14 मार्च को GST की बैठक, मोबाइल इंडस्ट्री को दोहरा झटका, यहां पढ़ें पूरी जानकारी..

जीएसटी काउंसिल की बैठक 14 मार्च को होने वाली है। बैठक में मोबाइल फोन पर जीएसटी की दर 12 फीसदी से बढ़ाकर 18 फीसदी की जा सकती है। कोरोना वायरस के चलते मोबाइल पार्ट्स सप्लाई न होने से संकट के दौर से जूझ रही मोबाइल इंडस्ट्री के लिए इस तरह का फैसला दोहरा झटका साबित होगा।

Update:2020-03-13 11:03 IST

नई दिल्ली जीएसटी काउंसिल की बैठक 14 मार्च को होने वाली है। बैठक में मोबाइल फोन पर जीएसटी की दर 12 फीसदी से बढ़ाकर 18 फीसदी की जा सकती है। कोरोना वायरस के चलते मोबाइल पार्ट्स सप्लाई न होने से संकट के दौर से जूझ रही मोबाइल इंडस्ट्री के लिए इस तरह का फैसला दोहरा झटका साबित होगा। इस बैठक में कई बड़े फैसले हो सकते हैं। इस बैठक में मोबाइल फोन, जूता-चप्पल और कपड़ा समेत पांच सेक्टरों पर टैक्स की दरों को युक्ति संगत बनाया जा सकता है।

 

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मोबाइल पार्ट्स पर 12 फीसदी जीएसटी, जबकि पूरी तरह से निर्मित मोबाइल हैंडसेट पर 18 फीसदी जीएसटी लगाई जाती है। जूते चप्पल के मामले में परिषद ने 1,000 रुपए मूल्य के उत्पाद पर पिछले साल जून में जीएसटी दर कम कर 5 प्रतिशत कर दिया था। वहीं इससे अधिक मूल्य के जूते-चप्पल पर जीएसटी 18 प्रतिशत है। हालांकि इस क्षेत्र में उपयोग होने वाले कच्चे माल पर जीएसटी दर 5 से 18 प्रतिशत है। वहीं कपड़ा सेक्टर पर जीएसटी 5,12 और 18 प्रतिशत है। फिलहाल 5 प्रतिशत है जबकि कच्चे माल पर 12 प्रतिशत है।माना जा रहा है कि इस बैठक के बाद स्मार्टफोन, कपड़े और जूते-चप्पल महंगे हो सकते हैं।

साथ ही नए रिटर्न फाइल करने की व्यवस्था और ई-इनववॉयस के क्रियान्वयन को टाले जाने की संभावना है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की अध्यक्षता में परिषद की बैठक में जीएसटी नेटवक पोर्टल पर परिचालन संबंधी खामियों पर चर्चा होने की उम्मीद है। बैठक में इन्फोसिस से इसके समाधान की योजना की मांग की जा सकती है। सूचना प्रौद्योगिकी कंपनी इन्फोसिस को 2015 में जीएसटीएन नेटवर्क के तकनीकी प्रबंधन का ठेका दिया गया था।

 

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परिषद जीएसर्ट ई-वे बिल प्रणाली के एनएचएआई के फास्टैग व्यवस्था के अप्रैल से एकीकरण पर भी चर्चा करेगी। इससे वस्तुओं की आवाजाही तथा जीएसटी चोरी पर अंकुश लगाने में मदद मिलेगी. इसके अलावा जीएसटी पंजीकृत करदाताओं के आधार के तहत सत्यापन की तैयारी पर भी चर्चा की जाएगी। बैठक में जीएसटी के तहत प्रस्तावित लॉटरी योजना पर भी चर्चा होने की संभावना है। इसे एक अप्रैल से लागू करने का प्रस्ताव है।

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