Barabanki News: अध्यापकों की लापरवाही आई सामने, कक्षा 2 के छात्र को विद्यालय के कमरे में बंद कर चले गए घर

Barabanki News: परिजनों की सूचना के बाद काफी देर के बाद शिक्षिका विद्यालय पहुंची तब कहीं जा करके उसने ताला खोलकर छात्र को कमरे से बाहर निकाला।

Report :  Sarfaraz Warsi
Update:2024-07-31 20:20 IST

Barabanki News - Photo- Newstrack

Barabanki News: सरकारी अध्यापकों की कार्य शैली को ले करके लगातार उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सख्त दिशा निर्देश दे चुके हैं। उसके बावजूद सरकारी अध्यापकों के लापरवाही के मामले थमने का नाम नहीं ले रहे हैं क्योंकि एक ऐसा ही मामला सामने आया है जहां पर सरकारी अध्यापकों के लापरवाही के चलते एक कक्षा दो का मासूम छात्र छुट्टी होने के बाद विद्यालय के कमरे में ही बंद रह गया और लापरवाह शिक्षक विद्यालय का ताला बंद कर अपने-अपने घरों को चले गए। कमरे में बंद छात्र घंटों रोता बिलखता रहा। परिजनों की सूचना के बाद काफी देर के बाद शिक्षिका विद्यालय पहुंची तब कहीं जा करके उसने ताला खोलकर छात्र को कमरे से बाहर निकाला।


आपको बता दें यह पूरा मामला बाराबंकी जिले के रामनगर विकासखंड क्षेत्र के प्राथमिक विद्यालय त्रिलोकपुर द्वितीय कुरथरा से जुड़ा हुआ है। जहां पर रोज की तरह विद्यालय अपने समय पर खुला। सभी शिक्षक-शिक्षिकाएं भी विद्यालय पहुंचीं और विद्यालय का संचालन समय से हुआ लेकिन अध्यापकों के घर जाने की हड़बड़ी के चलते उन्होंने बड़ी लापरवाही कर दी। विद्यालय के कमरों में ताला लगाते समय उन्हें यह ध्यान नहीं रहा कि विद्यालय में एक छात्र कमरे के अंदर ही बैठा है। जल्दबाजी और लापरवाही के चलते शिक्षकों ने विद्यालय के सभी कमरों में ताला बंद किया और गेट पर ताला लगाकर अपने घरों की ओर चले गए। विद्यालय में छुट्टी होने के बाद काफी देर तक कक्षा 2 का छात्र अरहान जब अपने घर नहीं पहुंचा तब परिजन परेशान होने लगे और अपने बच्चे का पता लगाने लगे। कमरे में बच्चे के रोने की आवाज आ रही थी।


परिजन और गांव के लोग जब विद्यालय पहुंचे तो उन्होंने देखा की विद्यालय के अंदर अरहान बैठक रो रहा है और गेट पर ताला लगा हुआ है। यह नजारा देख परिजनों के होश उड़ गए। उन्होंने आनंद फॉर्म में शिक्षकों को मामले की जानकारी दी। परिजनों की सूचना पर मौके पर पहुंची शिक्षिका ने विद्यालय के गेट का ताला खोलकर छात्र को बाहर निकाला तब कहीं जा करके छात्र और उसके परिजनों ने राहत की सांस ली। लेकिन यहां सवाल यह उठता है कि जब रोजाना छात्र विद्यालय में पढ़ने आते हैं तो आखिरकार विद्यालय को बंद करते समय शिक्षक इतने लापरवाह कैसे हो सकते हैं कि वह एक छात्र को कमरे में ही बंद करके विद्यालय बंद कर चले गए। यह बड़ा सवाल है। इस पूरे मामले को लेकर के उच्च अधिकारियों से भी की शिकायत की गई है।

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