कोरोना काल में सरकारी कर्मचारियों ने दिखाई दरियादिली, जानकर करेंगे तारीफ
रायबरेली के दो सरकारी कर्मियों ने कोरोना काल में जो कदम उठाए हैं उसकी जितनी भी प्रशंसा की जाए शायद कम ही हो।
रायबरेली: सोनिया गांधी के संसदीय क्षेत्र रायबरेली के दो सरकारी कर्मियों ने कोरोना काल में जो कदम उठाए हैं उसकी जितनी भी प्रशंसा की जाए शायद कम ही हो। कर्मचारी हित में एक राजस्व कर्मी ने कर्मचारियों के परिवार के लिए अस्पताल बनाए जाने के लिए देने का ऐलान किया है। वहीं कलेक्ट्रेट कर्मचारी ने इसमें आने वाली जरूरतों को पूरा करने के लिए दस लाख रूपए जीपीएफ फंड से रिलीज करने का डीएम से आग्रह किया है।
डीएम रायबरेली वैभव श्रीवास्तव को लिखे पत्र में सदर तहसील के राजस्व लेखाकार मान बहादुर सिंह ने लिखा है कि कोरोना महामारी में कोविड से बीमार होने के बाद कर्मचारियों को इलाज के लिए इधर-उधर परेशान होना पड़ रहा है।
ऐसे में कलेक्ट्रेट कर्मचारियों व उनके परिजनों के लिए 10 बेडों की स्थापना के लिए मैं अपना स्वयं का मकान उपलब्ध कराने के लिए तैयार हूं। उन्होंने पत्र में ये भी लिखा कि, मेरा मकान चंदापुर कोठी काली मंदिर के मोड़ पर सत्यम नगर में है। इसमें बिजली-पानी भी मैं कराऊंगा।
वहीं, कलेक्ट्रेट के लेखा लिपिक विजय बहादुर सिंह ने संयुक्त पत्र में डीएम से आग्रह किया है कि मेरे जीपीएफ फंड से मानवीय दृष्टिकोण पर 10 लाख रूपए उपलब्ध कराए ताकि उससे बनने वाले अस्पताल में स्वास्थ्य संबंधी सामान लाकर लगाया जा सके। कर्मचारियों के इस कदम की अब जमकर प्रशंसा हो रही है।