मुसीबत बने आवारा पशु, मंत्री ने कहा- सारे जानवर हमारे जमाने में छूट गए हैं क्या?

रायबरेली के महराजगंज तहसील के मऊ गर्बी गांव का है जहाँ आवारा जानवरो से हैरान परेशान किसानो ने सैकड़ों पशुओं को पानी की टंकी परिसर में कैद कर दिया। और उनकी रखवाली कर रहे हैं।

Update: 2019-02-02 15:21 GMT

गोरखपुर: उत्तर प्रदेश सरकार के कैबिनेट मंत्री सूर्यप्रताप शाही ने अपने आवास पर पत्रकारों से बात करते हुए बजट पर प्रधान मंत्री को धन्यवाद दिया और पत्रकारों द्वारा राम मंदिर निर्माण के सवाल पर- मंत्री ने बताया कि मामला सुप्रीम कोर्ट में है कल एक दूसरी भी धर्म संसद हुई है, कुछ लोगों के एक गिरोह को हम लोग कुछ नही समझते की उस पर कुछ बात करने की आवश्यकता है, साधु संतों के द्वारा ही मंदिर का निर्माण होना है और उसके लिए वो जो भी कदम उठाते है उसको देखा जाएगा की वह किस तरह से प्रभावी होता है।

जब पत्रकारों ने सरकार द्वारा कुछ नही करने का सवाल किया तो मंत्री ने बोला कि सरकार ने अप्लिकेशन दिया है हमारा जो 67 एकड़ जो अविवादित जमीन है। जिसको कल्याण सिंह की सरकर ने एक्वायर किया था। उसको आप डिनोटिफाई कर दीजिए जीससे की हम वहा मंदिर निर्माण कर सके। हम यह उम्मीद करते थे कि वो हमारा निर्णय पहले ही कर देंगे।

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ओम प्रकाश राजभर के सवाल पर कहा कि यह 1992 में एक्वायर कर लिए गए थे 67 एकड़ हम मुआवजा देने की प्रकिर्या भी शुरू कर दी थी उस समय की सरकार ने। 277 पहले से अविवादित जमीन रही है। यह कांग्रेस की सरकार का दुष्परिणाम था सारे जमीन की डिनोटिफाई करके और सेंट्रल एक्ट के अंतर्गत अधिग्रहित कर लिए। हमने उसके लिए अपील की है कि आप उसको रिलीज कर दीजिए। यदि उसको दे देते है तो सारी समस्या का समाधान हो जाएगा।

इस दौरान जब आवारा पशुओ के सवाल पर मंत्री से सवाल किया तो उनका कहना था कि मैं यह पूछ रहा हूँ सारे जानवर हमारे जमाने में छूट गए है क्या? यह समस्या पिछले 15 सालों से है जब हमने इस पर कार्य करना शुरू किया तो इस पर टिप्पड़ियां शुरू हो गई। जो लोग कुछ नही किये नकारा थे उन्होंने नस्ल खराब कर दिया। मैने तो काउंसिल में कहा था कि यह नस्ल बिगाड़ने वाले कौन लोग है? पिछले सरकारों पर कटाक्ष करते हुए कहा कि देश के मवेशियो का नस्ल खराब कर दिया है और प्रदेश के अंदर जो जो बिगड़ने के काम हुआ है सब इन लोगो ने किया है और आज भी कर रहे है।

पूरे प्रदेश में किसानों के लिये मुसीबत बने आवारा पशु, ताजा मामला रायबरेली का है-जहां..

रायबरेली के महराजगंज तहसील के मऊ गर्बी गांव का है जहाँ आवारा जानवरो से हैरान परेशान किसानो ने सैकड़ों पशुओं को पानी की टंकी परिसर में कैद कर दिया। और उनकी रखवाली कर रहे हैं।

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पूरे जिले में अन्ना जानवरों से किसान परेशान हैं, किसानो की समस्याओं से अधिकारी बेखबर है जिसके चलते आज रायबरेली जिले के महराजगंज कोतवाली क्षेत्र मऊ गर्वी गांव के किसानो ने इलाके के सैकड़ो गोवंशों को गाँव में बनी पानी की टंकी परिसर में कैद कर दिया। ग्रामीणों की माने तो आवारा जानवरो से फसल की सुरक्षा करना अब मुमकिन नहीं हो पा रहा है, हम लोग रात भर अलाव जला कर जानवरो से अपने खेत की रखवाली कर रहे है लेकिन उसके एवज में हमारी तबियत ख़राब हो रही है। जिले के जिम्मेदार अधिकारी इस मामले में हमारी कोई मदद नहीं कर रहे है।

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सरकार और किसान भले ही आवारा गौवंशो से होने वाले नुक्सान को लेकर चिंतित हो लेकिन जिले में बैठे जिम्मेदार अधिकारी पर इसका कोई प्रभाव नहीं पड़ता। तहसीलदार महराजगंज विनोद सिंह से मामले के बारे में जानकारी ली गयी तो उन्होंने मामले की जिम्मेदारी जिला पशु चिकित्सा अधिकारी के पाले में खिसकाते हुए कहा कि उनसे बात की जाएगी और जानवरो के चारे की व्यवस्था करने को कहा जाएगा।

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