Lucknow News: 28 अक्टूबर को प्रधान संघ की महारैली, एसीएस मनोज कुमार सिंह पर रैली विफल बनाने का आरोप
Lucknow News: अखिल भारतीय प्रधान संगठन नवर्निवार्चित प्रधानों का सम्मेलन 28 अक्टूबर को करेगा
Lucknow News: अखिल भारतीय प्रधान संगठन (akhil bhartiya pradhan sangathan) नवर्निवार्चित प्रधानों का सम्मेलन आगामी 28 अक्टूबर को (28 october ko maharally) रमाबाई मैदान (Ramabai Maidan) में करने की तैयारी कर रहा है। लेकिन उससे पहले इसको लेकर अब विवाद खड़ा होता नजर आ रहा है। अखिल भारतीय प्रधान संघ के महासचिव धनंजय उपाध्याय ने एक बड़े अफसर पर इस सम्मेलन को असफल बनाने और प्रधानों को इसमें शामिल नहीं होने देने का आरोप लगाया है। उन्होंने सरकार और मुख्य सचिव से अपर मुख्य सचिव पंचायती राज मनोज कुमार सिंह के खिलाफ कार्रवाई की भी मांग की है।
संघ के राष्ट्रीय महासचिव धनंजय उपाध्याय ने प्रेस वार्ता कर बताया कि आगामी 28 अक्टूबर को लखनऊ के रमाबाई मैदान (Ramabai Maidan) में प्रस्तावित महारैली (28 october ko maharally) को रोकने का प्रयास किया जा रहा है। जिसे किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने अपर मुख्य सचिव पंचायती राज मनोज कुमार सिंह पर आरोप लगाया कि वह इस रैली को लेकर गलत जानकारी दे रहे हैं।
धनंजय उपाध्याय ने कहा कि 28 अक्टूबर को ये रैली होगी और इसमें पूरे प्रदेश के 15 हजार प्रधान हिस्सा लेंगे उनके साथ उनके समर्थक भी रहेंगे। जिससे रैली में करीब 50 हजार लोगों के शामिल होने की उम्मीद जताई जा रही है। उन्होंने कहा कि 2016 में हुई रैली में करीब 30 हजार लोग शामिल हुए थे। उपाध्याय ने मनोज कुमार सिंह से सवाल किया है कि वह किस अधिकार के तहत एक चुने हुए जनप्रतिनिधि को रोकने का प्रयास कर रहे हैं।
अपर मुख्य सचिव ने जिलाधिकारी को लिखी चिट्ठी?
बता दें 20 अक्टूबर को अपर मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने मुरादाबाद और एटा के जिलाधिकारी को एक पत्र लिखा है। जिसमें उन्होंने कहा कि 28 अक्टूबर को अखिल भारतीय प्रधान संगठन द्वारा ईको गार्डन लखनऊ में महारैली प्रस्तावित है। इस संबंध में उन्होंने कहा कि तीन व्यक्तियों का नाम इस सम्मेलन के आयोजक के रूप में दिया गया है। जिसमें जितेंद्र चौधरी, मुरादाबाद, सुनील लाठर, मुरादाबाद, संतोष यादव, एटा शामिल हैं।
उन्होंने डीएम को लिखे पत्र में कहा कि इन तीनों व्यक्तियों में से कोई भी निर्वाचित ग्राम प्रधान नहीं हैं और न ही इन्हें कभी कोई मान्यता दी गई है। अपर मुख्य सचिव ने कहा कि इस संगठन का कोई वैधानिक आधार नहीं है। अत: समस्त ग्राम प्रधानों को सूचित करें कि इस संगठन द्वारा प्रस्तावित सम्मेलन में हिस्सा न लें। प्रधानों की मांगों को लेकर उन्होंने अपने पत्र में लिखा है कि शासन को विभिन्न स्रोतों से ग्राम प्रधानों द्वारा उठाई गई मांगे प्राप्त हुई हैं। जिन पर सम्यक विचार किया जा रहा है और जल्द निर्णय लिया जाएगा।
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