US Report: धार्मिक आजादी पर अमेरिकी रिपोर्ट से भारत खफा, कहा- अंतरराष्ट्रीय संबंधों में हो रही वोट बैंक की राजनीति

अरिंदम बागची ने कहा, यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि अंतरराष्ट्रीय संबंधों में वोट बैंक की राजनीति की जा रही है। हम आग्रह करेंगे कि प्रेरित इनपुट और पक्षपातपूर्ण विचारों के आधार पर आकलन से बचा जाए।

Written By :  Krishna Chaudhary
Update: 2022-06-03 14:13 GMT

US Report 

US Report : अमेरिका द्वारा जारी कमीशन ऑन इंटरनेशनल रिलीजियस फ्रीडम (USCIRF 2021) की रिपोर्ट पर भारत ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। भारत सरकार ने इस रिपोर्ट को दुर्भावनापूर्ण करार दिया है। विदेश मंत्रालय ने एक प्रेस विज्ञप्ति में कहा कि यह "दुर्भाग्यपूर्ण है कि अंतरराष्ट्रीय संबंधों में वोट बैंक की राजनीति का अभ्यास किया जा रहा है।

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची (Foreign Ministry spokesperson Arindam Bagchi) ने कहा, 'हमने अंतर्राष्ट्रीय धार्मिक स्वतंत्रता पर यूएस स्टेट डिपार्टमेंट 2021 की रिपोर्ट जारी करने और वरिष्ठ अमेरिकी अधिकारियों द्वारा गलत सूचना देने वाली टिप्पणियों को नोट किया है। यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि अंतरराष्ट्रीय संबंधों में वोट बैंक की राजनीति की जा रही है। हम आग्रह करेंगे कि प्रेरित इनपुट और पक्षपातपूर्ण विचारों के आधार पर आकलन से बचा जाए। बागची ने आगे कहा, कि भारत धार्मिक स्वतंत्रता और मानवाधिकारों को महत्व देता है। अमेरिका के साथ हमारी चर्चा में, हमने नस्लीय और जातीय रूप से प्रेरित हमलों, घृणा अपराधों और बंदूक हिंसा सहित वहां चिंता के मुद्दों को नियमित रूप से उजागर किया है।

भारत क्यों भड़का?

दरअसल, कमीशन ऑन इंटरनेशनल रिलीजियस फ्रीडम 2021 के रिपोर्ट में भारत में धार्मिक अल्पसंख्यकों को लेकर प्रतिकूल टिप्पणी की गई है। इसमें भारत में रह रहे अल्पसंख्यकों की धार्मिक आजादी को लेकर चिंता जाहिर की गई है। साथ ही उत्तर प्रदेश और कर्नाटक सरकार के कुछ फैसलों पर सवाल भी खड़े किए गए हैं। रिपोर्ट में कहा गया है कि यूपी सीएम ने एनएसए (NSA) लागू करने की चेतावनी दी थी। एनएसए ऐसे किसी भी व्यक्ति की गिरफ्तारी की अनुमति देता है, जो राज्य की सुरक्षा के लिए खतरा पैदा करता है। इसके बाद मुख्यमंत्री ने 500 अफसरों की टीम बनाई जिसका काम ऐसे लोगों को पकड़ना था, जो धर्म परिवर्तन करवाने के काम में शामिल हैं। रिपोर्ट में बताया गया कि ऐसे फैसलों से लोगों की धार्मिक स्वतंत्रता का हनन होता है।

धार्मिक स्वतंत्रता का हनन 

वहीं, बीते कुछ समय से लगातार सांप्रदायिक तनाव के कारण खबरों में रहा दक्षिणी राज्य कर्नाटक के बारे में USCIRF की रिपोर्ट में कहा गया है कि कर्नाटक सरकार ने राज्य भर में चर्चों और पादरियों का सर्वे कराने का आदेश दिया था। पुलिस को आदेश दिया था कि ईसाई धर्म अपनाने वाले हिंदुओं को खोजने के लिए घर-घर जाकर जांच करे। रिपोर्ट में इसे धार्मिक स्वतंत्रता का हनन बताया गया है।

अमेरिकी विदेश मंत्री का भारत को लेकर बयान

अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने USCIRF की रिपोर्ट के जारी होने के मौके पर भारत को असहज करने वाली टिप्पणी की है। ब्लिंकन ने कहा कि भारत दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र है और यहां कई धर्मों के लोग एक साथ रहते हैं, मगर यहां लगातार पूजा स्थलों और अल्पसंख्यकों पर हमले बढ़ रहे हैं। वहीं दुनिया भर में धार्मिक स्वतंत्रता की निगरानी के लिए अमेरिकी विदेश विभाग के प्रयासों का नेतृत्व करने वाले राशिद हुसैन ने कहा कि कुछ भारतीय अधिकारी "लोगों और पूजा स्थलों पर बढ़ते हमलों की अनदेखी या समर्थन कर रहे थे।

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