खौफनाक धमाकों का सच: कैसे रुक गई लेबनान के हजारों दिलों की धड़कन, जाने सच्चाई
Lebanon Pager Blasts Update: विस्फोटों का ये सिलसिला लगभग एक घंटे तक चला। चश्मदीदों और दहियाह के बाशिंदों का कहना था कि उन्हें कल शाम 4:30 बजे विस्फोट सुनाई दिये।
Lebanon Pager Blasts Update: लेबनान और सीरिया में 17 सितम्बर को अचानक लोगों की जेबों में पड़े पेजर दगने लगे। इस हादसे में हजारों लोग घायल हुए हैं और लगभग एक दर्जन की मौत हो गई है। खास बात ये है कि पेजर ब्लास्ट का सिलसिला हिजबुल्लाह के गढ़ माने जाने वाले इलाकों में शुरू हुआ। लेबनान की शेष लाखों की आबादी पर इसका असर नहीं पड़ा। इसके पीछे भी कारण ये बताया जा रहा है कि आज के युग में हर व्यक्ति मोबाइल का इस्तेमाल कर रहा है फिर क्या कारण था कि हिजबुल्लाह संगठन के लोग पेजर का इस्तेमाल कर रहे थे। हालांकि संगठन का दावा है कि इस्राइल ने सिक्योरिटी ब्रीच करके ये धमाके किये हैं। अगर ऐसा मान लिया जाए तो ये अब तक का सबसे बड़ा साइबर अटैक है जिसका किसी जंग में इस्तेमाल किया गया है।
लेबनान से आ रही खबरों पर अगर गौर करें तो लेबनान भर में पेजरों में एक साथ विस्फोट होने से कम से कम नौ लोग अब तक मारे जा चुके हैं। लगभग 3,000 लोग घायल हुए हैं। इन घायलों में हिज़्बुल्लाह के लड़ाके और चिकित्सक भी शामिल हैं। ऐसा लगता है कि ये विस्फोट हिज्बुल्लाह लड़ाकों द्वारा इस्तेमाल किए गए पेजर में ही हुए हैं।
पेजर विस्फोटों के बारे में हम अब तक जो कुछ जानते हैं आइए उसे देखते हैं। पहली बात ये है कि विस्फोट कल दोपहर करीब साढ़े तीन बजे शुरू हुए। ये विस्फोट इजरायल विरोधी आतंकवादी समूह हिजबुल्लाह के गढ़ माने जाने वाले बेरूत के दक्षिणी उपनगरों में दहियाह और पूर्वी बेका घाटी में हुए।
विस्फोटों का ये सिलसिला लगभग एक घंटे तक चला। चश्मदीदों और दहियाह के बाशिंदों का कहना था कि उन्हें कल शाम 4:30 बजे विस्फोट सुनाई दिये।
सुरक्षा सूत्रों और एजेंसियों द्वारा जब वीडियो की समीक्षा की गई तो यह सामने आया है कि कुछ विस्फोट पेजर बजने के बाद हुए, जिससे लोगों को स्क्रीन चेक करने के लिए उन पर हाथ रखना पड़ा या उन्हें अपने चेहरे के करीब लाना पड़ा। एक और खास बात विस्फोट केवल पेजर पहनने वाले या उसके निकटतम व्यक्ति को घायल करते दिखाई दिए।
यह भी सामने आया है कि जो व्यक्ति घायल हुए हैं उन व्यक्तियों के चेहरे पर चोटें आई हैं, उंगलियां गायब हैं या फिर कूल्हे पर जहां पेजर पहना हुआ था, खुले घाव हुए हैं। विस्फोटों से किसी इमारत को कोई बड़ा नुकसान नहीं हुआ न ही कोई आग लगी। घटना के अब तक आए वीडियो में जो पेजर की छवियां बनावट और स्टिकर दिखाई दिए हैं जानकारी उन्हें ताइवान स्थित पेजर निर्माता गोल्ड अपोलो द्वारा बनाए गए पेजर के जैसा बता रहे हैं। हालांकि इस बात की अभी पुष्टि नहीं हुई है।
जानकारी में यह भी आया है कि हिज़्बुल्लाह लड़ाकों ने इस विश्वास के साथ पेजर का उपयोग करना शुरू किया था कि इसके उपयोग से वे अपने ठिकानों पर इजरायली ट्रैकिंग से बच सकेंगे। एक और बा जिन पेजर्स में विस्फोट हुआ, वे हाल के महीनों में हिजबुल्लाह द्वारा लाए गए नवीनतम मॉडल थे।