Rudraksha Mala Ke Fayde: एक नहीं अनगिनत फायदे, असाध्य रोग ठीक कर सकता है एक रुद्राक्ष
Health Benefits of Rudraksha Mala: रुद्राक्ष को प्राचीन काल से ही बहुत ही पवित्र माना जाता है। इंटरनेशनल यूनिवर्सिटी फ्लोरिडा के वैज्ञानिकों के अनुसार, रुद्राक्ष मास्तिष्क के लिए बहुत फायदेमंद है।
Health Benefits of Rudraksha Mala: देवाधिदेव भगवान शिव का आभूषण रुद्राक्ष जो अपनी पवित्रता और शुभता के लिए विश्वविख्यात है। देश तो क्या विदेशों में भी इसकी महत्ता के सब कद्रदान है। इसकी माला प्राचीनकाल से ही बहुत महत्वपूर्ण और शुभ मानी जाती रही है। रुद्राक्ष के धार्मिक महत्व के साथ ही मेडिकल साइंस के लिहाज से भी आश्चर्यजनक तथ्य सामने आए हैं। इसको पहनने के फायदे आपकी सेहत से जुड़े हुए है। लेकिन वैज्ञानिक तौर पर इसके स्वास्थ्य लाभों को भी जानना जरूरी है।
हाइपर टेंशन के इलाज में है कारगर
वर्तमान समय में दुनिया में लगभग 90 प्रतिशत लोग अनियमित दिनचर्या के कारण स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं से जूझ रहें हैं। भागदौड़ भरी जिन्दगी में हाइपरटेंशन, दिल और मानसिक रोगों का सामना करना पड़ रहा है। इन समस्याओं की एक ही वजह है हमारी अनियमित दिनचर्या एवम असंतुलन। प्राचीन ग्रंथों में मानसिक भटकाव, पीड़ा और असुंतलन को दूर के लिए रुद्राक्ष को एक अकाट्य औषधि बताया गया है।
इसमें इलेक्ट्रोमैग्नेटिक पॉवर होती है
रुद्राक्ष को प्राचीन काल से ही बहुत ही पवित्र माना जाता है। इंटरनेशनल यूनिवर्सिटी फ्लोरिडा के वैज्ञानिकों के अनुसार, रुद्राक्ष मास्तिष्क के लिए बहुत फायदेमंद है। इसमें इलेक्ट्रोमैग्नेटिक पॉवर होती है, जिसके चलते यह हमारे शरीर पर जादुई रूप से काम करता है।
ब्लड सर्कुलेशन और हार्ट पर होता है अनुकूल प्रभाव
तनावपूर्ण जीवनशैली के कारण व्यक्ति कई रोगों का शिकार हो जाता है।
हमारे शरीर का हर अंग ह्रदय से मास्तिष्क तक और फिर शरीर के बाकी हिस्सों में ब्लड सकुर्लेशन से जुड़ा रहता है। ऐसे में रुद्राक्ष मस्तिष्क को स्थिर कर दिल और इंद्रियों पर सकारात्मक प्रभाव डालकर इन समस्याओं को दूर करता है। रुद्राक्ष की माला पहनना न केवल ह्रदय के स्वास्थ्य के लिए अच्छा है, बल्कि इससे ब्लड सुकर्लेशन भी ठीक बना रहता है। दिल के दौरे और हाई ब्लड प्रेशर में रुद्राक्ष धारण करना बेहद लाभकारी साबित होता है।
रुद्राक्ष का पानी देता है रोगों से मुक्ति और प्रतिरोधक क्षमता में सुधार
रुद्राक्ष की माला में एंटीइंफ्लेमेट्री और एंटीबैक्टीरियल गुण होते हैं। इसलिए विद्वान अक्सर भीगे हुए रुद्राक्ष का पानी पीने की सलाह देते हैं। ऐसा करने से रोगों से मुक्ति मिलती है। प्रतिरोधक क्षमता में भी सुधार होता है।
धारण करने से पूर्व विशेषज्ञ से ले सलाह
बिजी लाइफस्टाइल में तनाव, सिरदर्द, उलझन, घबराहट आम समस्या बन चुकी है। इसको दूर करने के लिए भी आप रुद्राक्ष की माला पहन सकते हैं। लेकिन गौर करने की बात यह है कि शरीर से जुड़ी हर समस्या के लिए कई अलग अलग रूप में मौजूद रुद्राक्षों को धारण किया जाता है । इसलिए यह बेहद जरूरी है कि इससे पहनने से पहले किसी विशेषज्ञ से सलाह जरूर ले लें। इससे आपके लिए कौन सा मुखी रुद्राक्ष धारण करना लाभकारी है, यह जानने में मदद मिलेगी।
