TRENDING TAGS :
यूपी पुलिस पर फिर उठे सवाल: स्वतंत्र घूम रहे अपराधी, आखिर क्या कर रहा विभाग
हां सरकार के इशारे पर पुलिस ऐसे कारनामें कर रही है जिसे लेकर समाज में सवाल तो खड़े किये जा रहे हैं। लेकिन सामने आकर विरोध नहीं जता सकते
जौनपुर: जनपद में अपराध का ग्राफ कम होने का नाम ही नहीं ले रहा है। सरकार द्वारा अपराध को रोकने का पूरा प्रयास किया जा रहा है। लेकिन अपराध कम होने का नाम ही नहीं ले रहा है। जिसको लेकर पुलिस पर भी लगातार सवाल उठ रहे हैं। जिले मं बलात्कार और लूट के मामले बढ़ रहे हैं। लेकिन पुलिस इन अपराधों को रोकने में पूरी तरह से सफल नहीं हो पा रही।
कुछ लोग पुलिस पर खानापूर्ति का आरोप लगाते हैं। तो कुछ पुलिस को कार्यवाही में लापरवाह बता रहे हैं। फिलहाल कुछ भी हो लेकिन इस सब का खीमियाजा तो जनता को ही भुगतना पड़ रहा है। जिले में ऐसे ही कुछ मामले हाल ही में सामने आए हैं। जो पुलिस की कार्यवाही पर सवाल उठाते हैं।
पुलिस कर रही सिर्फ खानापूर्ति
बता दें बीते शनिवार को थाना चन्दवक क्षेत्र स्थित ग्राम अमरौना में पैसे के लेन देन के मामूली विवाद में कानून और पुलिस के डर से बेखौफ लोगों ने 62 वर्षीय बंशीलाल यादव की कुल्हाड़ी और राड से सर कूच कर हत्या कर दी और फरार भी हो गए। घटना की सूचना पर लगभग दो घन्टे बाद चन्दवक के थानेदार तथा अपर पुलिस अधीक्षक सिटी घटना स्थल पर पहुंचे। मृतक के पुत्र की तहरीर पर दो व्यक्तियों क्रमशः श्याम जीत यादव एवं उसके पुत्र बुधिराम यादव के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर अपनी जिम्मेदारी को पूरा कर लिए।
ये भी पढ़ें- ड्रीम गर्ल की बिटिया रानी के घर कोरोना की दस्तक, बंगला हुआ सील
ये भी पढ़ें- बच्चों का खतरनाक स्टंट: उफनाती नहर में ऐसे डाल रहे खतरे में जान, देखें वीडियो
साथ ही बयान जारी कर दिया कि पैसे के लेन देन को लेकर हत्या की गयी है। यहाँ पर सवाल खड़ा होता है कि पुलिस इतनी तेज है कि हत्यारे नामजद होने के बाद भी घटना के 24 घन्टे से अधिक समय बीतने के बाद भी अभी तक पुलिस की गिरफ्त में नहीं आ सके है। थाना नेवढियां क्षेत्र स्थित ग्राम आदीपुर में शनिवार को मदन लाल गुप्ता की 5 वर्षिया पुत्री की लाश उनके घर से मात्र 15 से 20 मीटर दूरी पर एक गटर में मिली है। बालिका दो दिन पूर्व से गायब थी। बच्ची के पिता ने पुलिस में लापता होने की सूचना दी थी। लेकिन पुलिस की सेहत पर कोई असर नहीं पड़ा। वह तो धनोपार्जन में जुटी रही बच्ची को तलाशने को प्राथमिकता नहीं दिया।
ये भी पढ़ें- कोविड वैक्सीन के लिए देहदान: UP के इस शख्स ने किया कोरोना से जंग में बड़ा एलान
ये भी पढ़ें- लखनऊ के 4 थाना क्षेत्रों में कल से 24 जुलाई तक लॉकडाउन, डीएम ने जारी किया आदेश
जिसका परिणाम हुआ कि अपराधी ने अबोध काल के गाल में भेज दिया। इसके बाद भी सूचना पाने के डेढ़ घन्टे बाद थानेदार साहब को घटना स्थल पर पहुंचने का समय मिला। इसके बाद तो विधिक कार्यवाही करके बैठ गए जिम्मेदारी खत्म अपराधी का पता नहीं। मृतक बालिका की मां का स्पष्ट आरोप है कि यदि पुलिस समय से सक्रिय हुई होती तो सायद उसकी पुत्री की जान बच सकती थी। यहां भी अपराधी में न तो कानून का भय दिखा न ही पुलिस का खौफ,ऐसे में जाहिर है कि अपराधी ने बुलंद हौसलो से अपराध कारित कर निकल गया।
सामने आई पुलिस की गुंडई
घटना के दूसरे दिन वाराणसी परिक्षेत्र के आईजी एवं पुलिस अधीक्षक सहित पूरा पुलिस अमला थाना नेवढियां गया था। यहाँ भी अधिकारी ने थानेदार द्वारा बतायी गयी कहानी मीडिया में जारी कर दी। लेकिन पुलिस की लापरवाहियों पर कोई ध्यान नहीं दिया। ऐसे में क्या उम्मीद की जा सकती है कि पुलिस कितनी सक्रिय भूमिका में रहेंगी। इसी तरह पुलिसिया गुन्डई का एक उदाहरण थाना मछली शहर का चर्चा में आया है।
ये भी पढ़ें- काबिले तारीफ: लॉक डाउन में गणित के स्टूडेंट ने लिखी सिंधु सभ्यता पर किताब
थाने की बिजली कटने के कारण थानेदार और पुलिस कर्मियों द्वारा बिजली के लाइन मैन को खुले आम बुरी तरह से मारा पीटा। इस घटना का विरोध बिजली विभाग के कर्मचारी करते रहे कोई असर नहीं हुआ। मजेदार बात यह भी है कि घटना के दिन आईजी वाराणसी परिक्षेत्र थाने का निरीक्षण करने गये थे घटना उनके संज्ञान में भी आई। लेकिन आईजी साहब ने किसी तरह की पूंछ ताछ थानेदार नहीं किया कारण जो भी हो लेकिन इससे पुलिस विभाग मनमाना हो सकता है।
रिपोर्ट- कपिल देव मौर्य