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Jain Monk Murder Case: कर्नाटक जैन मुनि हत्याकांड में बड़ा खुलासा, आश्रम के माली ने ही की थी हत्या, किए थे कई टुकड़े
Jain Monk Murder Case: बेलगावी पुलिस ने बताया कि दिगंबर जैन मुनि कामकुमार नंदी महाराज की हत्या उन्हें के आश्रम में माली का काम करने वाले एक शख्स ने एक दूसरे आरोपी के साथ कर दी थी।
Jain Monk Murder Case: कर्नाटक में एक जैन मुनि की नृशंष हत्या का मामला पिछले कुछ दिनों से सुर्खियों में है। इस मामले में पुलिस ने बड़ा खुलासा किया है। बेलगावी पुलिस ने बताया कि दिगंबर जैन मुनि कामकुमार नंदी महाराज की हत्या उन्हें के आश्रम में माली का काम करने वाले एक शख्स ने एक दूसरे आरोपी के साथ कर दी थी। दोनों आरोपियों ने जैन मुनि की हत्या कर उनके शव के कई टुकड़े कर गांव के बंद पड़े बोरवेल में एक कपड़े में लपेटकर फेंक दिया था।
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मृतक दिगंबर जैन मुनि कामकुमार नंदी महाराज का आश्रम कर्नाटक के बेलगावी जिले के चिक्कोडी तालुक स्थित कटकभावी गांव में है। जहां से वे 6 जुलाई से लापता थे। आश्रम में रह रहे उनके शिष्यों ने 5 जुलाई की रात 10 बजे तक उन्हें उनके कमरे में देखा था। इसके बाद से वे गायब थे। काफी खोज - पड़ताल करने के बाद जब उनका कोई सुराग हाथ नहीं लगा तो उनके शिष्य परेशान होने लगे। जिसके बाद जैन मुनि के नाम पर संचालित चैरिटेबल ट्रस्ट के अध्यक्ष भीमप्पा उगारे ने इसकी पुलिस में शिकायत दर्ज कराई।
पुलिस ने शक के आधार पर आरोपियों को दबोचा
इलाके के एक जाने-माने संत के गायब होने की खबर सामने आने के बाद पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया था। आनन फानन में पुलिस ने जांच शुरू की। पुलिस को शुरूआत में ही आश्रम में काम करने वाले माली और उसके एक सहयोगी पर संदेह हुआ। जब दोनों को हिरासत में लेकर सख्ती से पूछताछ की गई तो उन्होंने सारा सच उगल दिया।
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इसलिए की थी जैन मुनि की हत्या
पुलिस ने जैन मुनि की हत्या करने की बात कबूल करने के बाद दोनों आरोपियों नारायण बसप्पा माडी और हसन दलायथ को गिरफ्तार कर लिया। उन्होंने पुलिस को बताया कि जैन मुनि से करीब 6 लाख रूपये के लेन देन को लेकर विवाद चल रहा था, जिसके चलते उन्होंने उनकी हत्या कर दी। शुरू में दो आरोपी हत्या करने की जगह और शव को कहां ठिकाने लगाया, इस बताने में आनाकानी कर रहे थे। लेकिन सख्ती के बाद आखिरकार उन्होंने ये राज भी उगल दिया।
8 जुलाई को पुलिस ने आरोपियो के निशानदेही पर गांव के ही एक बंद पड़े बोरवेल की छानबीन शुरू की। जहां उन्हें एक कपड़े में मृतक जैन मुनि के शव के अवशेष मिले। पुलिस ने इसे एकत्रित कर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। पीएम रिपोर्ट सामने आने के बाद शव को जैन समुदाय को सौंप दिया गया। कल यानी रविवार 9 जुलाई को मुनिश्री का अंतिम संस्कार उनके शिष्यों ने किया। जानकारी के मुताबिक, दिगंबर जैन मुनि कामकुमार नंदी महाराज का जन्म बेलगावी में ही 6 जून 1967 को हुआ था।
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जैन संत की हत्या को लेकर समाज में भारी रोष
जैन संत दिगंबर जैन मुनि कामकुमार नंदी महाराज की इस तरह हुई निर्मम हत्या को लेकर समाज में भारी आक्रोश है। रविवार को उनके अंतिम संस्कार के दौरान उनके हजारों अनुयायी और शिष्य अपने आंसुओं को रोक नहीं पाए। एक अन्य जैन संत वरुरु गुणधर नंदी महाराज ने हुबली में इस घटना के विरोध में धरना शुरू कर दिया है। उन्होंने इसकी जांच सीबीआई से कराने की मांग की है।
राजनीति भी शुरू, बीजेपी – कांग्रेस भिड़े
कर्नाटक में जैन एक बहुत छोटी आबादी है लेकिन समाज से आने वाले एक संत की मौत को लेकर राज्य में राजनीति गरमा गई है। विपक्षी बीजेपी ने कांग्रेस सरकार पर हमला बोला है। प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष नलिन कतील ने कहा कि राज्य में जैन छोटा वोट बैंक है, इसलिए मामले को लेकर गंभीरता नहीं दिखाई जा रही है। उन्होंने सरकार से साधु संतों को सुरक्षा मुहैया कराने की मांग की है।
वहीं, सरकार का दावा है कि पुलिस मामले की जांच करने में सक्षम है। दोनों आरोपियों को पकड़ भी लिया गया है। उनका मानन है कि ये घटना व्यक्तिगत झगड़ा का परिणाम है। कैबिनेट मंत्री प्रियांक खड़गे ने बीजेपी पर पलटवार करते हुए कहा कि उनके पास उठाने के लिए कोई मुद्दा नहीं है, इसलिए वे इसे सांप्रदायिक रंग देना चाहते हैं।