बागपत: देवबंद के फतवे के बाद अब 'भारत माता की जय' बोलने पर जहां सियासत गरमाई हुई है वहीं खाप पंचायत जय न बोलने वालों के खिलाफ उग्र होती नजर आ रही हैं। बागपत के बिजरौल गांव में हुई पंचायत में फैंसला लिया गया है कि जो लोग 'भारत माता की जय' नहीं बोल रहे हैं उनका सामाजिक और व्यापारिक बहिष्कार होना चाहिए। इस पंचायत में कई खाप के मुखिया भी शामिल हुए थे और उन्होंने भी ऐसे लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की।
क्या है मामला
-बागपत के बिजरौल गांव में शनिवार को खाप पंचायत बुलाई गई।
-अब तक अपने तुगलगी फरमानों के लिए जानी जाने वाली पंचायतें अब देश की एकता और अखंडता को खंडित करने वालों के खिलाफ मुखर होती नजर आ रहीं हैं।
-इस पंचायत पर पूरे जिले की नजरें टिकीं हुई थीं।
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पंचायत ने सुनाया फैसला
-शुरुआत भारत माता की जय बोलने से हुई।
-कभी खाप मुखिया तो कभी ग्रामीण 'भारत माता की जय' न बोलने वालों के खिलाफ आग उगलते रहे।
-आखिरकार बारी पंचायत के निर्णय की आई तो साफ कहा गया।
-जो लोग 'भारत माता की जय' नहीं बोल रहें हैं उनका सामाजिक और व्यापारिक बहिष्कार होना चाहिए।
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देवबंद का फतवा-‘भारत से मोहब्बत, लेकिन नहीं कर सकते पूजा’
-मुफ्ती-ए-कराम ने कहा- बिला शुबाह भारत हमारा वतन है और हमारे बाब-ओ-अजदाज यहीं पैदा हुए हैं।
-हम औरों की तरह ही मुल्क से प्यार और मोहब्बत करते हैं। लेकिन वतन को अपना माबूद नहीं मान सकते। यानी की मुल्क की पूजा नहीं कर सकते।
-उन्होंने फतवे में कहा कि मुसलमान एक खुदा में यकीन रखने वाला और खुदा के सिवा किसी दूसरें की पूजा नहीं कर सकता।
-इस नारे में हिंदुस्तान को देवी के अकीदा समझा गया है जो कि इस्लाम मजहब के मानने वालो के लिए शिर्क (अल्लाह के सिवा किसी और की इबादत करना) है।
ऑल इंडिया मुफ्तीयान के अध्यक्ष ने क्या कहा था
-ऑल इंडिया मुफ्तीयान के अध्यक्ष मुफ्ती अहसान का कहना है कि किसी की जय बोलना या पूजा पाठ करना इस्लाम के अनुरुप नहीं है।
-इस्लाम इसकी इजाजत भी नहीं देता है।
-उन्होंने कहा कि औवेसी सियासत कर रहे हैं।
-ओवैसी के बयान को मुद्दा बनाया जाना या उनके बयान को आधार बनाकर देश का माहौल बिगाड़ना यहां की संस्कृति के नहीं है।
-भारत माता की जय बोलना या न बोलना व्यक्ति के भावना के ऊपर निर्भर है।