दलाई लामा करेंगे अरुणाचल प्रदेश की यात्रा, भारत ने चीन के विरोध को किया नजरअंदाज
नई दिल्ली: चीन की चेतावनी को भारत नजरअंदाज करते हुए भारत ने कहा, कि दलाई लामा अरुणाचल यात्रा पर आ रहे हैं। भारत का कहना है कि यह एक धर्मनिरपेक्ष राष्ट्र है और उन्हें देश के किसी हिस्से में जाने से रोका नहीं जा सकता।
माना जा रहा है कि भारत के इस फैसले से चीन के साथ उसकी तनातनी बढ़ सकती है। चीन के साथ ये तनातनी संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में 26/11 के मास्टरमाइंड मसूद अजहर को आतंकी घोषित करने और एनएसजी में भारत की सदस्यता को लेकर दोनों देशों के बीच पहले से मनमुटाव बना हुआ है।
भारत का कदम भड़काऊ
मीडिया खबरों के मुताबिक चीन ने भारत के इस कदम को भड़काऊ बताया है। चीन ने कहा, कि भारत के इस कदम से दोनों देशों के रिश्तों में कड़वाहट आ सकती है। चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गेंग शुआंग ने कहा, 'चीन इस बात को लेकर चिंतित है कि भारत ने दलाई लामा को अरुणाचल प्रदेश की यात्रा की अनुमति दी है। यह द्विपक्षीय संबंध और विवादित सीमावर्ती इलाके में शांति को गंभीर नुकसान पहुंचा सकता है।'
भला लामा से क्या खतरा है
केंद्रीय गृह राज्यमंत्री किरण रिजिजू ने कहा, 'भारत की तरफ से यह बड़ा बदलाव है। हम ज्यादा मजबूत हैं। दलाई लामा अरुणाचल में एक धर्मगुरु के तौर पर जा रहे हैं। उन्हें रोकने का कोई औचित्य नहीं है। उनके श्रद्धालु लंबे समय से उनकी यात्रा की मांग कर रहे हैं। वो भला किसी दूसरे को क्या नुकसान पहुंचा सकते हैं।'