UP Election 2022: अब कांग्रेस को इमरान मसूद ने दिया जोर का झटका, सपा में जाने का किया ऐलान
UP Election 2022: आगामी विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुटी कांग्रेस पार्टी को आज एक बार फिर जोरदार झटका लगा है। पश्चिम उत्तर प्रदेश में कांग्रेस (Congress) को चुनाव से ठीक पहले ये झटका पार्टी के तेज-तर्रार माने जाने वाले नेता और राष्ट्रीय सचिव इमरान मसूद (Imran Masood) ने दिया है।
UP Election 2022 : आगामी विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुटी कांग्रेस पार्टी को आज एक बार फिर जोरदार झटका लगा है। पश्चिम उत्तर प्रदेश में कांग्रेस (Congress) को चुनाव से ठीक पहले ये झटका पार्टी के तेज-तर्रार माने जाने वाले नेता और राष्ट्रीय सचिव इमरान मसूद (Imran Masood) ने दिया है। इमरान मसूद ने आज कांग्रेस पार्टी को छोड़ने का ऐलान कर दिया।
लंबे समय से कांग्रेस पार्टी से जुड़े रहे इमरान मसूद अब समाजवादी पार्टी की 'साइकिल' पर सवार होने जा रहे हैं। मसूद ने ये फैसला सहारनपुर में अपने समर्थकों के साथ बैठक के बाद लिया। इमरान मसूद ने आज औपचारिक तौर पर समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) में शामिल होने का ऐलान किया। कांग्रेस पार्टी को छोड़ने इमरान मसूद ने कहा, कि यूपी में कांग्रेस बेहद कमजोर है। यहां पर सिर्फ बीजेपी और सपा के बीच ही लड़ाई है। साथ ही, उन्होंने कांग्रेस की रणनीति को भी कमजोर बेहद बताया। बता दें, कि सहारनपुर की मुजफ्फराबाद सीट से पूर्व विधायक और कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय सचिव रहे इमरान मसूद दल की अंदरूनी कलह से खासे परेशान थे।
गौरतलब है, कि इमरान मसूद कांग्रेस का बड़ा चेहरा माने जाते रहे हैं। वो साल 2007 में उत्तर प्रदेश के मुजफ्फराबाद सीट से विधानसभा चुनाव लड़े थे। मसूद यहां से निर्दलीय विधायक चुने गए थे। इसके बाद वो 2014 और 2019 में लोकसभा चुनाव भी लड़ चुके हैं। हालांकि, दोनों बार उन्हें हार का सामना करना पड़ा। इमरान मसूद को कांग्रेस ने हाल ही में बड़ी जिम्मेदारी सौंपी थी। उन्हें कांग्रेस ने प्रदेश उपाध्यक्ष बनाया था। साथ ही, राष्ट्रीय सचिव के साथ दिल्ली का प्रभारी भी नियुक्त किया था। लेकिन, कुछ समय पहले इमरान ने समाजवादी पार्टी को सबसे बड़ा विपक्षी दल बताकर सबको चौंका दिया था। उसके बाद से ही उनके सपा में जाने की अटकलें तेज गई थीं।
उत्तर प्रदेश की राजनीति में बड़ा बदलाव
कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव इमरान मसूद ने साफ कर दिया है कि वह सपा का दामन थामने जा रहे हैं। उनके आवास पर आज सैकड़ों कार्यकर्ताओं की मीटिंग हुई जिसमें उन्होंने कार्यकर्ताओं से इस बारे में राय मांगी। कार्यकर्ताओं ने जवाब में उनके समर्थन में हाथ हिलाया और कहा, कि 'इमरान आप जहां हैं हम वहां है।' इमरान मसूद पश्चिम उत्तर प्रदेश में मुस्लिम राजनीति का एक बड़ा चेहरा है।
इमरान मसूद के नाम पर लामबंद
सहारनपुर जनपद के गंगोह क्षेत्र के रहने वाले इमरान मसूद जिसके पीछे मुस्लिम वर्ग के लोग लांमबद है। यही एक बहुत बड़ी वजह थी, कि पिछले लोकसभा चुनाव हो या फिर विधानसभा चुनाव कांग्रेस एक बड़ी पार्टी के रूप में सहारनपुर जनपद में उभरी। लगभग 4.30 लाख से ज्यादा वोट कांग्रेस को मिला। इससे पहले कई चुनावों से कांग्रेस के उम्मीदवार अपनी जमानत भी नहीं बचा पा रहे थे लेकिन पिछले विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के फोटो में ही बढ़ोतरी ही नहीं हुई, बल्कि दो विधायक भी कांग्रेस के बने।
