी तक सभी आरोपी गिरफ्तार नहीं हो सके हैं। पुलिस द्वारा जारी प्रेस नोट में दिए गए नामों के अनुसार क्राइम ब्रांच के निरीक्षक शिवानंद मिश्रा, उप निरीक्षक आशुतोष कुमार पांडे, उप निरीक्षक प्रकाश सिंह, उप निरीक्षक शुभम पाराशर, डेड कांस्टेबल हबीब खान, अतुल पांडे, इंद्र प्रताप सिंह, मनोज शुक्ला, दिलीप कुमार, पवन कुमार, कांस्टेबल सूरज सिंह, नाहर सिंह, देशराज मुखिया, मुकेश वर्मा और विशेष दुहुड़ शामिल थे। डीसीपी नॉर्थ की क्राइम टीम से उप निरीक्षक विश्वनाथ प्रताप सिंह, हेड कांस्टेबल नदीम, अवधेश गिरी, आजम, वीर सिंह, संतोष कुमार, अमित कुमार गौतम, राघवेंद्र प्रताप सिंह और महिला कांस्टेबल प्रिया शामिल थी। इसके अलावा विकास नगर थाने से थानाध्यक्ष विपिन कुमार सिंह, दरोगा संतोष पटेल, हरिनाथ पाल, अतुल कुमार, हेड कांस्टेबल प्रवीण कुमार, ऋषि कुमार तिवारी, समरजीत सिंह और कांस्टेबल राघवेंद्र सिंह और विनीत यादव आदि को लगाया गया था।