अवरूद्ध धमनियों और नसों में रूकावट को दूर करता है
चुंबकीय प्रभाव के कारण रुद्राक्ष शरीर की अवरूद्ध धमनियों और नसों में रूकावट को दूर करता है। आपको बताते चलें कि रुद्राक्ष के मोती डायनामिक पोलेरिटी गुणों की वजह से एक चुंबक की तरह काम करते हैं।
इसे पहनने से ब्लड फ्लो बेहद बेहतर तरीके से होता है। इसकी एक और खास बात है कि रुद्राक्ष की माला में शरीर में होने वाले किसी भी तरह के दर्द को दूर करने का भी अचूक उपाय मौजूद हैं।
माला कॉन्फिडेंस लेवल बढ़ाती है
रुद्राक्ष की माला व्यक्तित्व को आकार देने का काम करती है और इसे पहनने वाले को सकारात्मक ऊर्जा से भर देती है।
आप अपने आसपास ऐसे कई लोगों से मिलते होंगे, जिनका व्यक्तितत्व आत्मविश्वास , बुद्धि , धैर्य के लिहाज से आकर्षक होता है। इस तरह की परफॉर्मेंस के पीछे कारण है मास्तिष्क पर नियंत्रण। जो लोग अपने मन और शरीर को नियंत्रित कर लेते हैं, वो लोग मजूबत हैं।
इसकी एक मुखी माला व्यक्ति को धैर्यवान, चार और छह मुखी माला बुद्धिमान और नौ मुखी रूद्राक्ष की माला कॉन्फिडेंस लेवल बढ़ाती है।
सकारात्मकता ऊर्जा पैदा करती है
रुद्राक्ष की माला हमारे अंदर सकारात्मकता ऊर्जा पैदा करती है। वैज्ञानिक अध्ययन साबित करते हैं कि रुद्राक्ष की माला में डायइलेक्ट्रिक गुण होते हैं, जो खराब ऊर्जा को स्टोर करने के लिए जाने जाते हैं। जब भी हम शारीररिक या मानसिक रूप से तनावग्रस्त होते हैं, तो उस वक्त हमारा शरीर ज्यादा ऊर्जा पैदा करता है, जिसे अगर स्टोर या बर्न न किया जाए, तो ब्लड प्रेशर, चिंता, अवसाद जैसी कई समस्याएं बढ़ती हैं। ऐसे में रुद्राक्ष की माला इस अनचाही ऊर्जा को स्थिर कर तंत्रिका तंत्र में सुधार और हार्मोन को संतुलिन करने में मदद करती है।
रुद्राक्ष माला धारण करने के नियम
हमारे संसार मे कोई भी कार्य बिना नियमो के पालन के संभव नहीं हो सका है। नियम वह प्रक्रिया है जिसकी सहायता से जीवन को जीने की सीख प्राप्त होती है। उसी प्रकार से कुछ है रुद्राक्ष माला धारण करने के नियम जिनका पालन किये बिना इस प्रभावशाली माला का फल हमें नहीं मिल पता है। जानिए वह कौन-कौन से नियम से जो हमें जानना बहुत जरूरी है।
1. सबसे पहले और ध्यान रखने वाली बात कि जिस रुद्राक्ष की माला से आप जाप कर रहे हैं उसे बिलकुल भी अपने गले धारण न करें।
2. ध्यान रखने योग्य बात है की आप जो भी रुद्राक्ष की माला को पहने उसमें एक बिन्दु ही होना चाहिए, एक से अधिक बिंदु का होना हानिकारक होता है। इसकी वजह से जो लोग संवेदनशील है उन्हें स्वास्थ्य में परेशानी आ सकती है।
3. व्यस्को को हमेशा 84 से अधिक के रुद्राक्ष की माला ही पहननी चाहिए।
4. एक बार अगर रुद्राक्ष की माला को धारण कर लेते है तो ध्यान रखिये की सुबह शाम भगवान शिव की उपासना करें और ॐ नमः शिवाय का जाप करें।
5. जो लोग रुद्राक्ष माला धारण पहनते है उन्हें मांसाहारी, प्याज, लहसुन, मदिरा एवं अपशिष्ट पदार्थों के सेवन का त्याग करना चाहिए, वरना रुद्राक्ष का कोई भी चमत्कारी असर आपके जीवन में प्रवेश नहीं करेगा।