दूसरी प्रेसिडेंशियल डिबेट से ट्रंप बाहर, बोले-वर्चुअल बहस पर समय नहीं बर्बाद करूंगा
प्रेसिडेंशियल डिबेट कमीशन ने फैसला किया है कि कोरोना वायरस को लेकर सेहत से जुड़ी चिंताओं को ध्यान में रखते हुए ट्रंप और बिडेन के बीच 15 अक्टूबर को होने वाली प्रेसिडेंशियल डिबेट वर्चुअल होगी।
वाशिंगटन: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के कोरोना वायरस से संक्रमित होने के बाद प्रेसिडेंशियल डिबेट को लेकर नया विवाद पैदा हो गया है। प्रेसिडेंशियल डिबेट कमीशन ने फैसला किया है कि कोरोना वायरस को लेकर सेहत से जुड़ी चिंताओं को ध्यान में रखते हुए ट्रंप और बिडेन के बीच 15 अक्टूबर को होने वाली प्रेसिडेंशियल डिबेट वर्चुअल होगी।
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इस फैसले के बाद ट्रंप ने कहा है कि वे बिडेन के साथ वर्चुअल डिबेट में हिस्सा नहीं लेंगे। उन्होंने साफ तौर पर कहा है कि मैं इस तरह की डिबेट में अपना समय नहीं बर्बाद करूंगा।
ट्रंप को वर्चुअल बहस मंजूर नहीं
कमीशन के फैसले के बाद ट्रंप ने फॉक्स न्यूज के साथ बातचीत में कहा कि मुझे पता लगा है कि कमीशन ने प्रेसिडेंशियल डिबेट का स्टाइल बदल दिया है मगर मुझे यह मंजूर नहीं है।
उन्होंने साफ तौर पर कहा कि मैं वर्चुअल डिबेट में हिस्सा नहीं लूंगा। अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा कि यह समय बर्बाद करने की तरह है और मैं अपना समय बर्बाद नहीं कर सकता।
उन्होंने कहा कि इस तरह की डिबेट में आप किसी कंप्यूटर के पीछे बैठे होंगे और उनकी जब भी मर्जी होगी वह आपकी लाइन काट देंगे। उन्होंने सवाल किया कि क्या इसे डिबेट कहा जा सकता है? यह बिल्कुल बेतुका फैसला है।
चीन को चुकानी होगी बड़ी कीमत
इससे पहले ट्रंप ने बुधवार रात एक वीडियो जारी करते हुए कोरोना से जुड़े मुद्दों पर बातचीत की। खुद के कोरोना से संक्रमित होने पर उनका अजीब उत्तर था। उन्होंने कहा कि मैं इसे भगवान का आशीर्वाद मानता हूं।
उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस से संक्रमित होने के बाद उन्हें दी गई दवाओं ने जादुई तरीके से उन्हें ठीक कर दिया है। उन्होंने चीन को एक बार फिर इस महामारी को फैलाने के लिए जिम्मेदार बताते हुए चेतावनी दी कि उसे इसकी बड़ी कीमत चुकानी होगी।
इसलिए किया गया वर्चुअल बहस का फैसला
राष्ट्रपति पद के दोनों उम्मीदवारों ट्रंप और उनके प्रतिद्वंद्वी जो बिडेन के बीच होने वाली तीन बहसों में से पहली बहस हो चुकी है जबकि दूसरी बहस 15 अक्टूबर को मियामी में होने वाली है।
बहस को नियंत्रित करने वाले कमीशन का कहना है कि इसमें दूरदराज की जगहों से आए प्रतिभागी हिस्सा लेंगे। सभी के स्वास्थ्य और सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए बहस को वर्चुअल ढंग से कराने का फैसला किया गया है।
वीडियो ने भी जताई थी या पत्ती
बिडेन भी ट्रंप के संक्रमित होने के बाद उनसे सीधी बहस पर आपत्ति जताई थी। उनका कहना था कि बहस से पहले ट्रंप को अपने कोरोना निगेटिव होने का सबूत देना चाहिए। बिडेन पहले ही अपनी कोरोना संबंधी जांच करा चुके हैं और उनकी रिपोर्ट निगेटिव आई है। माना जा रहा है कि बिडेन की आपत्ति के बाद ही कमीशन की ओर से दोनों उम्मीदवारों के बीच वर्चुअल डिबेट कराने का फैसला किया गया है।
ट्रंप का रवैया लापरवाही भरा
अमेरिका में कोरोना का कहर काफी ज्यादा है और यह वायरस अभी तक देश में करीब 2,11,000 से अधिक लोगों की जान ले चुका है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के संक्रमित करने के अलावा व्हाइट हाउस के करीब दर्जन भर कर्मचारी भी इस वायरस से संक्रमित हो चुके हैं।
फिर भी ट्रंप की ओर से लापरवाही की बात सामने आई है। सैन्य अस्पताल में तीन दिन बिताने के बाद वे व्हाइट हाउस लौट आए और अपना मास्क भी उतार कर रख दिया। स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने ट्रंप के इस रवैये को लापरवाही भरा बताया है।
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कोरोना से डरने की कोई जरूरत नहीं
अस्पताल से डिस्चार्ज होने के बाद अपने बयान में ट्रंप ने कहा था कि कोरोना वायरस से डरने की कोई जरूरत नहीं है। मैं 20 साल पहले से भी बेहतर महसूस कर रहा हूं। जानकारों का कहना है कि ट्रंप सच्चाई पर पर्दा डालने की कोशिश कर रहे हैं। इसके साथ ही वह लोगों को यह भरोसा दिलाने की कोशिश भी कर रहे हैं कि कोरोना का इलाज मिल चुका है।
अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव 3 नवंबर को होने हैं और इसमें ट्रंप बिडेन से पीछे नजर आ रहे हैं। ऐसे में वे लोगों को भरोसा दिलाकर उनका विश्वास जीतने की कोशिश में जुटे हुए हैं।
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