खुद नहीं जीत पाए थे चुनाव सहारनपुर की बेहट विधानसभा और सहारनपुर देहात विधानसभा पर कांग्रेस के ही विधायकों ने जीत का परचम फहराया और यह बड़ी देन थी, इमरान मसूद की। यह अलग बात है कि इमरान मसूद खुद जीत का स्वाद नहीं चख सके। इमरान मसूद वर्ष 2007 से मुजफ्फराबाद विधानसभा वर्तमान में बेहट विधानसभा से निर्दलीय विधायक रहे हैं। इतना ही नहीं उसी समय नगर पालिका से भी चेयरमैन पद पर रहे। तीन विधानसभा और एक लोकसभा चुनाव हार चुके इमरान मसूद कद्दावर नेता माने जाते रहे हैं।
आने वाला वक्त समाजवादी पार्टी का है
इमरान मसूद ने अपने कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा, कि आने वाला वक्त समाजवादी पार्टी का है कांग्रेस ने उन्हें बहुत मान सम्मान और प्यार दिया लेकिन पिछले 4 महीने से लगातार यही बात कहते आए हैं कि गठबंधन जरूरी है बीजेपी को हराने के लिए सभी का एकजुट होना जरूरी है। प्रदेश में अगर कोई बीजेपी को परास्त कर सकता है तो वह समाजवादी पार्टी है। समाजवादी पार्टी ही भारतीय जनता पार्टी से मुकाबला करने में सक्षम है। बदलती हुई राजनीतिक परिस्थितियों को देखते हुए यह निर्णय कार्यकर्ताओं की सहमति के बाद ले रहे हैं।
बनाया सपा में जाने का मन
इमरान मसूद ने बताया कि वह कल लखनऊ जाएंगे जहां सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव से मुलाकात कर समाजवादी पार्टी में शामिल हो जाएंगे।आपको बता दें, कि इमरान मसूद का संबंध राजनीतिक परिवार से रहा है जिसके चलते बचपन से ही उन्होंने राजनीति के गुर सीखे हैं यह गुरु उन्होंने अपने पिता स्वर्गीय राशिद मसूद और चाचा स्वर्गीय काजी रशीद मसूद से सीखें राजनीति उन्हें विरासत में मिली है। इमरान मसूद ने यह साफ किया है कि उन्होंने किसी भी शर्त पर समाजवादी पार्टी में जाने का मन नहीं बनाया है। उन्होंने हमेशा सिद्धांतों की राजनीति की है शर्तों कि नहीं। और अब भी जब उन्हें कार्यकर्ताओं और समर्थकों का साथ मिला है उनका समर्थन मिला है जिसके बाद उन्होंने सपा में जाने का मन बनाया है
राहुल गांधी और प्रियंका गांधी को कहा शुक्रिया
समाजवादी पार्टी (सपा) में शामिल होने से पहले इमरान मसूद ने कहा, सपा में उनकी घर वापसी हो रही है। बोले, कि उनका समाजवादी पार्टी में ही पालन पोषण हुआ है। नेताजी का आशीर्वाद हमेशा उनके ऊपर बना रहा। मसूद ने आगे कहा, कि 'कांग्रेस में उन्हें प्रियंका गांधी और राहुल गांधी ने जो मान सम्मान दिया, उसके लिए वह बड़े एहसानमंद हैं। लेकिन उत्तर प्रदेश में राजनीतिक परिस्थितियां इस प्रकार बन गई हैं कि हम बीजेपी को जीतने के लिए नहीं छोड़ सकते। उसकी जीत में सहायक नहीं बन सकते। इसीलिए उन्हें यह फैसला लेना पड़ा है।
उनका कहना है कि पिछले चार महीने से लगातार वह बयान देकर इस बात को कह रहे हैं कि समाजवादी पार्टी से गठबंधन करना बेहतर रहेगा, क्योंकि अब प्रदेश में सीधी लड़ाई बीजेपी से ही है।
गौरतलब है, कि इमरान मसूद कांग्रेस का बड़ा चेहरा माने जाते रहे हैं। वो साल 2007 में उत्तर प्रदेश के मुजफ्फराबाद सीट से विधानसभा चुनाव लड़े थे। मसूद यहां से निर्दलीय विधायक चुने गए थे। इसके बाद वो 2014 और 2019 में लोकसभा चुनाव भी लड़ चुके हैं। हालांकि, दोनों बार उन्हें हार का सामना करना पड़ा। इमरान मसूद को कांग्रेस ने हाल ही में बड़ी जिम्मेदारी सौंपी थी। उन्हें कांग्रेस ने प्रदेश उपाध्यक्ष बनाया था। साथ ही, राष्ट्रीय सचिव के साथ दिल्ली का प्रभारी भी नियुक्त किया था। लेकिन, कुछ समय पहले इमरान ने समाजवादी पार्टी को सबसे बड़ा विपक्षी दल बताकर सबको चौंका दिया था। उसके बाद से ही उनके सपा में जाने की अटकलें तेज गई थीं।