अनोखा ट्रांसप्लांट: बच्ची के लिवर में लगाईं गाय की नसें, आगे हुआ ये

हरियाणा के गुरुग्राम के एक अस्पताल से एक हैरान कर देने वाली खबर सामने आई है। यहां एक बच्ची के लीवर ट्रांसप्लांट में गाय की नसों का उपयोग किया गया है। बताया जा रहा है ये अपने आप में अलग तरह की सर्जरी है। इसकी चर्चा अब हर तरह हो रही है।

Update: 2020-01-09 09:25 GMT

गुरुग्राम: हरियाणा के गुरुग्राम के एक अस्पताल से एक हैरान कर देने वाली खबर सामने आई है। यहां एक बच्ची के लीवर ट्रांसप्लांट में गाय की नसों का उपयोग किया गया है।

बताया जा रहा है ये अपने आप में अलग तरह की सर्जरी है। इसकी चर्चा अब हर तरह हो रही है। पूरा मामला कुछ यूं हैं कि एक साल की हूर की पित्त नालिकाओं के विकसित न होने की वजह से लिवर में समस्या हो गई। इसके बाद सऊदी अरब के डॉक्टरों बच्ची को इलाज के लिए भारत भेजा।

बच्ची को गुरुग्राम के आर्टेमिस अस्पताल लाया गया। यहीं पर बच्ची का लिवर ट्रांसप्लांट किया गया। बच्ची के नए लिवर तक खून पहुंचे इसके लिए उसके शरीर में गाय की नसें डाली गई हैं।

बच्ची का इलाज करने वाले डॉ. गिरिराज बोरा ने कहा कि सऊदी के डॉक्टरों ने बच्ची को बिलियरी एट्रेसिया नाम की बीमारी से ग्रसित पाया। यह बीमारी 16 हजार में से एक को होती है। ऐसे बच्चों में बाइल डक्ट्स (पित्त वाहिका) का विकास नहीं होता। बच्ची का वजन 5.2 किलो था। ऐसे में ट्रांसप्लांट की प्रक्रिया बेहद जटिल होती है।

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दिल्ली-एनसीआर में ये ऐसा पहला ऑपरेशन

लिवर ट्रांसप्लांट करने वाले डॉक्टरों की माने तो दिल्ली-एनसीआर में ये ऐसा पहला ऑपरेशन है जो इतने कम उम्र की बच्ची के साथ किया गया।यह दुनिया का पहला लिवर ट्रांसप्लांट है जिसमें नए लिवर तक खून पहुंचाने के लिए गाय की नसों का उपयोग किया गया है। डॉ. रामदीप रे ने बताया कि गाय की इन नसों के विदेश से मंगाया गया।

इसके बाद बच्ची का ऑपरेशन शुरू किया गया। इसमें करीब 14 घंटे लगे। बच्ची को वयस्क लिवर का आठवां भाग लगाया गया। बच्ची के पिता अहमद ने डाक्टरों का शुक्रिया अदा किया है और आगे भी भारत आने की इच्छा जताई है।

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