अर्थव्यवस्था को रफ़्तार देने के लिए सभी पक्षों से बात करेगा RBI

मार्च में होने वाली बैठक का मकसद ब्याज दरों के अलावा अर्थव्यवस्था को गति देना भी है। इस पर विस्तृत चर्चा करने के लिए गवर्नर ने व्यापार संगठनों के साथ रेटिंग एजेंसियों को भी बातचीत में शामिल किया है।

Update:2019-03-18 11:52 IST

नई दिल्ली: अर्थव्यवस्था को बुलेट जैसी रफ़्तार देने और नीतिगत दरों में कटौती को लेकर आरबीआई गवर्नर 26 मार्च को बैठक करेंगे। इस बैठक में व्यापार संगठनों और रेटिंग एजेंसियों के अलावा आल इंडिया बैंक डिपॉजिटर्स एसोसिएशन को भी शामिल किया गया है।

गौरतलब है कि अगले महीने की शुरुआत में मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) की समीक्षा बैठक होनी है। समीक्षा बैठक से ठीेक पहले होने वाली इस बैठक का आयोजन कोई निर्णय लेने से पहले आम सहमति बनाने को लेकर किया जा रहा है।

यह भी पढ़ें:—क्राइस्टचर्च मस्जिद हमला: हमलावर ने वकील को हटाया, खुद करेगा जिरह

गवर्नर शक्तिकांत दास ने पिछले साल दिसंबर में पद संभालने के बाद कहा था कि वे आर्थिक विकास को गति देने में केंद्रीय बैंक की भागीदारी और बढ़ाने के लिए सभी पक्षों के साथ मिलकर काम करेंगे। अप्रैल से शुरू होने वाले नए वित्त वर्ष की पहली एमपीसी बैठक को काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा है। तीन दिनों तक चलने वाली यह बैठक 4 अप्रैल से शुरू होगी।

मार्च में होने वाली बैठक का मकसद ब्याज दरों के अलावा अर्थव्यवस्था को गति देना भी है। इस पर विस्तृत चर्चा करने के लिए गवर्नर ने व्यापार संगठनों के साथ रेटिंग एजेंसियों को भी बातचीत में शामिल किया है। इससे पहले गवर्नर उद्योग चैंबर, गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों, बैंकर्स और सरकारी प्रतिनिधियों के साथ आर्थिक विकास को लेकर चर्चा कर चुके हैं।

यह भी पढ़ें:—इराक में भारत ने अपने दूतावास की बढ़ाई सुरक्षा, तैनात किए CRPF कमांडो

नीतिगत दरों में और कटौती की जरूरत

उद्योग क्षेत्र की मांग है कि विकास को बढ़ावा देने के लिए नीतिगत दरों में और कटौती की जरूरत है। क्योंकि बैंक पहली कटौती का पूरा लाभ ग्राहकों को नहीं दे रहे हैं। इस लिहाज से सभी की निगाहें अगले माह टिकी हुई हैं। इससे पहले फरवरी में हुई एमपीसी बैठक में करीब डेढ़ साल बाद रेपो रेट में कटौती की गई थी।

यह भी पढ़ें:—PM के ‘मैं भी चौकीदार हूं’ मुहिम पर राहुल का वार, ट्वीट कर कहा ये…

आईडीबीआई का नाम बदलने को तैयार नहीं आरबीआई

सार्वजनिक क्षेत्र के आईडीबीआई बैंक को निजी क्षेत्र का बैंक बनाए जाने के बावजूद आरबीआई उसका नाम बदलने के पक्ष में नहीं है। इस बैंक में एलआईसी द्वारा पूर्ण स्वामित्व हासिल किए जाने के बाद बैंक बोर्ड ने पिछले महीने इसका नाम बदलने की सिफारिश की थी।

Tags:    

Similar News