Lucknow News: यूपी चुनाव में किसका खेल बिगाडे़ंगे भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर

उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनावों में भाजपा, सपा, बसपा और कांग्रेस के अलावा कई अन्य छोटे दल भी चुनावी मैदान में उतरने को तैयार..

Written By :  Shreedhar Agnihotri
Published By :  Deepak Raj
Update:2021-09-09 15:02 IST
चंद्रशेखर रावण फाइल फोटो, फोटो-न्यूजट्रैेक

Lucknow News: उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनावों में भाजपा, सपा, बसपा और कांग्रेस के अलावा कई अन्य छोटे दल भी चुनावी मैदान में उतरने को तैयार हैं, पर पहली बार उत्तर प्रदेश के चुनाव मैदान में उतर रही भीम आर्मी कई दलों का खेल बिगाड़ सकती है। भीम आर्मी के मुखिया चंद्रशेखर रावण ने अभी अपने पत्त नहीं खोले हैं, पर इतना तय है कि वह पश्चिमी उत्तर प्रदेश में बसपा समेत कई दलों का खेल बिगाड सकते हैं।


चंद्रशेखर रावण फाइल फोटो, फोटो-न्यूजट्रैक 

संभावना इस बात की है कि चंद्रशेखर उर्फ रावण अगले चुनाव से पहले कोई भी राजनीतिक फैसला बेहद सूझबूझ और भविष्य की राजनीतिक संभावनाओं को ध्यान में रखकर ही लेंगे। आजाद समाज पार्टी के नाम से राजनीतिक दल का गठन करने वाले चंद्रशेखर पहली बार चुनाव मैदान में उतर रहे हैं। हांलाकि भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर की आठ दलों के भागीदारी संकल्प मोर्चा से जुडने की बात कही जा रही है। पर सीटों के बंटवारे को लेकर यदि बात न बनी तो वह इस गठबन्धन से अलग हो सकते हैं।

भीम आर्मी से सबसे अधिक खतरा बहुजन समाज पार्टी को है

पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई क्षेत्रों में अपनी अच्छी खासी पकड़ बना चुकी भीम आर्मी से सबसे अधिक खतरा बहुजन समाज पार्टी को है। इसके अलावा इस चुनाव में चंद्रशेखर के निशाने पर भाजपा भी है। चंद्रशेखर इसे सवर्णो की पार्टी मानते हैं। उनका दावा है कि इस पार्टी की सरकार में दलितों और कमजोरों का बहुत शोषण हुआ है। वह भाजपा को बसपा की बी पार्टी मानते है। उनका कहना है कि भाजपा दलित व पिछड़ा विरोधी पार्टी है। केंद्र व राज्य सरकार ने अपने अब तक के कार्यकाल में बहुजनों के लिए कुछ नहीं किया। जब यूपी चुनाव आने वाले हैं तो वोट पाने के लिए तरह तरह के हथकंडे अपना रही है।


चंद्रशेखर रावण फाइल फोटो, ( फोटो -न्यूजट्रैक)


अभी हाल ही में उनकी आजाद समाज पार्टी के कार्यकर्ताओंने प्रदेश की सभी 403 विधानसभा सीटों पर साइकिल यात्रा कर प्रदेश में राजनीतिक माहौल बनाने का काम किया है। उनके समर्थक उनको रावण के नाम से पहचानते हैं। चन्द्रशेखर अगले विधानसभा चुनाव में दलित-मुस्लिम गठजोड़ कर चुनावी तैयारियों में जुटे हुए हैं। भीम आर्मी का असर दिल्ली के आसपास मेरठ, सहारनपुर आदि के क्षेत्रों पर है। बसपा सुप्रीमों मायावती के वोट बैंक में सेंध लगाने की तैयारी में जुटे चन्द्रेशखर उन्हे बुआ कहते है और लगातार पश्चिमी उप्र में सक्रिय रहते हैं। दो साल पहले भीम आर्मी के संस्थापक चंद्रशेखर को पुलिस ने 15 महीने तक जेल में रखा था। उन्हें सहारनपुर जेल में बलवा, दंगा कराने और पुलिस पर हमले का नेतृत्व करने के गंभीर आरोपों में जेल में रखा गया फिर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने उनको सभी चार मामलों में ज़मानत दी।

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