UP: चुनौतियों का सामना कर रहे छात्रों के लिए यूनिवर्सिटी तैयार करे कार्य योजना- राज्यपाल

राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने कहा कि आर्थिक या पारिवारिक चुनौतियों का सामना कर रहे छात्रों के लिए विश्वविद्यालयों को अधिक संवेदनशील होकर कार्य योजना तैयार करनी चाहिए।

Reporter :  Shreedhar Agnihotri
Published By :  Shreya
Update: 2021-06-17 14:04 GMT

राज्यपाल आनंदीबेन पटेल (फाइल फोटो साभार- सोशल मीडिया)

Lucknow: उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल (UP Governor Anandiben Patel) ने कहा कि छात्रों के मध्य सामाजिक दूरी का पालन हो और कक्षाओं में विद्यार्थियों की ऑनलाइन एवं भौतिक उपस्थिति हो। महामारी से निपटने के लिए यह स्थायी समाधान हो सकता है। आज चुनौती है कि शिक्षा पर पड़ने वाले नकारात्मक प्रभाव को जितना संभव हो उतना कम किया जाये।

इस महामारी के कारण कुछ छात्र आर्थिक या पारिवारिक चुनौतियों का सामना कर रहे हो, ऐसा भी हो सकता हैं। ऐसे छात्रों के लिए विश्वविद्यालयों को अधिक संवेदनशील होकर कार्य योजना तैयार करनी चाहिए। प्रयास होना चाहिए कि आर्थिक संकट के कारण कोई भी छात्र शिक्षा प्राप्त करने से वंचित नहीं हो।

सिद्धार्थ विश्वविद्यालय कपिलवस्तु, सिद्धार्थनगर के नवनिर्मित अतिथि-गृह 'तथागत अंतर्राष्ट्रीय केन्द्र' का आज राजभवन लखनऊ से ऑनलाइन उद्घाटन करते हुए राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने कहा कि सिद्धार्थनगर के कण-कण में भगवान बुद्ध की पावन स्मृति समायी हुई है। उनका दिव्य अहसास यहां चारों ओर फैला हुआ है निश्चित रूप से तथागत के नाम से जुड़ जाने से इस अतिथि गृह की भी महिमा बढ़ेगी। इससे इसके स्वरूप की भव्यता के साथ नाम में दिव्यता का भी समावेश हो गया है।

कठिन समय में भी हुए कई महत्वपूर्ण कार्य

उन्होंने कहा कि शैक्षणिक उपलब्धियों की दृष्टि से भी देखा जाए तो विश्वविद्यालय में इस कठिन समय में भी अनेक महत्वपूर्ण कार्य हुए हैं। पुस्तकालय के अपग्रेडेशन और ऑटोमेशन का कार्य चल रहा है तथा ई-पुस्तकालय विकसित करने की योजना पर भी काम जारी है। उन्होंने कहा कि पर्यटन की सम्भावना बढ़ाने के लिये ऐतिहासिक स्थलों के चिह्नीकरण का कार्य भी विश्वविद्यालय द्वारा किया जा रहा है।

आनंदीबेन पटेल ने कहा कि आगामी शिक्षण सत्र 2021-22 को ध्यान में रखते हुए आने वाली संभावित चुनौतियों का सामना करने की विस्तृत कार्य योजना विश्वविद्यालय को तैयार कर लेनी चाहिए। छात्रों की सफलता में छात्र-शिक्षक संबंध एवं परस्पर संवाद अत्यंत महत्वपूर्ण कारक होता है। आगामी शैक्षणिक सत्र में मिश्रित शिक्षा पद्धति द्वारा शिक्षण बेहतर विकल्प होगा। इसके लिए विश्वविद्यालय को ऑनलाइन शिक्षण तकनीक को निरंतर अद्यतन करना चाहिए।

इस अतिथि गृह में एक कुलाधिपति कक्ष, एक अति विशिष्ट कक्ष, दो विशिष्ट अतिथि कक्ष तथा अट्ठारह अतिथि कक्ष बने हैं। इसके अलावा स्टाफ के लिये एक डोरमेट्री का निर्माण हुआ है। पचहत्तर लोगों के एक साथ बैठकर खाने की व्यवस्था वाले डाइनिंग हाल तथा किचन आदि को भी इसमें बनाया गया है।

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