Acharya Chanakya Thoughts: आचार्य चाणक्य कहते हैं जिस जगह झगड़ा हो रहा हो, वहाँ पर कभी भी खड़े नहीं होना चाहिए

Acharya Chanakya Thoughts: आचार्य चाणक्य ने अपने विचारों को अपनी पुस्तक चाणक्य नीति में लिपिबध्य किया है जिसके अनुसार मनुष्य को अपने जीवन में क्या करना चाहिए और क्या नहीं ये बताया गया है।

Update:2024-10-02 06:49 IST

Acharya Chanakya Thoughts (Image Credit-Social Media)

Acharya Chanakya Thoughts: आचार्य चाणक्य के विचार हम सभी को आज भी प्रेरित करते हैं और सफलता की ओर अग्रसर करने के लिए प्रोत्साहित भी करते हैं। वो एक कुशल राजनितिक, अर्थशास्त्री और कूटनीतिज्ञ भी थे। उन्होंने जीवन के कठिन समय में कैसे धैर्य से काम लें और कैसे जीवन को अच्छे से जिए सिखाया। आइये उनकी ऐसे ही कुछ विचारों पर प्रकाश डालते हैं।

आचार्य चाणक्य के विचार (Acharya Chanakya Thoughts) 

  • अच्छे लोगों के साथ रहने में ही लाभ हैं।
  • हर प्राणी को पहले से ही सोचना चाहिए कि वह कौन सा पाप कर रहा है।
  • पाप और पुण्य में क्या अन्तर होते है? मेरे मित्र कौन हैं, शत्रु कौन हैं? मुझे किस कार्य में लाभ हो सकता किसमें हानि? यहीं सोचकर उसे जीवन का हर पग उठाना चाहिए।
  • हर प्राणी को चाहिए कि वह यथार्थ का सहारा ले केवल कल्पना के समय बुरे परिणामों को सोचकर अपना खून न जलाता रहे।
  • यदि दो व्यकित झगड़ पड़े तो उनमें से एक व्यकित को खामोश हो जाना चाहिये, जिससे झगड़ा तुरंत मिट जाता है।
  • परिश्रम करने से इंसान की गरीबी दूर हो जाती है।
  • पूजा करने से पाप दूर हो जाते हैं।
  • जागते आदमी को डर नहीं लगता।
  • यदि जीवन में कोई खतरे को सामने देखकर डरना नहीं चाहिए।
  • पुत्र, मित्र और परिवार के अन्य लोग अक्सर अपने से दूर हो जाते हैं।
  • जिस जगह झगड़ा हो रहा हो, वहाँ पर कभी भी खड़े नहीं होना चाहिए। कई बार ऐसे झगड़ो में बेगुनाह मारे जाते हैं।
  • .शत्रु सदा उलझन में फंसा रहे तो अच्छा होता है।
  • मित्र को सदा धार्मिक ज्ञान देते रहना उचित है।
  • समय के अनुसार ही अपने जीवन मार्ग को खोजना चाहिए।
  • पागल बुद्धिहीन आदमी से सदा दूर रहो। ऐसे लोग पशु समान होते हैं।
  • बुरी संगत से दूर रहो, अज्ञानी को पास न आने दो।
  • अपने दिल की गुप्त बातें किसी को न बताओ मन का भेद दूसरों को देने वाले लोग सदा ही धोखा खाते हैं।
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