Balrampur News: सपा के पूर्व विधायक पर चला प्रशासन का डंडा, खाली कराया सरकारी जमीन
Balrampur News: डीेएम ने मामले की गोपनीय जांच कराई तो मामला सही पाया गया। जांच में पाया गया कि आरिफ अनवर हाशमी ने वर्ष 1979 में बाले पुत्र राम नारायन से 10 बिस्वा जमीन बैनामा लिया गया था।
Balrampur News: जिलाधिकारी अरबिन्द सिंह ने अपने चेतावनी के 48 घंटे के अंदर दुसरी बड़ी कार्यवाही करते हुए तहसील उतरौला के पूर्व सपा विधायक आरिफ अनवर हाशमी पुत्र अब्दुल गफ्फार हाशमी निवासी सादुल्लाह नगर के चंगुल से ग्राम सभा की सार्वजनिक प्रयोजन के सुरक्षित खाद गड्ढे की जमीन को खाली करा लिया है। सपा के पूर्व विधायक ने सार्वजनिक प्रयोजन के सुरक्षित खाद गड्ढे की जमीन को अपने नाम दर्ज कराकर खतौनी बनवा ली थी।
भू-माफियाओं में हड़कंप
मामला तहसील उतरौला का है जहां पर पूर्व सपा विधायक आरिफ अनवर हाशमी पुत्र अब्दुल गफ्फार हाशमी निवासी सादुल्लाह नगर तहसील उतरौला ने ग्राम सभा की सार्वजनिक प्रयोजन के सुरक्षित खाद गड्ढे की जमीन को अपने नाम दर्ज कराकर खतौनी बनवा ली गई थी। इसकी जिलाधिकारी अरबिन्द सिंह को गोपनीय शिकायत मिली कि आरिफ अनवर हाशमी द्वारा सार्वजनिक प्रयोजन के लिए सुरक्षित खाद गड्ढे की जमीन को गलत तरीके से अपने नाम बतौर संक्रमणीय भूमिधर दर्ज करा लिया गया है।
डीेएम ने मामले की गोपनीय जांच कराई तो मामला सही पाया गया। जांच में पाया गया कि आरिफ अनवर हाशमी ने वर्ष 1979 में बाले पुत्र राम नारायन से 10 बिस्वा जमीन बैनामा लिया गया था। बैनामा ली गई जमीन में से साढ़े चार बिस्वा रकबा को आरिफ अनवर हाशमी द्वारा नाली में दर्ज करा दिया गया और खाद गडढे के लिए सुरक्षित जमीन को अपने नाम दर्ज कराकर खतौनी बनवा लिया। डीएम द्वारा अभिलेखों को खंगालने पर पाया गया कि आरिफ अनवर हाशमी पुत्र अब्दुल गफ्फार हाशमी ने चकबन्दी अधिनियम में दिए गये प्रावधानों को दरकिनार करते हुए गलत तरीके से सार्वजनिक प्रयोजन की खाद गड्ढे की जमीन को अपने दर्ज कराकर खतौनी बनवा ली है।
गोपनीय जांच एवं साक्ष्यों के आधार पर डीएम ने भूमाफियाओं के विरूद्ध तत्काल कार्रवाई करने के आदेश पर अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व को दिये। जिस क्रम में अपर जिलाधिकारी के न्यायालय में प्रकरण में वाद दाखिल किया गया। इस प्रकरण में आरिफ अनवर हाशमी के नाम दर्ज सार्वजनिक प्रयोजन की खाद गड्ढे की जमीन को निरस्त करते हुए दुबारा ग्राम सभा की सार्वजनिक प्रयोजन की खाद गड्ढे की जमीन के रूप में दर्ज कर दिया गया है।
इस प्रकार से गोपनीय जांच के उपरान्त पुराने भूमाफियाओं के खिलाफ कठोर कार्रवाई का सिलसिला जारी है। उल्लेखनीय है कि जिलाधिकारी ने सभी मजिस्ट्रेटों, पुलिस अधिकारियों एवं वन विभाग के अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिये हैं कि भूमाफिया, वन माफिया या अन्य किसी भी प्रकार के माफिया हों, किसी को भी कतई शरण नहीं दी जाएगी । नियमों का पालन करते हुए सरकारी जमीनों को हर हाल सुरक्षित रखा जायेगा।
उल्लेखनीय है कि सपा के पूर्व विधायक के खिलाफ विगत 18 जून 2023 को भी अवैध जमीनी मामले पर कार्रवाई प्रशासन कर चुका है। पूर्व विधायक आरिफ अनवर हाशमी पर पहले से आरोप लगे हैं कि वह निजी व भौतिक लाभ लेने के लिए कूट रचित दस्तावेज तैयार कर सरकारी जमीनों पर कब्जा करते रहे हैं। और यह उसका मुख्य पेशा है। कूटरचित जमीनी मामले पर उनके खिलाफ सहदूल्लनगर थाने में मुकदमा भी दर्ज रहा है और भू माफिया आरिफ अनवर हाशमी कोर्ट के आदेश पर जेल भी जा चुके हैं। आरिफ अनवर हाशमी समाजवादी पार्टी से उतरौला विधान सभा क्षेत्र से दो बार विधायक रह चुके है। जिला प्रशासन द्वारा आरिफ अनवर को भू माफिया घोषित किया जा चुका है जिसमें करोड़ों की सम्पत्ति कुर्क कर आरिफ अनवर को कई बार जेल भी भेजा जा चुके है। साथ ही आरिफ अनवर हाशमी पर करीब 24 मुकदमे भी दर्ज हैं।
इसके साथ ही डीएम ने बीती रात मंगलवार को वन विभाग में तैनात फारेस्ट रेंजर एवं वन दरोगा के तैनात फार्रेस्ट रेंजर डीपी सिंह व वन दरोगा भरत प्रसाद सिंह के विरूद्ध भ्रष्टाचार की गम्भीर धाराओं में मुकदमा दर्ज कराने के आदेश दे चुके हैं तथा प्रकरण की गम्भीरता को देखते हुए पूरे प्रदेश में उनके द्वारा अर्जित की गई अवैध परिसम्पत्तियों की खुली जांच उत्तर प्रदेश भ्रष्टाचार निरोधक संगठन से कराने के आदेश दे चुके हैं।