Gorakhpur News: एम्स में 18 करोड़ की रेडियोथेरेपी मशीन का तार चूहों ने कुतरा, तीन साल बाद खुली पैकिंग
Gorakhpur News: कैंसर मरीजों की सुविधा के लिए तीन साल पहले 18 करोड़ की रेडियोथेरेपी मशीन को लंदन से मंगवाया था। बाग में पता चला कि एम्स में रेडिएशन सेफ्टी अधिकारी ही नहीं है।
Gorakhpur News: उत्तर प्रदेश के गोरखपुर में स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) में सरकार भले ही करोड़ों रुपये खर्च कर रही हो लेकिन इसका लाभ आम मरीजों को मिलता नहीं दिख रहा है। लापरवाही का आलम यह है कि एम्स के लिए लंदन से आई कैंसर मरीजों के रेडियोथेरेपी की मशीन के तार और कुछ पार्ट्स को चूहों ने कुतर दिया। तीन साल से गोदाम में रखे मशीन को खोलने पर उसकी स्थिति देख अधिकारी भी चौंक गए। अब लंदन से पार्ट्स मंगाए गए हैं। लंदन के इंजीनियरों की टीम मशीन को सेट करने की कवायद में जुटी हुई है।
तीन साल पहले आई थी मशीन
कैंसर मरीजों की सुविधा के लिए एम्स ने तीन साल पहले 18 करोड़ की रेडियोथेरेपी मशीन को लंदन से मंगवाया था। इसके बाद उसके इंस्टालेशन की तैयारी शुरू करने की कोशिश की गई तो पता चला कि एम्स में रेडिएशन सेफ्टी अधिकारी तैनात नहीं है। इसके अलावा इसे चलाने के लिए भाभा परमाणु अनुसंधान केंद्र (बार्क) से लाइसेंस भी नहीं मिला है। इस बीच किसी तरह रेडिएशन सेफ्टी अधिकारी की तैनाती की गई। इसके बाद लाइसेंस के लिए आवेदन किया गया। लाइसेंस मिलने के बाद जब इसे इंस्टॉल करने की प्रक्रिया शुरू की गई तो पता चला कि मशीन में घुसे चूहों ने कुछ अंदर के उपकरणों को काट दिया है।
लंदन के इंजीनियर मशीन को इंस्टाल करने में जुटे
लंदन से आई 18 करोड़ कीमत की रेडियोथेरेपी मशीन तीन साल पहले आई थी। इसके बाद उसे इंस्टॉल करने की तैयारी शुरू की गई तो पता चला कि उसके कुछ पार्ट को चूहों ने काट दिया है। अब एम्स प्रशासन उस पार्ट को लंदन से मंगा दिया है। इसे लेकर एम्स में लंदन से आए कंपनी के इंजीनियर रुके हुए भी है। जिन्होंने काम तो शुरू कर दिया है। एम्स के मीडिया प्रभारी डॉ.अरुप मोहंती का कहना है कि रेडियोथेरेपी मशीन के कुछ मशीनों के तार चूहों ने काट दिए हैं। लंदन से कंपनी के इंजीनियर आए हैं। मशीन का काम इंजीनियर से तेजी कर रहे हैं। जल्द ही इसे इंस्टॉल कर दिया जाएगा। इसके बाद से कैंसर मरीजों का इलाज हो सकेगा।