Mahoba News: जिला पंचायती राज विभाग के लिपिक को रिश्वत लेते एंटी करप्शन टीम ने किया गिरफ्तार

Mahoba News: महोबा के विकास भवन में संचालित जिला पंचायती राज विभाग के लिपिक को एंटी करप्शन की 10 सदस्यीय टीम ने रंगे हाथ 15000 रुपये की रिश्वत लेते गिरफ्तार किया है।

Report :  Imran Khan
Update: 2022-09-08 13:31 GMT

जानकारी देते हुए अधिकारी। 

Mahoba News: उत्तर प्रदेश सरकार रिश्वतखोरी पर लगाम लगाने के लिए सख्त तेवर अपनाए हुए हैं। मगर इस सख्ती का असर महोबा जनपद में बिल्कुल नहीं दिखाई दे रहा। महोबा के विकास भवन में संचालित जिला पंचायती राज विभाग (District Panchayati Raj Department) के लिपिक तो लखनऊ से आई एंटी करप्शन (anti corruption) की 10 सदस्यीय टीम ने रंगे हाथ 15000 रुपये की रिश्वत लेते गिरफ्तार किया है।

दरअसल आपको बता दें कि कबरई ब्लॉक (Kabrai Block) में ग्राम विकास अधिकारी के पद पर कार्यरत शिकायतकर्ता आलोक कुमार द्विवेदी ने एंटी करप्शन टीम लखनऊ (Anti Corruption Team Lucknow) को लिखित शिकायत दी थी, जिसमें आरोप लगाया गया था कि जिला पंचायती राज विभाग में तैनात लिपिक (बड़े बाबू) वैभव मिश्रा उसका वेतन बनाने के एवज में रिश्वत की मांग कर रहा है।

एंटी करप्शन टीम के 10 सदस्यीय टीम ने की गोपीय जांच शुरू

पीड़ित का वर्ष 2021 का अक्टूबर माह और 2022 के मार्च माह का वेतन अवरुद्ध था। इसी वेतन के लिए जिला पंचायती राज विभाग का लिपिक बड़ा बाबू वैभव मिश्रा 15000 रुपये रिश्वत की मांग पीड़ित से कर रहा था। पीड़ित रिश्वत की मांग से इस कदर हताश और परेशान हो चुका था कि उसने पूरे मामले की लिखित शिकायत एक सितंबर को एंटी करप्शन लखनऊ में कर दी। जिसके बाद पिछले एंटी करप्शन टीम के 10 सदस्यीय टीम ने आरोपी की गोपीय जांच शुरू कर दी और आखिरकार आज शहर के हंड्रेड पाम होटल में उक्त विभाग के लिपिक बड़े बाबू वैभव मिश्रा को पीड़ित से 15000 रूपये की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया गया।

रिश्वत लेते हुए जिला पंचायती राज विभाग के लिपिक को किया गिरफ्तार

इस गिरफ्तारी के बाद से जिला पंचायती राज विभाग में हड़कंप मचा हुआ है। एंटी करप्शन टीम प्रभारी लक्ष्मी नारायण यादव बताते हैं कि 5 इंस्पेक्टर सहित 10 सदस्य उनकी टीम है। जिसने रिश्वत लेते हुए जिला पंचायती राज विभाग के लिपिक को गिरफ्तार किया है। रिमांड में लेकर न्यायालय में पेश किया जाएगा और साक्ष्य जुटाने के बाद आरोप पत्र भी न्यायालय में पेश होगा।

बहरहाल इतना तो साफ है कि सरकार की मंशा के अनुरूप जिले के अधिकारी काम नहीं कर रहे रिश्वतखोरी के एक के बाद एक आते मामले में अब 12वां अधिकारी महोबा जनपद में रिश्वत लेते गिरफ्तार हुआ है। जिससे सरकार की मंशा पर भी पानी फिरता दिखाई दें रहा है। सरकार को रिश्वतखोरी पर लगाम लगाने के लिए और सख्ती बरतने की जरूरत है।

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