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ट्रंप की कड़ी कार्रवाई से भड़का चीन, अमेरिका को दी अंजाम भुगतने की धमकी
भारत और चीन के बीच लद्दाख क्षेत्र के गलवान घाटी में हिंसक झड़प हुई है। इस हिंसक झड़प के बाद लद्दाख में एलएसी पर चीन और भारत के बीच तनाव चरम पर है। अब इस बीच अमेरिका ने चीन पर कड़ी कार्रवाई की है।
नई दिल्ली: भारत और चीन के बीच लद्दाख क्षेत्र के गलवान घाटी में हिंसक झड़प हुई है। इस हिंसक झड़प के बाद लद्दाख में एलएसी पर चीन और भारत के बीच तनाव चरम पर है। अब इस बीच अमेरिका ने चीन पर कड़ी कार्रवाई की है। अमेरिका ने उईगर मुस्लिमों के उत्पीड़न के लिए जिम्मेदार चीनी अधिकारियों पर प्रतिबंध लगा दिया है। उत्पीड़न के लिए जिम्मेदार चीनी अधिकारियों पर प्रतिबंध लगाने वाले कानून पर राष्ट्रपति ट्रंप ने हस्ताक्षर कर दिया है। अमेरिका ने चीन को दंडित करने और उसको मानवाधिकार पर कड़ा संदेश देने के मकसद यह कानून बनाया है।
अब अमेरिका के इस फैसले के बाद चीन भड़क गया है। इसके साथ ही ड्रैगन ने अपमेरिका को जवाबी कार्रवाई की धमकी दी है। गुरुवार को चीनी विदेश मंत्रालय ने कहा कि अमेरिका को इसका अंजाम भुगतना पड़ेगा। अमेरिका को चीन के आंतरिक मामले में दखल देने से बाज आना चाहिए और हितों को नुकसान पहुंचाना बंद करना चाहिए।
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उईगर मानवाधिकार नीति अधिनियम 2020 कानून
इससे पहले अमेरिकी प्रतिनिधि सभा ने बीते महीने उइगर मुस्लिमों का उत्पीड़न करने के जिम्मेदार चीनी अधिकारियों पर प्रतिबंध लगाने वाले कानून को पास किया था। इस कानून को रिपब्लिकन पार्टी और डेमोक्रेटिक पार्टी दोनों ने समर्थन दिया है। अब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के हस्ताक्षर के बाद उईगर मानवाधिकार नीति अधिनियम 2020 कानून बन गया है।
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बताया जाता है कि चीन में उईगर मुस्लिमों के साथ अत्याचार हो रहा है और उनको कैम्पों में हिरासत में रखा गया है। संयुक्त राष्ट्र(यूएन) ने अनुमान जताया है कि शिनजियांग प्रांत में 10 लाख से ज्यादा उईगर मुस्लिमों को कैम्पों में हिरासत में रखा गया है।
अमेरिका के आरोपों पर चीन का जवाब
अमेरिका के विदेश विभाग ने चीनी अधिकारियों पर उईगर मुस्लिमों को टॉर्चर करने, उनके साथ दुर्व्यवहार करने और उनकी संस्कृति को खत्म करने का आरोप लगाया है। लेकिन चीन ने इन आरोपों को सिरे खारिज किया है। चीन ने कहा कि ये कैम्प उईगर मुस्लिमों को व्यवसायिक प्रशिक्षण देते हैं और उग्रवाद से लड़ने के लिए जरूरी हैं।
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अमेरिका ने उइगर मुस्लिमों के उत्पीड़न के लिए जिम्मेदार चीनी अधिकारियों पर प्रतिबंध लगाने वाला कानून ऐसे समय में बनाया है, जब कोरोना वायरस को लेकर दोनों देशों के बीच तनाव जारी है। अमेरिका कोरोना वायरस के लिए पूरी तरह से चीन को दोषी बता पहा है। चीन के वुहान शहर से फैले कोरोना वायरस ने अमेरिका और भारत समेत पूरी दुनिया को चपेट में ले लिया है।