RaeBareli: जिला अस्पताल की सीएमएस पर लापरवाही बरतने के मामले में हुई कार्रवाई, मरीजों, डाक्टरों व स्टाफ में खुशी
Rae Bareli News: डीएम माला श्रीवास्तव की संस्तुति के बाद सीएमएस डॉ नीता साहू के ऊपर गाज गिरी और शासन ने जिला अस्पताल के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक का चार्ज वापस लेकर उन्हें प्रयागराज में अस्पताल में परामर्शदाता बना दिया है।
Rae Bareli News: जिला अस्पताल की सीएमएस नीता साहू पर हुई कार्यवाही चार्ज छीना तीन दिन पहले 5 घण्टे लाइट व दो लोगो की मौत के मामले में डीएम माला श्रीवास्तव ने की थी जाँच और आचार संहिता के उल्लंघन और जिला अस्पताल में तैनाती के बाद से मनमानी कार्यशैली और करोड़ों की खरीद में मनमानी के मामले में डीएम माला श्रीवास्तव की संस्तुति के बाद सीएमएस डॉ नीता साहू के ऊपर गाज गिर गई है। शासन ने जिला अस्पताल के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक का चार्ज वापस लेकर उन्हें प्रयागराज में अस्पताल में परामर्शदाता बना दिया। सीएमएस के खिलाफ कार्रवाई के बाद डाक्टरों व स्टाफ में खुशी की लहर ।
आपको बता दें कि रायबरेली जिला अस्पताल में बीती रात घंटों बिजली गुल रहने के दौरान 2 मरीजों की मौत मामले की जांच करने पहुंची डीएम और उनकी टीम की जांच रिपोर्ट देर शाम सामने आई। जांच रिपोर्ट में मरीजों की मौत ऑक्सीजन की कमी से हुई या नहीं इसे पुख्ता तरीके से नही कहा जा सकता। रिपोर्ट में यह भी सामने आया कि जिला अस्पताल में मरीजों के लिए पर्याप्त व्यवस्थाएं हैं लेकिन सीएमएस द्वारा उसका ठीक तरीके से मरीजों के हित में उपयोग नही किया जा रहा है।
जिलाधिकारी माला श्रीवास्तव ने जांच रिपोर्ट का हवाला देते हुए कहा कि जिला अस्पताल में मरीजों के लिए ऑक्सीजन प्लांट, ऑक्सीजन कंसंट्रेटर, ऑक्सीजन सिलेंडर मौजूद हैं। अस्पताल में जनरेटर भी लगे हुए हैं कल बारिश के दौरान जब दो बार बिजली आई और गई इस दौरान जनरेटर चलाए गए यह बात लाग बुक से प्रमाणित होती है। जिला अस्पताल की सीएमएस का उनके स्टाफ के प्रति रवैया ठीक नहीं है वह मरीजों के साथ संवेदनशीलता नहीं दिखाती किसके लिए लिखा पढ़ी कर कार्यवाही की जाएगी।
यहां ज़िला अस्पताल में पांच घंटे बिजली गुल रहने के दौरान हुई आम लोगों की परेशानी का संज्ञान लेते हुए शासन ने सीएमएस नीता साहू को हटा दिया है। शासन से जारी पत्र के अनुसार नीता साहू को वापस प्रयागराज में वरिष्ठ परामर्शदाता बनाकर भेजा गया है। वहीं सुल्तानपुर के वरिष्ठ चिकित्सक डॉक्टर महेंद्र मौर्य को यहां का सीएमएस बनाया गया है। हम बता दें कि दो दिन पहले अचानक हुई बारिश के दौरान जिला अस्पताल की बिजली गुल हो गई थी।
पांच घंटे बिजली गुल रहने के दौरान मरीज़ों को खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ा था। इस मामले में ज़िलाधिकारी माला श्रीवास्तव ने तुरंत संज्ञान लेते हुए अपने स्तर पर की गई जांच में पाया था कि अस्पताल में सभी सुविधायें उपलब्ध होने के बावजूद सीएमएस के कुप्रबंधन ने ऐसी स्थिति उत्पन्न की थी। ज़िलाधिकारी की जांच में यह भी सामने आया था कि सीएमएस नीता साहू का व्यवहार स्टाफ और मरीज़ों के साथ ठीक नहीं था।
ज़िलाधिकारी की इस जांच रिपोर्ट को शासन ने गंभीरता से लेते हुए सीएमएस डॉक्टर नीता साहू को उनके पद से हटा दिया है। हम बता दें कि डॉक्टर नीता साहू ने विधानसभा चुनाव के लिए आदर्श आचार संहिता लागू होने के दिन ही यहां सीएमएस का चार्ज लिया था। चार्ज लेने के दौरान जिस कार से यहां आईं थीं उस पर भाजपा का झण्डा लगा था। इसे लेकर भी इनकी खूब फजीहत हुई थी।
डीएम माला श्रीवास्तव का डॉक्टर नीता साहू को हटाए जाने से पहले का बयान जिसमें उन्होंने बताया था कि सीएमएस का व्यवहार आम लोगों और स्टाफ से ठीक नहीं है। वही कछ दिन पहले जेम पोर्टल के माध्यम से 4 करोड़ से ज्यादा की ऑर्डर पर एक शिकायती पत्र भी दर्ज हुई थी जिसको लेकर शासन स्तर पर स्वास्थ्य राज्यमंत्री मनकेश्वर सिंह ने संज्ञान लेते हुए ऑर्डर को निरस्त कर दिया गया है।