जमातियों को झटका: जेल में ही कटेंगी रातें, जमानत अर्जी खारिज

14 बांग्लादेशी आरोपियों समेत रांची, झारखंड से आए 18 कोरोना पॉजिटिव गिरफ्तार किये गए थे। हालांकि बाद में ये ठीक हो गए। लेकिन इन पर कोरोना संक्रमण फैलाने का आरोप है।

Update:2020-05-21 21:10 IST
विदेशी जमातियों पर तगड़ा एक्शन, यूपी में बनीं 34 अस्थाई जेल

जौनपुर। जमात से जुड़े 14 बांग्लादेशी आरोपियों की जमानत मुख्य न्याय दंडाधिकारी ने आज 21 मई को ख़ारिज कर दिया। आरोपियों पर प्रारंभ में फॉरेनर्स एक्ट, पासपोर्ट एक्ट व लॉकडाउन के उल्लंघन में आईपीसी की धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज हुआ था। बाद में उनके उपर जन मानस में कोरोना संक्रमण फैला कर लोगों की जान को जोखिम में डालने के आरोप में हत्या के प्रयास की धारा तथा महामारी अधिनियम की धाराओं की बढ़ोतरी की गई थी।

14 बांग्लादेशी जमातियों की जमानत अर्जी ख़ारिज

14 बांग्लादेशी आरोपियों समेत रांची, झारखंड से आए 18 कोरोना पॉजिटिव गिरफ्तार किये गए थे। हालांकि बाद में ये ठीक हो गए। लेकिन इन पर कोरोना संक्रमण फैलाने का आरोप है। आरोपियों ने जमानत की याचिका दी थी, जिसमें एक चौंकाने वाली बात सामने आई है। प्रार्थना पत्र में आरोपियों ने स्वयं को निर्दोष तो बताया ही, साथ ही लिखा है कि वह संभ्रांत परिवार से संबंध रखने वाले चल अचल संपत्ति के स्वामी है और जमानतदार देने को तैयार हैं।

विदेशियों को भारत में मिले जमानतदार, फंडिंग की व्यवस्था भी

विदेशी बांग्लादेशियों को भारत में जमानतदार कैसे और कहां से मिल रहे हैं यह विचारणीय प्रश्न है। जाहिर है यहीं से जुड़े लोग इनको आश्रय दे रहे हैं और जमानत की भी व्यवस्था कर रहे हैं। जमानत इत्यादि के लिए फंडिंग की व्यवस्था भी की जा रही है।

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अस्थाई जेल में आरोपियों के ऐशो-अराम की खबर हुई थी वायरल

अभी हाल ही में जब यह खबर वायरल हुई थी जिसमें प्रसाद इंटरनेशनल स्कूल की अस्थाई जेल में आरोपी बंद है। वहां उनके लजीज़ भोजन व रहने सहने की काफी उत्तम व्यवस्था की गई है और वे मेन्यू के हिसाब से वेज और नॉनवेज भोजन कर रहे हैं। इस कथित खबर से जिले में हड़कंप मच गया। खबर के बाद जब सख्ती बरती गई, अब आरोपी जमानत करा कर बाहर निकलने की फिराक में हैं। जमानत की अर्जी देने वालों में मोहम्मद फिरदौस,नूर मोहम्मद,मोहम्मद इस्माइल हुसैन,सैफुद्दीन आदि का नाम शामिल है।

31 मार्च को 14 बांग्लादेशियों समेत 18 आरोपियों की हुई थी गिरफ्तारी

बता दे विगत माह 31 मार्च 2020 को मुखबिर की सूचना पर चौकी प्रभारी शिकारपुर सुरेश कुमार मौर्य व अन्य पुलिसकर्मियों ने लाल दरवाजा के सामने केराकत निवासी मौलाना मुनीर अहमद के मकान से 14 बांग्लादेशियों, एक पश्चिम बंगाल व एक झारखंड के आरोपी को गिरफ्तार किया था। 18 आरोपियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज हुई थी।

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लॉकडाउन के उल्लंघन, पासपोर्ट एक्ट के उल्लंघन का आरोप

आरोपियों पर लॉकडाउन के उल्लंघन में एक जगह इकट्ठा होने तथा फॉरेनर्स एक्ट और पासपोर्ट एक्ट के उल्लंघन करने की धाराओं में मुकदमा दर्ज हुआ। बांग्लादेशियों को गिरफ्तार कर उनका पासपोर्ट जब्त किया गया तथा उन्हें शेल्टर होम में दाखिल किया गया। बाद में न्यायालय ने उन्हें न्यायिक अभिरक्षा में जब जेल भेजने का आदेश दिया तब आरोपियों को अन्य आरोपियों के साथ अस्थाई जेल प्रसाद इंटरनेशनल स्कूल में रखा गया। तब से आरोपी उसी जेल में है।

सीजेएम से याचिका खारिज होने के बाद सेशन कोर्ट में अर्जी की तैयारी

मजिस्ट्रेट कोर्ट से जमानत निरस्त होने के बाद अब आरोपी सेशन कोर्ट में जमानत प्रार्थना पत्र देने की तैयारी में है।देश में कोरोना संक्रमण की प्रतिशत में वृद्धि का कारण जमाती लोग ही हैं। दिल्ली के निजामुद्दीन मरकज में जमातियों के आका मोहम्मद शाद ने जमात में शामिल लोगों को यही संदेश दिया था कि पूरे देश में फैल कर कोरोना संक्रमण फैलाएं।शाद पर गैर इरादतन हत्या का मुकदमा दर्ज होने के बाद देशभर में जमातियों पर धारा 307 आईपीसी लगाई गई।

रिपोर्टर - कपिलदेव मौर्य

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