महिला ने राहुल गांधी को भेजे अपने बाल, वजह जान उड़ जाएंगे होश

महिला अतिथि विद्वान के मुंडन को लेकर 2 दिसंबर 2019 से आंदोलन अभी तक चलता आ रहा है। बीते 72 दिनों से अपनी मांगों को लेकर धरने पर बैठे अतिथि विद्वानों के लिए बुधवार का दिन बहुत ही भावनात्मक वाला रहा।

Update: 2020-02-20 04:53 GMT

भोपाल: महिला अतिथि विद्वान के मुंडन को लेकर 2 दिसंबर 2019 से आंदोलन अभी तक चलता आ रहा है। बीते 72 दिनों से अपनी मांगों को लेकर धरने पर बैठे अतिथि विद्वानों के लिए बुधवार का दिन बहुत ही भावनात्मक वाला रहा। बुधवार दोपहर को धरना दे रही एक महिला अतिथि विद्वान ने अपने बाल त्यागते हुए सार्वजनिक रूप से खुद का मुंडन करवा लिया। मुंडन करवाने वाली महिला अतिथि विद्वान का नाम शाहीन खान है। जो पेशे से एक डॉक्टर है।

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मुंडन करवाने के बाद भावुक हुई महिला

मुंडन करवाने के बाद वो भावुक हो गईं और कहा कि चुनाव के बाद अतिथि विद्वानों से कांग्रेस ने वादा किया था कि सरकार बनने पर हमारी मांगों को पूरा किया जाएगा। हमने साल भर तक इंतजार किया और उसके बाद ही हमने जब आंदोलन शुरू किया तो अतिथि विद्वानों को फालेन आउट नोटिस मिलना शुरू हो गए। हम यहां दो महीने से ठंड में धरना दे रहे हैं, लेकिन सरकार ने हमारी कोई सुध नहीं ली। हमने बच्चों को पढ़ाकर उनका भविष्य बनाया लेकिन अब खुद हमारा भविष्य अंधकारमय है इसलिए यहां से लिखित आर्डर मिलने तक हम नहीं उठेंगे।

तो वहीं, अतिथि विद्वान नियमतिकरण संघर्ष मोर्चा के अध्यक्ष देवराज सिंह ने कहा कि इससे दुखदाई दिन अतिथि विद्वानों के लिए नहीं हो सकता, क्योंकि एक महिला ने अपने केश त्याग दिए। डॉक्टर शाहीन ने जो बाल मुंडवाए हैं उसे हम राहुल गांधी के पास भेजेंगे ताकि उन्हें पता चल सके कि उनके दिए गए वचन का यहां पालन नहीं हो रहा है।

पूर्व सीएम शिवराज सिंह चौहान ने सीएम कमलनाथ पर ट्वीट कर निशाना साधा है

इस वाक्या के बाद ही मप्र के पूर्व सीएम शिवराज सिंह चौहान ने सीएम कमलनाथ पर ट्वीट कर निशाना साधा है। शिवराज सिंह चौहान ने कमलनाथ का फरवरी 2018 का एक पुराना ट्वीट शेयर करते हुए लिखा है कि मुख्यमंत्री जी, आज भी केश नारी के सम्मान का प्रतीक है। अतिथि विद्वान बहनों ने आपकी सोती हुई सरकार को नींद से जगाने के लिए अपने केश त्यागे, क्या आज आपको उनकी पीड़ा का अंदाज़ा है? क्या आपकी नज़र में आज प्रदेश शर्मसार हुआ? क्या उनकी भलाई के लिए आप कोई कदम उठाएंगे?



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असल में, जब शिवराज सिंह चौहान सीएम थे तब कमलनाथ ने महिला अतिथि विद्वान के मुंडन कराने पर शिवराज को घेरते हुए इसे दिल को झकझोरने वाली घटना कहा था। आपको बता दें कि अपने नियमतिकरण की मांग को लेकर मप्र के अतिथि विद्वान 2 दिसंबर 2019 से आंदोलन कर रहे हैं जो अभी तक जारी है।

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