बुलंदशहर: पुलिस हिरासत में वृद्ध की मौत मामले में केंद्रीय मंत्री संजीव बालियान ने यूपी सरकार और पुलिस को कटघरे में खड़ा किया है। संजीव बालियान ने विवादित टिप्पणी करते हुए कहा कि 'प्रदेश सरकार पुलिस के अधिकारियों को जिले बेच रही है और अधिकारी थाने बेच रहे हैं।'
बालियान ने कहा, उत्तर प्रदेश में मानवाधिकारों की खुलेआम धज्जियां उड़ाई जा रही है। पुलिस हिरासत में वृद्ध की मौत के बाद एक लाख रुपए देने के मामले में अब केंद्र सरकार तल्ख हो गई है।
पुलिस कप्तानों को लखनऊ से जिले बेचे जा रहे हैं
रविवार को बुलंदशहर पहुंचे बीजेपी सांसद और केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री संजीव बालियान ने कहा कि पुलिस कप्तानों को लखनऊ से जिले बेचे जा रहे हैं। जिले खरीदने वाले पुलिस अधिकारी जिले में थाने बेच रहे हैं। कानून-व्यवस्था पूरी तरह खत्म हो चुकी है। लखनऊ से ये गोरखधंधा चल रहा है।
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केंद्रीय मंत्री ने पुलिस हिरासत में वृद्ध की मौत पर पुलिस अधिकारियों पर सवाल खड़े करते हुए कहा कि 'संवेदनहीन अधिकारियों ने न्याय देना तो दूर मौत के आरोपी दारोगा के खिलाफ कार्रवाई तक नहीं की।'
हिरासत में मौत पर हो सख्त कार्रवाई
संजीव बालियान ने कहा कि पुलिस हिरासत में मौत होना बेहद गंभीर मामला है। यह मानवाधिकारों का खुलेआम उल्लंघन है। इस मामले में सख्त कार्रवाई होनी चाहिए थी। आरोपियों का निलंबन होना चाहिए था लेकिन इस मामले की पुलिस अधिकारियों ने जांच तक नहीं की।
स्थानीय सांसद को सौंपी जिम्मेदारी
केंद्रीय मंत्री ने पीड़ित परिवार से मिलने और वृद्ध की मौत से जुड़े तथ्यों को केंद्र तक पहुंचाने की जिम्मेवारी बुलंदशहर के सांसद डॉ. भोला सिंह को दी है। उन्होंने कहा, केंद्र सरकार को सारे तथ्यों से अवगत कराकर मामले में निष्पक्ष जांच और पीड़ित परिवार को इंसाफ दिलाने की कोशिश की जाएगी।
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क्या था मामला ?
गौरतलब है कि बीते दिनों ओमी (75 वर्ष) की पुलिस हिरासत में मौत हो गई थी। बाद में पुलिस वालों ने उसकी लाश को रिक्शे में लदवाकर उसके गांव भेज दिया था। आरोपी दारोगा द्वारा एक वीडियो में यह खुलासा किया गया था कि वह मौत के मामले में समझौता कर रहा है।
मृतक के बेटे ने स्वीकारी थी समझौते की बात
बाद में पुलिस अधिकारियों के पीड़ित परिवार पर दबाव के बाद हुए समझौते में मृतक के बेटे ने स्वीकार किया था कि पुलिस ने एक लाख रुपए देकर मामले की तहरीर बदलवाई थी।