UP News: पशुपालन घोटाला मामले में पूर्व IPS अरविंद सेन को मिली जमानत, 2 साल बाद जेल से आएंगे बाहर

UP News: पुलिस की अर्जी पर कोर्ट ने 24 दिसंबर 2020 को अरविंद सेन को भगोड़ा घोषित कर दिया था। गैर जमानती वारंट जारी होने के बाद उन पर 25 हजार रूपये का इनाम रखा गया था।

Update: 2023-05-04 12:48 GMT
Former IPS Arvind Sen (photo: social media )

UP News: पशुपालन घोटाले में शामिल पूर्व आईपीएस अधिकारी अरविंद सेन को इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने सशर्त जमानत दे दी है। सेन ने 27 अप्रैल को कोर्ट में जमानत की याचिका दायर की थी। कोर्ट ने उन्हें गबन की राशि जो कि 20 लाख रूपये है, उसे वादी को देने का आदेश दिया है। पूर्व आईपीएस अधिकारी दो साल बाद जेल से बाहर आएंगे।

काफी समय तक फरार रहने के बाद 27 जनवरी 2021 को उन्होंने कोर्ट में सरेंडर कर दिया था। जिसके बाद उन्हें लखनऊ की जेल में भेज दिया गया था। उनपर पशुपालन विभाग में ठेका दिलाने के नाम पर फर्जीवाड़ा करने का आरोप लगा है। जिस समय ये मामला प्रकाश में आया था, उस समय वे डीआईजी के पद पर तैनात थे। उन्हें सरकार ने सेवा से निलंबित कर दिया था।

IPS अरविंद सेन पर घोषित था इनाम

पुलिस की अर्जी पर कोर्ट ने 24 दिसंबर 2020 को अरविंद सेन को भगोड़ा घोषित कर दिया था। गैर जमानती वारंट जारी होने के बाद उन पर 25 हजार रूपये का इनाम रखा गया था। जिसके बाद सरकार ने इसे बढ़ाकर 50 हजार रूपये कर दिया था। उनके खिलाफ लुकआउट नोटिस भी जारी किया गया था। हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच से अग्रिम जमानत याचिका खारिज होने के बाद उन्होंने सरेंडर कर दिया था।

क्या है अरविंद सेन पर आरोप ?

पूर्व आईपीएस अधिकारी अरविंद सेन पर पशुपालन विभाग में आपूर्ति के नाम पर इंदौर के व्यापारी से करोड़ों रूपये हड़पने के आरोपियों को बचाने की एवज में 35 लाख रूपये लेने के आरोप है। यह घोटाला 13 जून 2020 को तब सामने आया था जब हजरतगंज थाने में इंदौर के व्यापारी मंजीत भाटिया ने 11 लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई थी। इस मामले की जांच में पता चला कि सचिवालय में ही सरकारी विभाग के नाम पर फर्जी टेंडर जारी कर करोड़ों रूपये की जालसाजी का बेखौफ चल रहा था।

अरविंद सेन पर आरोप है कि उन्होंने घोटाले के मास्टरमाइंड आशीष राय से मामले को मैनेज करने के लिए डील की थी। शुरूआत में सेन ने 50 लाख रूपये की मांग रखी थी लेकिन डील अंत में 35 लाख रूपये में फाइनल हुई। इसमें से 5 लाख रूपये सीधे उनके खाते में ट्रांसफर किए गए थे, जबकि बाकी पैसे नकद दिए गए। बता दें कि पशुपालन घोटाले में आरोपी बनाए गए 17 आरोपियों में से अब तक चार को अदालत से जमानत मिल चुकी है।

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