UP Election 2022: गठबंधन की चर्चा तेज, चाचा शिवपाल और अखिलेश में 45 मिनट चली बातचीत

Akhilesh Yadav reached uncle Shivpal's house amid alliance discussions

Published By :  Shreya
Update:2021-12-16 16:07 IST

अखिलेश यादव- शिवपाल यादव (फोटो- न्यूजट्रैक)

UP Election 2022: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में अगले साल 2022 में विधानसभा चुनाव (UP Vidhan Sabha Chunaav) प्रस्तावित हैं। जिसे लेकर राजनीतिक पार्टियां एक्टिव हो चुकी हैं। वहीं, असल लड़ाई भारतीय जनता पार्टी और समाजवादी पार्टी के बीच मानी जा रही है। इस बीच अटकलें जारी हैं कि अखिलेश यादव और उनके चाचा शिवपाल यादव इस बार का विधानसभा चुनाव साथ आकर लड़ सकते हैं। इस मुद्दे पर आज शिवपाल यादव फैसला ले सकते हैं। वहीं, गठबंधन की चर्चाओं के बीच सपा प्रमुख अखिलेश यादव शिवपाल यादव के घर पहुंचे और करीब 45 मिनट की बातचीत के बाद पार्टी कार्यालय की ओर निकल गए। 

काफी समय से शिवपाल यादव समाजवादी पार्टी के साथ गठबंधन की बातें करते आए हैं और अखिलेश से कुछ सीटें की मांग कर रहे थे। आज अचानक अखिलेश के उनके घर पहुंचने से सियासी गलियारे में चर्चाएं तेज हो गई है कि अब चाचा भतीजे काम मिलन होगा। साथ ही यह पक्का हो गया है कि शिवपाल और अखिलेश मिलकर एक साथ चुनाव लड़ेंगे। यह सबसे ज्यादा फायदेमंद समाजवादी पार्टी को होगा क्योंकि सपा के कार्यकर्ता दो धड़ों में बट गए थे। चाचा भतीजे के एक होने से साइकिल और मजबूत होगी।  

Delete Edit

गौरतलब है कि अखिलेश यादव पिछले दिनों यह संकेत दिए थे कि वह अपने चाचा के साथ गठबंधन करेंगे और उन्हें उनके नेताओं के लिए कुछ सीटें छोड़ेंगे। जिसके बाद आज अचानक वह उनके घर पहुंचे हैं तो अब यह लगभग तय हो चुका है कि वह चाचा का सम्मान करते हुए उन्हें गठबंधन में शामिल करेंगे या उनकी पार्टी का सपा में विलय हो जाएगा। अब यह देखना होगा कि अखिलेश-शिवपाल का अगला कदम क्या होता है। फिलहाल शिवपाल जिस दिन का इंतजार कर रहे थे वह घड़ी आज आ गई है और अखिलेश को उनकी याद आ गई है।

भतीजे के साथ कलेश के बाद बनाई नई पार्टी

आपको बता दें कि 2017 के चुनाव से पहले 2016 में चाचा भतीजे के बीज जंग तेज हो गई थी। अखिलेश ने उन्हें अपनी कैबिनेट से बाहर का रास्ता दिखा दिया था। जिसके बाद मुलायम परिवार का यह झगड़ा खुले मंच पर आ गया था। वहीं, उत्तर प्रदेश में 2017 में समाजवादी पार्टी को मिली बुरी हार के बाद शिवपाल यादव ने खुद को पार्टी से अलग करते हुए प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के नाम से अलग संगठन बना लिया है। सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव ने अखिलेश और शिवपाल यादव के बीच की कड़वाहट को दूर करने की कई कोशिश कीं, लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ। लेकन अब जब 2022 का रण एकदम करीब है तो चाचा भतीजे का मिलन एक बार फिर से होने के आसार मिल गए हैं।

2017 के चुनाव के नतीजे

2017 में हुए उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने प्रदेश कुल 403 विधानसभा सीटों में से 314 सीटों पर जीत हासिल करने के साथ ही प्रचंड बहुमत के साथ तत्कालीन सपा सरकार को पटखनी दी थी। 2017 के विधानसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी महज़ 47 सीटों पर सिमट कर कर रह गयी थी।

दोस्तों देश और दुनिया की खबरों को तेजी से जानने के लिए बने रहें न्यूजट्रैक के साथ। हमें फेसबुक पर फॉलो करने के लिए @newstrack और ट्विटर पर फॉलो करने के लिए @newstrackmedia पर क्लिक करें।

Tags:    

Similar News