सहारनपुर: जनपद को ओडीएफ करने की अंतिम तारीख 30 जून है। बावजूद इसके अब तक 887 में से 600 गांव भी ओडीएफ नहीं हो पाए हैं। ऐसे में जनपद ओडीएफ के भंवर में फंस चुका है। अंतिम तारीख तक किसी भी तरह ओडीएफ नहीं किया जा सकेगा। जिसका खामियाजा पंचायत राज विभाग और प्रशासनिक अधिकारियों को भुगतना पड़ सकता है। हालांकि विभाग ने 30 जून तक सात सौ गांवों को ओडीएफ घोषित करने का दावा किया था। लेकिन मौके पर स्थिति इसके एकदम बिपरीत है।
प्रधानमंत्री के ड्रीम प्रोजेक्ट में से एक भारत स्वच्छता मिशन के तहत सहारनपुर को ओडीएफ घोषित करने की तारीख 30 जून मुकर्रर की गई थी। इसके लिए पंचायत राज विभाग ने बाकायदा अपनी योजना भी तैयार कर ली थी। जिसके तहत हर माह जनपद के 150 गांवों को ओडीएफ की श्रेणी में लाना था। लेकिन ऐसा हो नहीं सका। कभी बजट की कमी तो कभी कैराना लोकसभा उपचुनाव की आचार संहिता के कारण शौचालय निर्माण का काम लटकता रहा। हालांकि विभाग बार-बार दावा करता रहा कि शौचालय निर्माण लगातार चल रहा है। इसके बाद बीस दिन पहले ग्राम पंचायत सचिव हड़ताल पर चले गए। जिससे शौचालय निर्माण के साथ-साथ अन्य विकास कार्य भी ठप हो गए थे।
पंचायत राज विभाग के सूत्रों की माने तो अभी तक जनपद के पांच सौ गांव भी ओडीएफ नहीं हो पाए हैं। कहीं शौचालय निर्माण हुआ ही नहीं तो कहीं अधबने शौचालय विभाग अधिकारियों का इंतजार कर रहे हैं।
हालांकि डीपीआरओ सतीश कुमार की माने तो 30 मई तक 710 गांवों में पूरी तरह शौचालय निर्माण हो चुका है। इसीलिए इन गांवों को ओडीएफ घोषित किया गया है। बाकि गांवों में हर हाल में 30 जून तक शौचालय निर्माण पूरा कर दिया जाएगा और जनपद तय समय पर ओडीएफ घोषित कर दिया जाएगा।