Ganesh Chaturthi 2022: ये हैं भारत के 5 मशहूर गणपति मंदिर, जहां जाने से ही पूरी हो जाती है भक्तों की मनोकामना

Ganesh Chaturthi 2022: भगवान गणेश की पूजा सभी देवताओं से पहले की जाती है। भगवान गणेश के कई नाम हैं।पूरे दिल से पूजा करने से भगवान गणेश अपने भक्तों की सभी मनोकामना पूरी कर देते हैं।

Written By :  Anupma Raj
Update:2022-08-25 06:03 IST

Lord Ganpati Bappa Temple (Image: Social Media)

Ganesh Chaturthi 2022: भगवान गणेश की पूजा सभी देवताओं से पहले की जाती है। भगवान गणेश के कई नाम हैं। भगवान गणेश की पूजा पूरे मन से करने से भगवान गणेश अपने भक्तों की सभी मनोकामना पूरी कर देते हैं। साथ ही सारे कष्ट दूर कर देते हैं। यूं तो भारत में भगवान गणेश की हजारों मंदिर हैं लेकिन इनमें से कुछ मशहूर गणपति मंदिर हैं। इस साल 31 अगस्त से गणेश चतुर्थी शुरू होने जा रही है। ऐसे में अगर आप भगवान गणपति का दर्शन करना चाहते हैं तो आप यहां दिए गए 5 मंदिरों में जाकर भगवान गणपति का दर्शन कर सकते हैं: 


सिद्धिविनायक मंदिर, मुंबई Siddhivinayak Temple

सिद्धिविनायक मंदिर महाराष्ट्र के मुंबई शहर में है। यहां हर मंगलवार गणपति बप्पा का दर्शन पाने के लिए लाखों श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ती है। कहते हैं कि यहां जाने से गणपति बप्पा अपने भक्तों की सारी मनोकामना पूरी कर देते हैं और भक्तों की सारी दुख हर लेते हैं। इस मंदिर का मंदिर 19 नवंबर साल 1801 में गुरूवार के दिन पूर्ण हुआ था। मुंबई प्रभादेवी में काका साहेब गाडगिल मार्ग और एस.के. बोले मार्ग के कोने पर यह मंदिर स्थित है। इस मंदिर का निर्माण एक व्यावसायिक ठेकेदार स्वर्गीय लक्ष्मण विथु पाटिल ने करवाया था। आज इस मंदिर को गणपति बप्पा के विशेष मंदिर का दर्जा प्राप्त है। 


दगडूशेठ हलवाई गणपति मंदिर - Dagdusheth Halwai Ganpati Temple

महाराष्ट्र में सिद्धि विनायक मंदिर की तरह ही दगड़ू सेठ गणपति का मंदिर भी दुनियाभर में प्रसिद्ध है। यह महाराष्ट्र का दूसरा सबसे प्रसिद्ध मंदिर में से एक है। इस मंदिर में भगवान गणेश की मूर्ति 7.5 फीट लंबी और 4 फीट चौड़ी है, जिसे सोने के गहनों से सजाया गया है। यह महाराष्ट्र के पुणे शहर में स्थित है। दरअसल इसे श्रीमंत दग्‍दूशेठ नाम के हलवाई ने अपने बेटे की प्‍लेग से मौत हो जाने के बाद बनवाया था। 


खजराना गणेश मंदिर - Khajrana Ganesh temple

मध्य प्रदेश के इंदौर शहर में खजराना गणेश मंदिर स्थित है। यह बहुत ही प्राचीन मंदिरों में से एक है। बता दे कि इस मंदिर के दर्शन के लिए देश-विदेश से श्रद्धालु आते हैं। इस मंदिर में भगवान गणेश की मूर्ति 3 फीट ऊंची है। इस मंदिर का निर्माण 1735 में होल्कर वंश की रानी महारानी अहिल्याबाई होल्कर ने करवाया था।


श्री चिंतामन गणेश मंदिर - Shri Chintaman Ganesh Temple

मध्य प्रदेश के मशहूर तीर्थ शहर उज्जैन में श्री चिंतामन गणेश मंदिर स्थित है, जिसे भगवान महाकालेश्वर के निवास के रूप में जाना जाता है। बता दे कि उज्जैन के महाकालेश्वर मंदिर से करीब 6 किलोमीटर दूर ग्राम जवास्या में भगवान गणेश का प्राचीनतम मंदिर स्थित है। यहां गर्भगृह में प्रवेश करने पर भगवान गणेश जी की तीन मूर्तियां दिखाई देती हैं। जिसमें पहला चिंतामन, दूसरा इच्छामन और तीसरा है सिद्धिविनायक गणेश। चिंतामन का अर्थ है तनाव दूर करने वाला। ऐसा भी माना जाता है कि पौराणिक मान्यताओं के अनुसार चिंतामण गणेश मंदिर माता सीता द्वारा स्थापित षट् विनायकों में से एक हैं। 


रणथंभौर गणेश मंदिर - Ranthambore Ganesh Temple

रणथंभौर गणेश मंदिर को भारत का सबसे पुराना गणेश मंदिर कहा जाता है। इस मंदिर का निर्माण राजस्थान के रणथंभौर किले में चौहान वंश के राजा हमीरदेव ने 1300 ई. में करवाया था। बता दे कि यह मंदिर त्रिनेत्र गणपति मंदिर के नाम से प्रसिद्ध है। बता दे कि यह मंदिर करीब 1000 साल पुराना है। यह मंदिर रणथंबौर किले में सबसे ऊंचाई पर स्थित है।

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