आम आदमी को जोर का झटका: पेट्रोल- डीजल के दामों में नहीं मिलेगी कोई राहत, वित्त मंत्री ने बताई ये वजह
सोमवार को पेट्रोल-डीजल के लगातार बढ़ रहे दामों के बीच आम आदमी की परेशानी और बढ़ गई हैं। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने ईधर के दामों को लेकर कहा कि यह सही है कि लोग चिंतित हैं।
नई दिल्ली: मंहगाई की मार झेल रही देश की जनता को एक और बड़ा झटका लगा है। सोमवार को पेट्रोल-डीजल के लगातार बढ़ रहे दामों के बीच आम आदमी की परेशानी और बढ़ गई हैं। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने ईधर के दामों को लेकर कहा कि यह सही है कि लोग चिंतित हैं। लोगों का चिंतित होना जायज है। जब तक केंद्र और राज्य चर्चा नहीं करते हैं जब तक इसका कोई समाधान संभव नहीं है। एक्साइज ड्यूटी में कोई कटौती नहीं की जा सकती है।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा, सरकारी खजाने पर यूपीए सरकार की तरफ से जारी किए गए तेल बांडों के लिए किए जा रहे ब्याज भुगतान का बोझ है। सरकार ने अभी तक सिर्फ ऑयल बॉन्ड पर बीते पांच साल में 62 हजार करोड़ रुपये के ब्याज का भुगतान किया है। साल 2026 तक हमें अभी 37 हजार करोड़ रुपये का भुगतान और करना है।
सरकार पर बोझ
वित्त मंत्री ने कहा कि ब्याज भुगतान के बावजूद 1.30 लाख करोड़ से अधिक का मूलधन अभी भी बकाया है। अगर हम पर तेल बॉन्ड का बोझ नहीं होता तो हम ईंधन पर उत्पाद शुल्क कम करने की स्थिति में होते।
इधर यूपीए सरकार पर तंज कसते हुए वित्त मंत्री ने कहा कि उन्होंने 1.44 लाख करोड़ रुपये दाम के ऑयल बॉन्ड जारी करके तेल की कीमतें घटाई थीं। मैं इस तरह की चालबाजी नहीं कर सकती हीं जैसी पिछली यूपीए सरकार ने की थी। इससे हमारी सरकार पर बोझ बढ़ा है और इसी वजह से हम पेट्रोल डीजल के दाम कम नहीं कर पा रहे हैं।
वहीं जल्द ही शुरू किए गए टैक्स यानी कर पोर्टल में आ रही परेशानियों के बारे में वित्त मंत्री सीतारमण ने कहा कि नए टैक्स पोर्टल में आ रही समस्याओं का अगले दो-तीन दिन में पूरी तरह समाधान हो जाएगा।