बुरी खबर: 178 साल पुरानी वर्कशॉप होने वाली है बंद, ये है वजह
अब रेलकर्मियों के लिए बुरी खबर आ रही है। इकॉनमी की वजह से कई कंपनियां बंद होने की कगार पर पहुंच रही हैं, तो कई बंद हो चुकी हैं। कुछ समय में 178 साल पुरानी ब्रिटिश टूर ऑपरेटर कंपनी थामस कुक फंड की कमी के चलते बंद हो चुकी है।
नई दिल्ली: अब रेलकर्मियों के लिए बुरी खबर आ रही है। इकॉनमी की वजह से कई कंपनियां बंद होने की कगार पर पहुंच रही हैं, तो कई बंद हो चुकी हैं। कुछ समय में 178 साल पुरानी ब्रिटिश टूर ऑपरेटर कंपनी थामस कुक फंड की कमी के चलते बंद हो चुकी है। अब रेल प्रशासन परेल वर्कशॉप को बंद करने की तैयारी में है।
23 सितम्बर सोमवार को मध्य रेल प्रशासन ने परेल वर्कशॉप के 715 अधिकारियों और कर्मचारियों का बडनेरा में अस्थायी तौर पर तबादला करने का फैसला किया है। इस वजह से रेल कर्मचारियों में गुस्सा है। उनका मानना है कि रेल प्रशासन 140 वर्ष पुराने परेल वर्कशॉप को बंद करने की तरफ कदम बढ़ा रहा है। उसी क्रम में यह तबादले का फैसला लिया गया है।
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रेल कर्मचारियों के अनुसार, एक समय में परेल वर्कशॉप में हजारों कर्मचारी थे। वर्तमान में जितने कर्मचारी रह गए हैं, उनका भी अस्थायी तौर पर तबादला किया जा रहा है। अगर ये तबादले हो गए तो उनमें से कुछ कर्मचारी रिटायर हो जाएंगे। रेल कर्मचारियों की यह नाराजगी तब सामने आई है, जब रेल प्रशासन ने 715 अधिकारियों और कर्मचारियों का बडनेरा में अस्थायी तौर पर एक साल के लिए तबादला करने का निर्णय लिया है।
715 कर्मचारियों और अधिकारियों के तबादले का फैसला
एक खबर के अनुसार रेल प्रशासन परेल वर्कशॉप को बंद करना चाहता है। वो लंबे समय से इसकी योजना बना रहा है। मध्य मुंबई में परेल वर्कशॉप की जमीन बेशकीमती है। इसको देखते हुए परेल वर्कशॉप को बंद करने का खेल चल रहा है। नेशनल रेलवे मजदूर यूनियन के महासचिव वेणु नायर ने कहा कि, 'परेल वर्कशॉप के 715 कर्मचारियों और अधिकारियों के तबादले का फैसला गलत है। रेलवे को इस फैसले को वापस लेना चाहिए।'
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इन लोगों का होना है तबादला
10 एसएसई, 10 जेई, 500 टेक्नीशियन-1, 5 सीनियर क्लर्क, 10 जूनियर क्लर्क, 180 हेल्पर का तबादला हो सकता है।