शाहीन बाग के इस नाम में छिपा है एक ऐसा राज, जान उड़ जाएंगे होश
शाहीनबाग की मुख्य सड़क अभी धरनास्थल बनी हुई है। यानी अभी तक खाली नहीं हुई है। वहां अब भी महिलाएं प्रदर्शन पर डटी हैं। ये बात दीगर है कि अब महिलाओं की संख्या धीरे धीरे कम हो रही है। इसीलिए अब वहां माइक के जरिये लोगों व छात्रों से प्रदर्शन में शामिल होने का आह्वान किया जा रहा है।
आइए जानते हैं शाहीन बाग क्या है इसके नाम में छिपा है एक ऐसा राज जिसे जानकर उड़ जाएंगे आपके होश। क्योंकि यह कोई बाग नहीं मुस्लिम बहुत आबादी वाला दिल्ली के दक्षिणी जिले का एक हिस्सा है।
शाहीनबाग की मुख्य सड़क अभी धरनास्थल बनी हुई है। यानी अभी तक खाली नहीं हुई है। वहां अब भी महिलाएं प्रदर्शन पर डटी हैं। ये बात दीगर है कि अब महिलाओं की संख्या धीरे धीरे कम हो रही है। इसीलिए अब वहां माइक के जरिये लोगों व छात्रों से प्रदर्शन में शामिल होने का आह्वान किया जा रहा है। कुछ गुटों ने भी आज शाहीनबाग मार्च का एलान किया था जिसे देखते हुए प्रशासन ने शाहीनबाग एरिया में धारा 144 लगा दी है। सुरक्षा व्यवस्था बढ़ा दी है।
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शाहीन बाग दक्षिण दिल्ली जिले में एक मोहल्ला है। यह ओखला (जामिया नगर) क्षेत्र की दक्षिणी कॉलोनी है, जो यमुना के किनारे स्थित है। यहां मुस्लिम्स की संख्या बहुत ज्यादा है। दिसंबर 2019 के बाद से, यह इलाका सीएए के खिलाफ चल रहे धरने को लेकर जाना जाता है।
वैसे शाहीन का अर्थ बाज या गरुड़ से लिया जाता है। फारसी में इसका अर्थ शाही से होता है। वैसे अल्लामा इकबाल ने भी किया- तू शाहीं है परवाज़ है काम तेरा तिरे सामने आसमाँ और भी हैं। इस एरिये को आबाद हुए अभी मात्र 40 साल ही हुए हैं।
शाहीन बाग लोकल्टी
शाहीनबाग क्षेत्र कामर्शियल और आफिशियल क्षेत्रों जैसे कि नोएडा, नेहरू प्लेस, सरिता विहार, जसोला, ओखला औद्योगिक क्षेत्र और ओखला रेलवे स्टेशन से जुड़ा हुआ है। इस क्षेत्र की जामिया मिलिया इस्लामिया और जामिया हमदर्द जैसे विश्वविद्यालयों से भी कनेक्टिविटी है। जसोला विहार शाहीन बाग मेट्रो स्टेशन शाहीन बाग को दिल्ली मेट्रो नेटवर्क से जोड़ता है। शाहीन बाग से लगभग 1-2 किलोमीटर दूर सरिता विहार में भी एक मेट्रो ट्रेन स्टेशन है। प्रमुख मार्गों के लिए बसें निकट के कालिंदी कुंज से मिलती हैं।