Hardik Pandya: पहले सैमसन की जगह ली फिर हार्दिक के "सेल्फिश"होने से रह गया तिलक का रिकॉर्ड

Hardik Pandya India vs West Indies: भारत ने अपने ओपनिंग में अपने सलामी बल्लेबाजों को जल्दी खो दिया था। लेकिन सूर्यकुमार और तिलक वर्मा की सिर्फ 51 गेंदों पर 87 रनों की साझेदारी ने दर्शकों के लिए खेल पहले ही जीत लिया था।

Update:2023-08-09 14:53 IST
India vs West Indies (Pic Credit- Social Media)

Hardik Pandya: भारत वेस्ट इंडीज के खिलाफ तीसरा टी 20 मैच जीत गई। भारत ने अपने ओपनिंग में अपने सलामी बल्लेबाजों को जल्दी खो दिया था। लेकिन सूर्यकुमार और तिलक वर्मा की सिर्फ 51 गेंदों पर 87 रनों की साझेदारी ने दर्शकों के लिए खेल पहले ही जीत लिया था। इस मैच के बाद हार्दिक की आलोचना की जा रही है। ऐसा कहा जा रहा है कि वे धोनी और विराट के साथ खेलकर भी कुछ नहीं दिख पाए। इस आलोचना के पीछे का कारण है हार्दिक पांड्या का एक कैप्टन होते हुए भी, सेल्फिश होना। आईपीएल में मुंबई इंडियंस के लिए दो शानदार सीज़न देने के बाद तिलक वर्मा भारतीय टीम में अपनी जगह बनाने में सफल रहे। वे भी इस टी 20 मैच में महत्वपूर्ण भूमिका में रहे।

डेब्यू से अबतक तिलक का बेहतरीन फॉर्म

तिलक वर्मा को वेस्ट इंडीज के खिलाफ टी20 सीरीज़ के पहले मैच में इंटरनेशनल क्रिकेट में डेब्यू करने का मौका मिला। पहले ही मैच में उन्होंने 25 गेंदों में 39 रनों की शानदार पारी खेली। जो किसी भारतीय क्रिकेटर द्वारा डेब्यू मैच में बेस्ट स्कोर रहा। इसके बाद दूसरे टी 20 में भी गुयाना की स्लो पिच पर हुए पहले टी20इंटरनेशन में अर्धशतक के साथ अपने बल्लेबाजी को कायम रखा। वहीं तीसरे टी 20 में तिलक ने तीन विकेट गिरने तक टीम के लिए 87 रन की साझेदारी सूर्यकुमार के साथ की। इस पारी में सूर्यकुमार का बखूबी साथ दिया एक जिताऊ पारी खेली। चार चौकों और एक छक्के की मदद से 37 गेंदों पर नाबाद रहकर 49 रन बनाए। मैच देखकर साफ लग रहा था कि जल्द ही तिलक अपना अर्धशतक पूरा कर लेंगे। लेकिन हार्दिक पांड्या ने तिलक को मौका देर से दिया।

हार्दिक की आलोचना का कारण

जब 18वें ओवर की चौथी गेंद पर एक सिंगल के साथ तिलक 49* रन पर पहुंच गए थे और भारत को मैच जीतने के लिए दो रनों की जरूरत थी। तब हार्दिक से उम्मीद थी कि वह ओवर खेलकर तिलक को सिंगल के साथ स्ट्राइक सौंप देंगे। आपको याद हो तो, 2014 वर्ल्ड टी20 में, एमएस धोनी ने विराट कोहली के साथ ऐसा ही किया था , जब तत्कालीन भारतीय कप्तान धोनी ने ओवर समाप्त करने के लिए एक गेंद खेली और बाद वाले को स्ट्राइक हासिल करने और साउथ अफ्रीका के खिलाफ विजयी रन बनाने के लिए आगे कर दिया था। यही तीसरे टी 20 में भी टीम के कप्तान हार्दिक से भी उम्मीद की जा रही थी। भारत सूर्यकुमार की बदौलत शानदार तरीके से लक्ष्य का पीछा करते हुए आते बढ़ रहा था। तभी 83 रन की पारी खेलकर सूर्यकुमार आउट हो गए। उम्मीद थी की इस जीतते हुए मैच को पूरा करने के लिए हार्दिक संजू सैमसन को भेजेंगे। लेकिन हार्दिक ने ऐसा नहीं किया। वे खुद आए। इसके बाद तिलक को अपना अर्धशतक पूरा करने देने का मौका देने के बजाय वे खुद बड़े शॉट खेलने लगे।

धोनी की कप्तानी में खेलने के बाद भी ऐसी हरकत

तीसरे टी 20 में तिलक वर्मा अपने अर्धशतक बेहद नजदीक पहुंच चुके थे। भारतीय टीम के पास वेस्ट इंडीज के 160 रनों के लक्ष्य को पाने का पर्याप्त ओवर और समय था। हार्दिक ने मैदान पर आते ही अच्छे शॉट लगाए। भारत 17.4 ओवर में टारगेट स्कोर के बराबर पर था। वहीं, तिलक वर्मा नॉन स्ट्राइक पर 49 रन बनाकर मौजूद थे। सभी को उम्मीद थी कि मैच में हार्दिक पंड्या रन नहीं लेंगे और ना ही कोई बड़ा शॉट खेलेंगे। तिलक वर्मा का अर्धशतक पूरा होने देंगे। लेकिन हार्दिक ने ऐसा कुछ नहीं किया। आखिरी के 17वें ओवर की पांचवी गेंद पर हार्दिक ने बड़ा छक्का जड़कर मैच खत्म कर दिया। 49 रन बनाकर तिलक वर्मा बस सोचते रह गए। मैच की स्थिती ऐसी भी नहीं थी टीम को एक ओवर में 15 रन चाहिए हो इस मैच को आराम से जीता जा सकता था। फिर भी हार्दिक ने ऐसी पारी खेली जिससे तिलक 49 पर नाबाद रहे। हार्दिक ने इस मैच में 15 गेंद में 20 रन बनाए।

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