आरबीआई का बड़ा फैसलाः लोन को लेकर हुआ ये खास एलान, आम आदमी को फायदा

रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) के गवर्नर शक्तिकांत दास की अध्यक्षता में आज मौद्रिक समीक्षा नीति की बैठक हुई। इस बैठक में कई बड़े फैसले किए गए हैं।

Update:2020-08-06 13:30 IST
आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास की फाइल फोटो

नई दिल्ली: रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) के गवर्नर शक्तिकांत दास की अध्यक्षता में आज मौद्रिक समीक्षा नीति की बैठक हुई। इस मौद्रिक नीति समिति (MPC- Monetary Policy Committee) की बैठक में कई बड़े फैसले किए गए हैं। ब्याज दरों की बात की जाए तो समिति ने इस बार Interest rates में कोई बदलाव नहीं किया है। हालांकि इस साल RBI ने लॉकडाउन के मद्देनजर ब्याज दरों में दो बार में कुल 1.15 फीसदी की कटौती की है।

गोल्ड ज्वेलरी पर बढ़ाई लोन की वैल्यू

इसके अलावा भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने आम आदमी को बड़ी राहत दी है। दरअसल, RBI ने गोल्ड ज्वेलरी पर लोन की वैल्यू बढ़ा दी है। अब ग्राहकों को 90 प्रतिशत कर्ज मिल सकेगा। बता दें कि अभी तक सोने की कुल वैल्यू का 75 फीसदी ही लोन मिलता है। गोल्ड लोन में आपके सोने की गुणवत्ता के हिसाब से ही लोन की राशि तय होती है। आम तौर पर बैंक द्वारा सोने की वैल्यू का 75 फीसदी ही लोन दिया जाता है।

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RBI के फैसले-

RBI गवर्नर शक्तिकांत दास ने इस बार ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं किया है। MPC ने सर्वसम्मति से ये फैसला किया है। रेपो रेट 4 प्रतिशत ही है। वहीं रिवर्स रेपो दर (Repo rate) 3.75% पर ही बरकरार है। इसके अलावा MSF, बैंक रेट 4.25% पर बना हुआ है।

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ब्याज दरें क्यों नहीं हुई कम?

एक्सपर्ट्स की मानें तो जून में बढ़ी महंगाई दर को देखते हुए यह माना जा रहा था कि रिजर्व बैंक द्वारा इस बार रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं किया जाएगा। इस साल जून में वार्षिक मुद्रास्फीति दर Annual inflation rate) बढ़कर 6.09 फीसदी हो गयी। जो कि RBI के मीडियम टर्म टारगेट से अधिक है। RBI का टारगेट दो से छह फीसदी ही है।

देश की अर्थव्यवस्था में रिकवरी शुरू

आरबीआई पॉलिसी समीक्षा के बाद RBI गवर्नर शक्तिकांत दास ने बताया कि देश की अर्थव्यवस्था में रिकवरी शुरू हो गई है। देश में आर्थिक सुधार आने लगा है। उन्होंने कहा कि अच्छी बात ये है कि भारतीय विदेशी मुद्रा भंडार में तेजी से बढ़ोतरी हो रही है। जबकि दुनियाभर की अर्थव्यवस्था में तेजी से गिरावट दर्ज की गई है। अच्छी पैदावार से ग्रामीण इकोनॉमी में रिकवरी आने की उम्मीद है।

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GDP ग्रोथ हो सकती है निगेटिव-

RBI गवर्नर शक्तिकांत दास ने बताया कि साल की दूसरी तिमाही यानी जुलाई, अगस्त और सितंबर में महंगाई दर ऊंची रह सकती है। हालांकि अक्टूबर में इसमें गिरावट आ सकती है। उन्होंने बताया कि अगले साल FY21 में GDP ग्रोथ (GDP growth) निगेटिव रह सकने की संभावना है। इकोनॉमिक रिवाइवल के लिए महंगाई पर नजर बनी है।

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