Lucknow University News: नेशनल सेमिनार कॉर्पोरेट में केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी बोले-PM मोदी के नेतृत्व में 2047 तक बनेगा आत्मनिर्भर भारत
Lucknow University News: सेमिनार में उन्होंने कहा कि भारत को विश्व के अग्रणी देशों में शामिल करने के लिए कॉर्पोरेट जगत और सरकार के बीच सहयोग आवश्यक है। इस दिशा में कॉर्पोरेट सामाजिक उत्तरदायित्व की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण है, जो आर्थिक विकास, सामाजिक कल्याण और पर्यावरणीय स्थिरता को बढ़ावा देती है।;
Lucknow University News (Photo Social Media)
Lucknow News: लखनऊ विश्वविद्यालय की ओर से आयोजित नेशनल सेमिनार कॉर्पोरेट सोशल रिस्पांसिबिलिटी एंड सस्टेनेबल डेवलपमेंट गोल्स फार विजन विकसित भारत@2047 में केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने भारत को 2047 तक एक आत्मनिर्भर और विकसित राष्ट्र बनाने की दिशा में सरकार की योजनाओं को साझा किया। सेमिनार में उन्होंने कहा कि भारत को विश्व के अग्रणी देशों में शामिल करने के लिए कॉर्पोरेट जगत और सरकार के बीच सहयोग आवश्यक है। इस दिशा में कॉर्पोरेट सामाजिक उत्तरदायित्व की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण है, जो आर्थिक विकास, सामाजिक कल्याण और पर्यावरणीय स्थिरता को बढ़ावा देती है।
प्रधानमंत्री के दिशा-निर्देश: 2047 तक आत्मनिर्भर भारत
केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सरकार का लक्ष्य 2047 तक भारत को एक समृद्ध और वैश्विक नेतृत्व करने वाला देश बनाना है। इसके लिए शिक्षा, स्वास्थ्य, और जीवनशैली के सुधारों पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार ने कई महत्वपूर्ण योजनाओं जैसे स्वच्छ भारत अभियान, आयुष्मान भारत, उज्जवला योजना और प्रधानमंत्री जन धन योजना के माध्यम से विकास की दिशा में अहम कदम उठाए हैं।
सतत विकास और सोशल रिस्पांसिबिलिटी: कॉर्पोरेट सेक्टर की भूमिका
सेमिनार में लखनऊ विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. आलोक कुमार राय ने कहा कि कंपनियां राष्ट्र की प्रगति में प्रमुख हितधारक हैं, और उनके सहयोग से सतत विकास की परियोजनाओं को साकार किया जा सकता है। उन्होंने यह भी बताया कि विश्वविद्यालय इस दो दिवसीय सेमिनार के माध्यम से विकसित भारत के लिए एक ब्ल्यूप्रिंट प्रस्तुत कर रहा है, जो नीति निर्धारण में सहायक साबित होगा।
विशिष्ट अतिथि कला संकायाध्यक्ष प्रो अरविन्द मोहन ने कहा कि विकसित भारत की संकल्पना को आकार देने की अपनी प्रतिबद्धता और संकल्प को प्रदर्शित करने के लिए ही यह सेमिनार अर्थशास्त्र विभाग द्वारा आयोजित है। हम सब मिलकर 2047 तक देश को विकसित भारत बनाने की संकल्पना को साकार करने अपने दायित्वों का निर्वहन करें। सबके साथ -सबके विकास के लिए सबके प्रयास की जरूरत है।
सेमीनार के प्लेनरी-एक्सपर्ट सेशन में इंडियन इकोनॉमिक एसोसिएशन के कार्यकारी अध्यक्ष प्रोफेसर देवेन्द्र अवस्थी ने कहा कि सामाजिक उत्तरदायित्व के माध्यम से संयुक्त राष्ट्र के सतत विकास लक्ष्यों को प्राप्त करते हुए देश को 2047 तक विकसित भारत की संकल्पना को साकार करने का यह मंच है।
वित्तीय समावेशन और विकास के नए अवसर: बजट 2025 का दृष्टिकोण
वहीं, सरकार द्वारा 2025 के बजट में गरीबों, युवाओं, किसानों और महिलाओं के लिए विभिन्न योजनाओं का प्रस्ताव किया गया है। प्रधानमंत्री मुद्रा योजना, स्ट्रीट वेंडर्स को UPI-लिंक्ड क्रेडिट कार्ड की सुविधा, और MSME क्षेत्र के लिए सूक्ष्म उद्यम क्रेडिट कार्ड योजना जैसी पहलों ने विकास के नए अवसरों का मार्ग प्रशस्त किया है।
आयुष्मान भारत और डिजिटल क्रांति: भारत का वैश्विक नेतृत्व
आयुष्मान भारत योजना, जो दुनिया की सबसे बड़ी स्वास्थ्य सुरक्षा योजना है, अब 50 करोड़ से अधिक लोगों को लाभ पहुंचा रही है। इसके अलावा, भारत की UPI क्रांति आज पूरी दुनिया में चर्चित है, जिससे डिजिटल अर्थव्यवस्था की दिशा में नए आयाम स्थापित हो रहे हैं। प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना और पीएम किसान सम्मान निधि जैसे कार्यक्रमों ने ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती दी है।
शोध और विचार-विमर्श: सेमिनार की महत्वपूर्ण सिफारिशें
इस सेमिनार में 258 शोध पत्रों का शोध सार समाहित किया गया। और कई प्रमुख विशेषज्ञों ने अपने विचार साझा किए। सेमिनार में विभिन्न शोधकर्ताओं, नीति निर्माताओं और सरकारी प्रतिनिधियों ने मिलकर भारत को 2047 तक एक विकसित राष्ट्र बनाने के लिए ठोस कदमों पर चर्चा की गई। तो वहीं सेमीनार का सञ्चालन अर्थशास्त्र विभाग के सहायक आचार्य डॉ हरनाम सिंह ने किया।