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सीआरपीएफ कैंप हमला! अदालत ने सुनाई 4 आतंकियों को फांसी की सजा

यूपी के रामपुर में सीआरपीएफ कैंप पर हुए हमले में अदालत ने चार आरोपियों को सजा ए मौत, जबकि एक को आजीवन तथा दूसरे को दस वर्ष सश्रम कारावास की सजा सुनाई गई है। इसके अलावा दो आरोपियों को बरी कर दिया गया है।

Harsh Pandey
Published on: 2 Nov 2019 1:04 PM GMT
सीआरपीएफ कैंप हमला! अदालत ने सुनाई 4 आतंकियों को फांसी की सजा
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लखनऊ: यूपी के रामपुर में सीआरपीएफ कैंप पर हुए हमले में अदालत ने चार आरोपियों को सजा ए मौत, जबकि एक को आजीवन तथा दूसरे को दस वर्ष सश्रम कारावास की सजा सुनाई गई है। इसके अलावा दो आरोपियों को बरी कर दिया गया है।

बता दें कि करीब 12 वर्ष पहले रामपुर में सीआरपीएफ कैंप पर आतंकी हमले के मामले में शुक्रवार को एडीजे कोर्ट ने सजा सुनाया था।

इस हमले में सीआरपीएफ के सात जवान शहीद हो गए थे, जबकि एक रिकशा चालक ने भी जान गंवा दी थी। इस हमले के आरोपी आठ में से छह को कोर्ट ने दोषी माना है।

एडीजे कोर्ट ने सीआरपीएफ ग्रुप कैंप पर आतंकी हमले के आरोप से कौसर फारूकी व गुलाब खान को बरी कर दिया है। इस हमले के छह दोषी में से तीन पाकिस्तानी हैं। इन सभी को शनिवार को सजा सुनाई जाएगी। अपर जिला सत्र तृतीय के न्यायालय में हमले के मामले में पाक अधिकृत कश्मीर के इमरान, मोहम्मद फारूख, मुंबई गोरे गांव के फहीम अंसारी, बिहार के मधुबनी का सबाउद्दीन सबा, मुरादाबाद के मूंढापांडे के जंग बहादुर बाबा खान और रामपुर के खजुरिया गांव के मोहम्मद शरीफ को दोषी माना गया है।

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जिला शासकीय अधिवक्ता ने बताया…

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जिला शासकीय अधिवक्ता सरदार दलविंदर सिंह (डम्पी) ने बताया कि मोहम्मद शरीफ, जंग बहादुर, इमरान शहजाद, मोहम्मद फारुख और सबाउद्दीन को आतंकी हमले में दोषी करार दिया गया। गिरफ्तार मुंबई गोरेगांव के फहीम अंसारी से पासपोर्ट और पिस्टल वगैरह बरामद हुए थे। उसकी हमले में कोई भूमिका नहीं पाई गई है।

इसके साथ ही उन्होंने बताया कि उसे धारा 420, 467, 468, 471, 200 आईपीसी, 25/1/ए में दोषी पाया गया है। प्रतापगढ़ के कुंडा के कौसर फारुखी तथा बरेली के बहेड़ी के गुलाब खान को दोष मुक्त किया गया है।

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बताते चलें कि आज लखनऊ व बरेली जेल में बंद आठ आरोपियों को सजा सुनाई जानी थी। इसके कारण शहर में पुलिस तथा सीआरपीएफ हाई अलर्ट पर थे।

यह है पूरा मामला…

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रामपुर में 31 दिसंबर 2007 की रात आतंकियों ने सीआरपीएफ ग्रुप सेंटर पर हमला किया था। इसमें मौके पर सात जवान शहीद हुए थे जबकि एक रिक्शा चालक की भी जान चली गई थी।

बता दें कि पुलिस ने इस हमले में आठ लोगों को गिरफ्तार किया था। इन सभी आरोपियों को लखनऊ और बरेली की जेलों में रखा गया है।

ये हुये थे गिरफ्तार…

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हमले के मामले में पाक अधिकृत कश्मीर के इमरान, मोहम्मद फारूख, मुंबई गोरे गांव के फहीम अंसारी, बिहार के मधुबनी का सबाउद्दीन सबा, प्रतापगढ़ के कुंडा के कौसर खां, बरेली के बहेड़ी के गुलाब खां, मुरादाबाद के मूंढापांडे के जंग बहादुर बाबा खान और रामपुर के खजुरिया गांव के मोहम्मद शरीफ को गिरफतार किया गया था। सभी को सुरक्षा के मद्देनजर लखनऊ और बरेली की जेलों में रखा गया था।

ऐसे दहल गया था रामपुर...

जिला रामपुर में सीआरपीएफ कैम्प है, जहां 31 दिसम्बर 2007-08 की रात नये साल के जश्न के दौरान आतंकियों ने फिदाइन हमला करके सात जवानों और एक स्थानीय रिक्शा चालक को मौत के घाट उतार दिया था। इस मामले में एटीएस, एसटीएफ और पुलिस की टीम ने आठ आरोपियों को गिरफ्तार किया था।

आतंकियों को लखनऊ और बरेली जिला कारागार में रखा गया है और इस मामले की सुनवाई करीब 12 साल से एडीजे 3 संजय कुमार के न्यायालय में चल रही है जिसमें बीते रोज छह आरोपियों पर दोष सिद्ध हुआ जबकि दो आरोपियों को बरी कर दिया गया था। जबकि सजा के लिए आज का दिन मुकर्रक किया गया था।

आज इस मामले में पाक अधिकृत कश्मीर के इमरान शहजाद, मोहम्मद फारूख, मुम्बई गोरे गांव के फहीम अंसारी, बिहार के मधुबनी का सबाउददीन सबा, प्रतापगढ़ कुण्डा के कौसर खां, बरेली बहेड़ी के गुलाब खां, मुरादाबाद मूढ़ापाण्डे के जंग बहादुर बाबा खान और रामपुर के खजुरिया गांव के मोहम्मद शरीफ पर चल रहे अभियोग में सजा सुनाई गई। मोहम्मद शरीफ उर्फ सुहैब उर्फ साजिद उर्फ अनवर उर्फ अली, सबाउददीन उर्फ शाबुददीन, इमरान शहजाद उर्फ अबु ओसामा, मोहम्मद फारूख कुल चार आरोपियों को सजा ए मौत की सजा दी गई है।

इनमें इमरान शहजाद और फारूख पाक अधिकृत कश्मीर के निवासी हैं। वहीं जंग बहादुर को आजीवन कारावास जबकि फहीम अरशद अंसारी उर्फ फहीम उर्फ अबुजर उर्फ साकिब उर्फ साहिल पावस्कर उर्फ पावस्कर उर्फ समीर शेख को दस वर्ष की सश्रम कारावास की सजा सुनाई गई है। बरेली के बहेड़ी निवासी गुलाब खां और प्रतापगढ़ के कुण्डा निवासी कौसर खां को दोषमुक्त होने पर बरी कर दिया गया है। सजा सुनाने के दौरान सभी आरोपी न्यायालय मौजूद रहे।

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