स्मृति के इस प्रयास ने लाई अमेठीवासियों के चेहरे पर मुस्कान, झूमे लोग-बटी मिठाइयां
गुरुवार को एनएच-931 के रूप में अमेठी बाईपास का शिलान्यास हुआ। 88.54 करोड़ की लागत से बनने वाले इस बाईपास को जैसे ही केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने राजधानी लखनऊ में हरी झंडी दिखाया अमेठी वासी खुशी से झूम उठे।
अमेठी: कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के संसदीय क्षेत्र में विकास की एक-एक ईंट रखकर बीजेपी इसके माध्यम से अमेठी जीतने की योजना बना रही है। गुरुवार को इसी क्रम में जब केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने लंबे समय से प्रतीक्षित अमेठी बाईपास का शिलान्यास किया तो अमेठी के लोग खुशी में डूबकर सड़कों पर उतर आए। लोगों ने मिठाइयां बांटी और जमकर आतिशबाजी किया।
गुरुवार को एनएच-931 के रूप में अमेठी बाईपास का शिलान्यास हुआ। 88.54 करोड़ की लागत से बनने वाले इस बाईपास को जैसे ही केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने राजधानी लखनऊ में हरी झंडी दिखाया अमेठी वासी खुशी से झूम उठे।
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बीजेपी अमेठी के लोकसभा संयोजक राजेश मसाला के नेतृत्व मे लोगों ने आतिशबाजी के साथ एक दूसरे को लड्डू खिलाकर खुशी मनाई। राजेश मसाला ने कहा कि दीदी स्मृति ईरानी के अथक प्रयासो के चलते अमेठी मे बाईपास का बन पाना संभव हो सका। उन्होंने बताया कि चुनाव हारने के बाद भी देश मे किसी नेता ने उस क्षेत्र के विकास के लिए सोचा है तो वह केवल स्मृति ईरानी है राजेश ने कहा कि अमेठी मे केंद्रीय विद्यालय, खाद का रैक सेंटर,कृषि विज्ञान केंद्र सहित तमाम सारे विकास के काम दीदी स्मृति ईरानी की देन है।
गौरतलब हो कि अमेठी-मुंशीगंज मार्ग से अमेठी-धम्मौर मार्ग होते हुए अमेठी-प्रतापगढ़ को जोड़ने वाली सड़क तक एक बाईपास बनाया गया था। बीते कुछ सालों में यह बाईपास पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गया है। लोगों की मांग थी कि बाईपास को आगे बढ़ाते हुए इसे लाकर गौरीगंज-अमेठी मार्ग से जोड़ा जाए। मामले को लेकर काफी दिनों से खींचतान चलती रही। आखिरकार सरकार ने 6.346 किमी बाईपास को मंजूरी दे दी है। किसानों को मुआवजा वितरण होने के साथ ही बाईपास के लिए बजट भी जारी कर दिया गया है। बड़ी बात यह है कि सरकार इसे एनएच के रूप में विकसित करेगी।
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