कंगना का चीरहरण पोस्टर: PM मोदी कृष्ण तो उद्धव ठाकरे दुशासन, मचा घमासान
महाराष्ट्र में गठबंधन सरकार चला रही शिवसेना और बालीवुड अभिनेत्री कंगना रनौत के बीच चल रहे विवाद के बीच वाराणसी में एक वकील ने यहां के सम्पूर्णानन्द इलाके में कंगना रनौत और शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे तथा संजय राउत के चित्रों वाला पोस्टर चस्पा करके एक और विवाद को हवा दे दी है।
लखनऊ: महाराष्ट्र में गठबंधन सरकार चला रही शिवसेना और बालीवुड अभिनेत्री कंगना रनौत के बीच चल रहे विवाद के बीच वाराणसी में एक वकील ने यहां के सम्पूर्णानन्द इलाके में कंगना रनौत और शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे तथा संजय राउत के चित्रों वाला पोस्टर चस्पा करके एक और विवाद को हवा दे दी है।
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वाराणसी में कंगना के समर्थन में अब पोस्टर चस्पा होने शुरू हो गए है
दरअसल, मुंबई में बाम्बे म्युनिस्पल कार्पोरेशन द्वारा फिल्म अभिनेत्री कंगना रनौत के ऑफिस पर बुलडोजर चलाने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की संसदीय क्षेत्र वाराणसी में कंगना के समर्थन में अब पोस्टर चस्पा होने शुरू हो गए है। पोस्टर में महाभारत के चीर हरण के दृश्य को दर्शाया गया है। जिसमे कंगना रनौत को द्रौपदी के रूप में दिखाया गया है तो वही उद्धव ठाकरे को दुश्सान के तौर पर कंगना का चीरहरण करते हुए दिखाया गया है।
जबकि संजय राउत इसमे बैठ कर इसका आनन्द उठाते हुए दिखाये गए है। इस पोस्टर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी है जिनको भगवान श्रीकृष्ण की तरह कंगना के सम्मान की रक्षा करते हुए दर्शाया गया है। इसके साथ ही पोस्टर में धृतराष्ट्र की भूमिका में कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को दर्शाया गया है।
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पोस्टर लगाने वाले श्रीपति मिश्रा पेशे से वकील है
पोस्टर लगाने वाले श्रीपति मिश्रा पेशे से वकील है जिन्होंने वाराणसी के संपूर्णानंद क्षेत्र में यह पोस्टर चस्पा किया है। श्रीपति मिश्रा का कहना है कि महाराष्ट्र सरकार जिस तरह से कंगना रनौत का चीरहरण करने में लगी हुई है। महाराष्ट्र सरकार कौरव सरकार की तरह व्यवहार कर रही है और जिस तरह से महाराष्ट्र सरकार ने कंगना का मकान गिराया है और परेशान कर रहे है, ये कौरवों की तरह नारी का अपमान करने वाले काम है।
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उन्होंने बताया कि इसीलिए पोस्टर में हमने शिवसेना को कौरव की तरह दिखाया है। नरेंद्र मोदी से पूरे देश की महिलायें अपेक्षा कर रही है कि वहीं महिलाओं के सम्मान की रक्षा कर सकते है और इसमे धृतराष्ट्र के रूप में सोनिया गांधी को दिखाया है जो स्वयं महिला हो कर भी एक महिला पर अत्याचार होने पर उनका कोई बयान नहीं आया, ये बहुत ही निंदाजनक है।
मनीष श्रीवास्तव
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