सीएम योगी ने तैयार की बचाव टीमें, बाढ़ के हालात पर काबू पाने की कोशिश

प्रदेश के 16 जनपदों में बाढ़ के हालत बिगड़ते जा रहे हैं। जिसे देखते हुए राज्य सरकार जरूरी इंतजाम कर रही है। कई जिलों में नदिया अपने खतरे के निशान से ऊपर बाह रही हैं।

Update: 2020-08-12 13:16 GMT
सीएम योगी ने तैयार की बचाव टीमें, बाढ़ के हालात पर काबू पाने की कोशिश

लखनऊ: प्रदेश के 16 जनपदों में बाढ़ के हालत बिगड़ते जा रहे हैं। जिसे देखते हुए राज्य सरकार जरूरी इंतजाम कर रही है। कई जिलों में नदिया अपने खतरे के निशान से ऊपर बाह रही हैं। प्रदेश के लगभग साढ़े पांच सौ गाँव इससे प्रभावित हुए हैं।

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इन जिलों के जलस्तर से ऊपर बह रही है नदियां

मिली जानकारी के अनुसार अम्बेडकरनगर, अयोध्या, आजमगढ़, बहराइच, बलिया, बलरामपुर, बाराबंकी, बस्ती, गोण्डा, गोरखपुर, कुशीनगर, लखीमपुरखीरी, मऊ, देवरिया, संतकबीरनगर, तथा सीतापुर) के 523 गांवों बाढ़ से प्रभावित है। शारदा नदी, पलिया कला (लखीमपुरखीरी), सरयू (घाघरा) नदी, तुर्तीपार (बलिया), सरयू (घाघरा) नदी एल्गिनब्रिज (बाराबंकी) तथा सरयू (घाघरा) नदी (अयोध्या) में अपने खतरे के जलस्तर से ऊपर बह रही है। प्रदेश में 242 पशु शिविर स्थापित किये गये है तथा 6,29,009 पशुओं का टीकाकरण भी किया गया हैं।

राहत आयुक्त संजय गोयल ने बताया कि मुख्यमंत्री ने बाढ़ राहत शरणालयों मे रह रहे किसी भी व्यक्ति में ज्वर, खांसी, सिरदर्द आदि के लक्षण प्रदर्शित होने पर उनको शेष शरणार्थियों से अलग करने के साथ ही कोविड-19 के दृष्टिगत आवश्यकतानुसार टेस्टिंग, भर्ती, उपचार आदि की कार्यवाही सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं। कैम्प में रह रहे वृद्धों, महिलओं तथा बच्चों की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए आवश्यक सुविधायें व सामग्री उपलब्ध करायी जाए, सैनिटेशन तथा हाईजीन का विशेष ध्यान रखा जाएं।

संजय गोयल बाढ़ की स्थिति से अवगत कराते हुए बताया

गोयल ने बाढ़ की स्थिति से अवगत कराते हुए बताया कि प्रदेश के वर्तमान में सभी तटबंध सुरक्षित है। प्रदेश में बाढ़ के संबंध में निरन्तर अनुश्रवण का कार्य किया जा रहा है। कहीं भी किसी प्रकार की चिंताजनक परिस्थिति नहीं है। प्रदेश के बाढ़ प्रभावित जनपदों में सर्च एवं रेस्क्यू हेतु एनडीआरएफ की 15 टीमें तथा एसडीआरएफ व पीएसी की सात टीमें इस प्रकार कुल 22 टीमें तैनाती की गयी है। 645 नावें बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में लगायी गयी है। बाढ़ की आपदा से निपटने के लिए बचाव व राहत प्रबन्धन के सम्बन्ध में विस्तृत दिशा निर्देश जारी किये जा चुके है।

गोयल ने बताया कि बाढ़ पीड़ित परिवारों को खाद्यान्न किट का वितरण कराया जा रहा है। गोयल ने बताया कि बाढ की आपदा से निपटने के लिए प्रदेश में 300 बाढ़ शरणालय तथा 735 बाढ़ चौकी iस्थापित की गयी है।

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उन्होंने बताया कि बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में अब तक कुल 1801 कुंतल भूसा वितरित किया गया है। आपदा से निपटने के लिए जनपद एवं राज्य स्तर पर आपदा नियंत्रण केन्द्र की स्थापना की गयी है। उन्होंने कहा कि किसी को भी बाढ़ या अन्य आपदा के संबंध में कोई भी समस्या होती है तो वह जनपदीय आपदा नियंत्रण केन्द्र या राज्य स्तरीय कंट्रोल हेल्प लाइन नं0-1070 पर फोन कर सम्पर्क कर सकता है।

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