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खतरे में अस्तित्व: दुर्लभ जनजाति विलुप्ति के कगार पर, जानें कैसे पहुंचा कोरोना
अंडमान निकोबार की ग्रेट अंडमानी जनजाति। इस जनजाति के 10 लोग कोरोना की चपेट में है। आधिकारिक तौर पर इसकी सूचना देते हुए कहा गया कि द्वीप समूह पर इस जनजाति की आबादी बेहद कम है। संक्रमितों में से दो को अस्पताल में भर्ती किया गया है जबकि बाकी को केयर सेंटरों में रखा गया है।
पोर्ट ब्लेयर: कोरोना की वजह से पूरी दुनिया में उथल-पुथल मच गया है। कई लोगों के जान जा चुकी है और की मौत की कगार पर है। कुछ ठीक भी हो गए है। लेकिन इस कोरोना की वजह से सबसे बुरा असर जिस जनजाति पर पड़ा है अब उसके अस्तित्व पर सवाल खड़ा हो गया है।
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फाइल
आबादी बेहद कम
ये जनजाति है अंडमान निकोबार की ग्रेट अंडमानी जनजाति। इस जनजाति के 10 लोग कोरोना की चपेट में है। आधिकारिक तौर पर इसकी सूचना देते हुए कहा गया कि द्वीप समूह पर इस जनजाति की आबादी बेहद कम है। संक्रमितों में से दो को अस्पताल में भर्ती किया गया है जबकि बाकी को केयर सेंटरों में रखा गया है।
फाइल फोटो
ग्रेट अंडमानी जनजाति के 4 लोगों को संक्रमण
कोरोना संक्रमण के बाद हाल में पोर्ट ब्लेयर से 5 लोगों को स्वास्थ्य अथॉरिटी वाले स्ट्रेट आईलैंड भेजा गया। स्वास्थ्य विभाग के नोडल अफसर ने कहा कि 37 सैंपल लिये गए थे, जिनमें से ग्रेट अंडमानी जनजाति के 4 लोगों को संक्रमित मिले। इससे पहले, पिछले महीने इस जनजाति के छह और लोगों को संक्रमित पाया गया था, जो शहर में काम कर रहे थे।
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जनजाति के 50 लोग बचें
उन्होंने यह भी कहा कि इस जनजाति के काफी लोग पोर्ट ब्लेयर से द्वीप के बीच यात्रा करते रहते हैं। इस यात्रा के दौरान ये लोग संक्रमित हुए हों। कुछ संक्रमितों को अस्पतालों और कुछ को घरों में रखा गया है। अधिकारी ये भी कह रहे हैं कि इस जनजाति के सिर्फ 50 लोग ही बचे हैं। यानी यह दुर्लभ जनजाति है, जो विलुप्त होने की कगार पर है।
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फाइल फोटो
अब तक इतन केस
पूरे द्वीप समूह में कोरोना वायरस के 3018 से ज़्यादा केस सामने आ चुके हैं, जिनमें से 2375 से ज़्यादा रिकवर हो चुके हैं। केंद्रशासित प्रदेश में अब तक कोविड 19 से 42 मरीज़ों की मौत हुई है और फिलहाल 600 से ज़्यादा कन्फर्म केस हैं। ऐसे में, लुप्त हो रही जनजाति में संक्रमण फैलना चिंताजनक है। अगर कोरोना की रफ्तार नहीं थमी तो शायद इन जनजातियों का भविष्य खतरे में हो।