संदेशखाली का मसला पहुंचा SC, हिंदू महिलाओं से रेप व जमीन कब्जाने पर गरमाई सियासत, BJP की टीम को पुलिस ने रोका
Sandeshkhali Case:
Sandeshkhali Case: पश्चिम बंगाल के संदेशखाली में हिंदू महिलाओं से रेप और उनकी जमीन कब्जाने का मामला अब सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया है। इस मामले को लेकर सुप्रीम कोर्ट में जनहित याचिका दाखिल की गई है। संदेशखाली मामले में टीएमसी नेताओं का नाम सामने आने के बाद पार्टी की मुखिया और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की मुश्किलें भी बढ़ गई है। भाजपा इस मुद्दे पर लगातार ममता सरकार को घेरने की कोशिश में जुटी हुई है।
संदेशखाली के मामले के तूल पकड़ने के बाद आज भाजपा की ओर से एक फैक्ट फाइंडिंग टीम को संदेशखाली रवाना किया गया है। छह सांसदों वाली यह फैक्ट फाइंडिंग टीम मौके पर जाकर पीड़ित लोगों से बातचीत करके पूरा ब्योरा जुटाएगी। भाजपा की इस टीम में दो केंद्रीय मंत्री और चार सांसद शामिल हैं। लोकसभा चुनाव से पहले यह मुद्दा लगातार गरमाता जा रहा है और ममता सरकार के लिए जवाब देना मुश्किल साबित हो रहा है।
मायावती ने किया ट्वीट
बसपा प्रमुख मायावती ने भी संदेशखाली में हिंदू महिलाओं से रेप के आरोप में राज्य सरकार से कार्रवाई की मांग की। जारी हिंसा और तनाव को चिंतनीय बताया। इसके साथ त्वरित कार्रवाई और जांच की बात लिखी।
सीबीआई से जांच कराने की मांग
संदेशखाली मामले को लेकर अधिवक्ता अलख आलोक श्रीवास्तव ने सुप्रीम कोर्ट में जनहित याचिका दाखिल की है। याचिका में इस मामले की सीबीआई या एसआईटी से जांच करने की मांग की गई है। याचिका में यह मांग भी की गई है कि संदेशखाली मामले में ढिलाई दिखाने वाले पुलिस अफसरों पर कार्रवाई की जाए और पीड़ित लोगों को मुआवजा दिया जाए।
संदेशखाली मामले में आरोपी और टीएमसी नेता शाहजहां शेख पर राशन वितरण घोटाले में शामिल होने का आरोप है। ईडी अफसरों ने इस मामले की जांच पड़ताल के लिए 5 जनवरी को छापेमारी की थी मगर शाहजहां शेख के गुंडों ने ईडी की टीम पर हमला कर दिया था। उसके बाद से ही शाहजहां शेख फरार है।
हिंदू महिलाओं का यौन उत्पीड़न का बड़ा आरोप
शाहजहां के खिलाफ केंद्रीय बलों की सख्ती के बाद अब ममता सरकार भी बैकफुट पर नजर आ रही है। शाहजहां शेख और उसके सहयोगियों के खिलाफ सख्ती के बाद गांव की कई हिंदू आदिवासी परिवारों की महिलाएं भी सामने आई हैं। इन महिलाओं ने शाहजहां शेख और उसके गुंडों पर यौन उत्पीड़न का बड़ा आरोप लगाए है। इन महिलाओं का आरोप है कि टीएमसी कार्यालय में ले लिया कर उनका यौन उत्पीड़न किया जाता था और टीएमसी से जुड़े हुए गुंडो ने काफी दिनों से उनकी जमीनों पर कब्जा कर रखा है।
इस मामले के उजागर होने के बाद भाजपा हमलावर हो गई है और पार्टी ने ममता सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। पार्टी का आरोप है कि ममता के राज में हिंदुओं का उत्पीड़न किया जा रहा है। पश्चिम बंगाल के राज्यपाल सीवी आनंद बोस ने भी हाल में संदेशखाली का दौरा किया था और पीड़ित महिलाओं से बातचीत की थी।
भाजपा की टीम जांच के लिए रवाना
इस बीच भाजपा की छह सदस्यीय फैक्ट फाइंडिंग टीम संदेशखाली के लिए रवाना हो गई है। इस टीम में दो केंद्रीय मंत्री और चार सांसद शामिल हैं। इस टीम की अगुवाई केंद्रीय मंत्री अन्नपूर्णा देवी कर रही हैं। यह टीम मौके पर जाकर पीड़ित महिलाओं और अन्य लोगों से बातचीत करेगी और घटना के संबंध में पूरा विवरण जुटाएगी। भाजपा की इस टीम में केंद्रीय मंत्री प्रतिभा भौमिक, संगीता दुग्गल, बृजलाल, संगीता यादव और कविता पाटीदार शामिल है।
भाजपा का आरोप है कि संदेशखाली की महिलाओं के साथ जुल्म करने वाले गुंडों को ममता सरकार का समर्थन हासिल है। इस बीच ममता बनर्जी की पार्टी टीएमसी ने राज्यपाल की रिपोर्ट को आधारहीन और फर्जी करार दिया है। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने आरोप लगाया है कि क्षेत्र में अशांति फैलाने के लिए बड़ी साजिश रची जा रही है और सरकार ने हालात पर काबू पाने के लिए जरूरी कदम उठाए हैं।