Maharashtra Politics: महाराष्ट्र में शिवसेना के बाद कांग्रेस में हलचल हुई तेज, कई विधायकों पर एक्शन की तैयारी
Maharashtra Politics: महाराष्ट्र में शिवसेना में हुई बड़ी बगावत के बाद अब कांग्रेस में भी उठापटक तेज होती दिख रही है।
Maharashtra Politics: महाराष्ट्र में शिवसेना (Shivsena) में हुई बड़ी बगावत के बाद अब कांग्रेस (congress) में भी उठापटक तेज होती दिख रही है। हाल में हुए विधानपरिषद चुनाव में पार्टी विधायकों की ओर से की गई क्रॉस वोटिंग को लेकर शीर्ष नेतृत्व काफी चिंतित और परेशान है। विधान परिषद चुनाव (legislative council election) में कांग्रेस (Congress) के पहली वरीयता वाले उम्मीदवार चंद्रकांत हंडोरे (Candidate Chandrakant Handore) को हार का मुंह देखना पड़ा था जबकि दूसरी वरीयता वाले उम्मीदवार भाई जगताप विजयी हुए थे। इस चुनाव में भाजपा पांच सीटों पर जीत हासिल करने में कामयाब हुई थी।
इसके साथ है ही शिंदे सरकार (Shinde Government) के बहुमत परीक्षण के दौरान पार्टी के 10 विधायकों अनुपस्थिति को भी शीर्ष नेतृत्व ने गंभीरता से लिया है। महाराष्ट्र कांग्रेस में चल रही उठापटक को लेकर पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष नाना पटोले (State President Nana Patole) को दिल्ली तलब किया गया है। जानकार सूत्रों का कहना है कि पार्टी के कुछ विधायकों पर कार्रवाई की जा सकती है।
क्रॉस वोटिंग से मिली थी हार
शिवसेना की तरह महाराष्ट्र कांग्रेस में भी पिछले कुछ दिनों से सबकुछ ठीक नहीं चल रहा है। विधान परिषद चुनाव में पार्टी की पहली वरीयता के उम्मीदवार चंद्रकांत हंडोरे की हार को पार्टी नेतृत्व नहीं पचा पा रहा है। दरअसल विधान परिषद चुनाव में कांग्रेस की ओर से दी उम्मीदवार मैदान में उतारे गए थे। पार्टी नेतृत्व की ओर से विधायकों को पहले ही स्पष्ट तौर पर बता दिया गया था कि दलित समाज से ताल्लुक रखने वाले चंद्रकांत हंडोरे पहली वरीयता के उम्मीदवार होंगे जबकि भाई जगताप का नाम दूसरी वरीयता पर रखा गया था। चुनावी नतीजों में ह॔डोरे को हार का मुंह देखना पड़ा जबकि भाई जगताप विजयी रहे।
पार्टी आलाकमान नाराज
चंद्रकांत हंडोरे (Chandrakant Handore) ने दिल्ली पहुंचकर शीर्ष नेतृत्व के सामने विधान परिषद चुनाव का पूरा ब्योरा पेश किया है। उन्होंने पार्टी के कुछ विधायकों की ओर से की गई क्रॉस वोटिंग की शिकायत की है। उनका कहना है कि पार्टी विधायकों के इसी रवैए के कारण उन्हें हार का मुंह देखना पड़ा। प्रदेश कांग्रेस के कई नेताओं का कहना है कि इस मामले में दोषियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं की गई तो दलित समाज में गलत संदेश जाने की आशंका है। पार्टी आलाकमान इस मसले को लेकर काफी नाराज बताया जा रहा है।
बहुमत परीक्षण के समय 10 विधायक गायब
इसके साथ ही शिंदे सरकार (Shinde Government) के बहुमत परीक्षण के दौरान भी कई कांग्रेस विधायकों ने काफी लापरवाही दिखाई। कांग्रेस के 10 विधायक इस दौरान सदन से गायब थे। हालांकि इनमें से कई विधायकों का कहना था कि ट्रैफिक जाम में फंसने के कारण वे समय पर विधानसभा नहीं पहुंच सके। जब विधानसभा पहुंचे तब तक दरवाजे बंद हो चुके थे और अनुरोध करने के बावजूद स्पीकर की ओर से उन्हें विधानसभा में एंट्री नहीं दी गई। हाईकमान के बुलावे पर दिल्ली पहुंचे प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष नाना पटोले ने भी इस मामले में विधायकों की लापरवाही स्वीकार की है। महाराष्ट्र कांग्रेस के प्रभारी एच के पाटिल (Maharashtra Congress in-charge HK Patil) भी इस मामले को लेकर नाराज बताए जा रहे हैं। पटोले का कहना है कि गठबंधन का हिस्सा होने के कारण कांग्रेस विधायकों को बहुमत परीक्षण के दौरान जिम्मेदारी निभानी चाहिए थी।
वरिष्ठ नेता ने की कार्रवाई की मांग
इस बीच प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पृथ्वीराज चव्हाण (State Congress senior leader Prithviraj Chavan) ने मांग की है कि विधान परिषद चुनाव में क्रॉस वोटिंग करने वाले 7 विधायकों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए। उन्होंने कहा कि शिंदे सरकार के बहुमत परीक्षण के दौरान गायब रहने वाले विधायकों से अभी तक कोई जवाब तलब नहीं किया गया है। इन विधायकों से भी इस सवाल का जवाब मांगा जाना चाहिए कि इतने महत्वपूर्ण मौके पर वे सदन से गायब क्यों रहे।
सियासी जानकारों का मानना है कि कांग्रेस में भीतर ही भीतर उठापटक चल रही है और पार्टी मैं अंदरूनी कलह की वजह से ही कई विधायकों ने सदन की कार्यवाही में हिस्सा नहीं लिया। माना जा रहा है कि पार्टी आलाकमान की ओर से जल्द ही कुछ विधायकों के खिलाफ कार्रवाई की जा सकती है।