Pervez Musharraf: जब मुशर्रफ बोले थे- ये शर्ते मान लीं तो मुझे चांदनी चौक वाली कोठी में वापस आना पड़ेगा!

Pakistan President Pervez Musharraf: वरिष्ठ पत्रकार और अंतराष्ट्रीय मामलों के विश्लेषक के‐ विक्रम राव बताते हैं कि मुशर्रफ को भारत तीन वजहों से हमेशा याद रखेगा।

Written By :  Dhanish Srivastava
Update:2023-02-05 14:49 IST

पाकिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति परवेज मुशर्रफ का दिल्ली नहर वाला घर (फोटों: सोशल मीडिया)

Musharraf Death News: पाकिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति परवेज मुशर्रफ के भारत के साथ संबंध उतार-चढ़ाव भरे रहे। उनके सख्त फैसलों से जहां भारत को तमाम चुनौतियों का सामना करना पड़ा, वहीं पाकिस्तान में समय-समय पर अस्थिरता का माहौल बनता रहा। वरिष्ठ पत्रकार और अंतराष्ट्रीय मामलों के विश्लेषक के‐ विक्रम राव बताते हैं कि मुशर्रफ को भारत तीन वजहों से हमेशा याद रखेगा। कारगिल युद्ध, नवाज शरीफ की सरकार का तख्तापलट करने और भारत की मित्र बेनजीर भुट्टो की हत्या का आरोप।

छिड़ गया था कारगिल युद्ध और नवाज शरीफ बोलेः 'मुझे तो पता ही नहीं! '

जब पूर्व प्रधानमंत्री स्व‐ अटल बिहारी बाजपेई बस यात्रा से लाहौर होकर आए थे, तब उम्मीद थी कि नवाज शरीफ समझौते का कोई रास्ता निकालेंगे । लेकिन कारगिल पर हमला होने के बाद वो अचरज में पड़ गए। उन्होंने जब नवाज शरीफ से इस बारे में फोन पर बात की, तब नवाज ने कहा था- मुझे तो इस बारे में पता ही नहीं। राष्ट्र के सेनापति ने हमला कर दिया है। परवेज मुशर्रफ के रहते हुए इस तरह की दुविधा की स्थिति तब पाकिस्तान में बनी हुई थी।

आगरा समिट के बाद कहा- 'ऐसा हुआ तो मुझे भारत में ही रहना पड़ेगा'

परवेज मुशर्रफ ने सैन्य ताकत के बल पर जिस तरह पाकिस्तान में तख्तापलट किया और सत्ता पर काबिज हुए । वही नीतियां उनकी कार्यशैली में झलकती थीं। आगरा समिट विफल होने के बाद एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा था 'अगर मैं भारत की शर्तें मान लूंगा तो मुझे दिल्ली की चांदनी चौक की अपनी नहर वाली कोठी में वापस आकर रहना पड़ेगा।' गौरतलब है कि चांदनी चौक इलाके में उनके परिवार कि एक पुश्तैनी कोठी मौजूद है।

लखनऊ से था लगाव, आना चाहते थे यहां

बताया जाता है कि लखनऊ से परवेज मुशर्रफ को काफी लगाव था। यहां पर उनकी रिश्तेदारी भी थी। शहर में रहने वाले एक अंसारी परिवार उनकी फुफु के बेटे बताए जाते हैं। आगरा समिट के बाद परवेज मुशर्रफ यहां आना चाहते थे। लेकिन समिट विफल होने के बाद बिगड़े हालात में वो वापस चले गए।

चीफ जस्टिस के आदेश पर पाकिस्तान से बेदखली के बाद टूटे

बेनजीर भुट्टो की हत्या का आरोप आरोप मुशर्रफ पर लगा था। दूसरी तरफ भ्रष्टाचार के आरोपों के बाद पाकिस्तान से बेदखल हुए नवाज शरीफ अंदर ही अंदर टूट गए थे। बीमारियों के घेरने और लंबे इलाज के बाद पांच फरवरी 2023 को उन्होंने दुबई के अस्पताल में अंतिम सांस ली।

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